- मंडी परिषद की मीटिंग में हुआ फैसला

- अब जारी होगा यूनिफाइड लाइसेंस

GORAKHPUR:

महेवा मंडी शुल्क की चोरी करने पर अब 2 लाख रुपये तक जुर्माना लगेगा। यह हम नहीं कह रहे, बल्कि मंडी परिषद बोर्ड लखनऊ में हुई मीटिंग में इस बाबत फैसला लिया गया है। हालांकि मंडी अधियनियम 37 में दंड का प्रावधान है, लेकिन मंडी समिति अधिकृत नहीं है। जबकि एक्ट में यह व्यवस्था है कि अगर गलती से शमन कर दिया जए तो 37 क में शमन शुल्क को छोड़कर मंडी शुल्क व विकास दस गुना अथवा दो लाख तक पहुंच जाता है। इससे जुड़े जिन अपराधों के लिए कोई दंड नहीं था, उसके लिए भी 20 हजार रुपये जुर्माना तय किया गया है। इतना ही नहीं यह भी तय हुआ है कि मंडी समितियों के लिए मुख्य मंडी समिति से ही यूनिफाइड लाइसेंस जारी किए जाएंगे।

समितियों को आय की दरकार

पूर्वाचल की सबसे बड़ी कहीं जाने वाली महेवा मंडी शुल्क की चोरी पर मंडी शुल्क व विकास सेस के 10 गुना धनराशि या 2 लाख रुपये तक जुर्माना वसूला जा सकेगा। पहले इसके लिए 20 हजार रुपये जुर्माने का ही प्रावधान था। इसके साथ ही बोर्ड में मंडी परिषद के 2358 करोड़ रुपये के बजट पर मुहर लग गई। मंडी परिषद के निदेशक अनूप गुप्ता ने बताया कि मौजूदा सत्र में 944 करोड़ रुपये मंडी शुल्क और 1308 करोड़ रुपये मंडी समितियों से आय की उम्मीद है। मंडी परिषद की योजनाओं पर आधारित कॉफी बुक व कृषि विभाग की योजनाओं पर कैलेंडर भी लॉन्च किया। कैलेंडर में सीजन वार फसलों में लगने वाले रोग एवं अन्य जरूरी जानकारी दी गई है। इसे किसानों तक पहुंचाने पर जोर दिया गया।

मिलेगा पेंशन का फायदा

मंडी शुल्क की चोरी पर लगेगा 2 लाख जुर्माना बोर्ड बैठक में मंडी परिषद के 2358 करोड़ रुपये के बजट पर मुहर लगी प्रदेश से लहसुन के निर्यात को बढ़ावा देने के लिए प्रति किलोग्राम एक रुपये परिवहन भाड़ा अनुदान दिया जाएगा। वहीं, आलू उत्पादकों को राहत देने के लिए प्रति कुंतल 25 रुपये या परिवहन भाड़े का 25 फीसदी जो भी कम हो, मंडी परिषद अनुदान देगा। प्रदेश से बाहर आलू भेजने पर किसानों को कागजी औपचारिकता भी नहीं करनी पड़ेगी। खतौनी और ढुलाई की रसीद को ही आधार माना जाएगा।

मंडी अधिनियम के 37 में प्रावधान

2 हजार शुल्क पर - 20 हजार का जुर्माना

ढाई हजार पर - 25 हजार का जुर्माना

पांच हजार पर- 50 हजार का जुर्माना

10 हजार पर - 1 लाख का जुर्माना

20 हजार पर- 2 लाख का जुर्माना

वर्जन

टैक्स की चोरी के मामले में पकड़े जाने पर कारोबार के हिसाब से कोर्ट द्वारा जुर्माने का प्रावधान है। हालांकि 37 क में मंडी समिति टैक्स चोरों करने वालों पर कार्रवाई कर सकती है।

-राजीव श्रीवास्तव, उप निदेशक प्रशासन विपणन