मेंटीनेंस फीस के लिए नहीं लगाना होगा एमडीए का चक्कर

एमडीए उपाध्यक्ष की 8 घंटे की जंबो मीटिंग में तय हुई रणनीति

Meerut। प्राधिकरण के 20 हजार आवंटियों को जल्द राहत मिलने वाली है। अब उन्हें मेंटीनेंस फीस जमा करने के लिए प्राधिकरण के चक्कर नहीं काटने होंगे तो वहीं मेंटीनेंस फीस में गड़बड़ी की शिकायतों का भी निस्तारण होगा। गुरुवार को एमडीए उपाध्यक्ष राजेश कुमार पाण्डेय की 8 घंटे तक चली जंबो मीटिंग में मेंटीनेंस फीस पर नई गाइडलाइन बनी है। इससे प्राधिकरण के खजाने में भी इजाफा होगा।

जरा समझ लें

मेरठ विकास प्राधिकरण की विभिन्न योजनाओं में मेंटीनेंस के नाम पर अनाप-शनाप बिल भेज दिए गए। वहीं आवंटियों की शिकायत है कि वे जब बिल जमा करने आते हैं तो विभागीय कर्मचारी उन्हें इधर से उधर चक्कर कटवाते हैं। लगातार आ रही शिकायतों को संज्ञान में लेकर गुरुवार को उपाध्यक्ष राजेश कुमार पाण्डेय ने विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ एमडीए सभागार में बैठक की। बैठक में आवंटियों की शिकायतों और समस्याओं पर मंथन हुआ और नई रणनीति बनाई गई। इस रणनीति से प्राधिकरण की 4 योजनाओं के करीब 20 हजार आवंटियों को आने वाले एक सप्ताह में राहत मिलेगी।

यह हैं समस्याएं

मेंटीनेंस के अनाप-शनाप बिल आ रहे हैं।

बिल जमा करने पर उसे मूल न काटकर ब्याज में एडजस्ट कर दिया जाता है।

जबकि जिन आवंटियों ने सालों-साल बिल जमा नहीं किया उन्हें ब्याज में 6 प्रतिशत की छूट मिल रही है।

कर्मचारी चक्कर कटवाते हैं। आदि

इन योजनाओं में होगा सर्वे

रक्षापुरम-800 हाउसहोल्ड

गंगानगर-8000 हाउसहोल्ड

पल्लवपुरम-7000 हाउसहोल्ड

श्रद्धापुरी-5000 हाउसहोल्ड

मेंटीनेंस फीस के बिल को लेकर काफी समय से आवंटी परेशान थे। और प्राधिकरण के चक्कर काट रहे थे। अनाप-शनाप बिल देने का आरोप आवंटी लगा रहे थे। जिसपर सभी विभागों के अधिकारियों और कर्मचारियों के साथ बैठक कर रणनीति तैयार की गई है। आने वाले दिनों में मेंटीनेंस फीस जमा करने के लिए आवंटी को प्राधिकरण नहीं आना होगा।

राजेश कुमार पाण्डेय, उपाध्यक्ष, एमडीए