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PATNA : बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने शनिवार को इंटरमीडिएट का रिजल्ट जारी कर दिया. साइंस, आर्ट्स और कॉमर्स तीनों संकाय में इस वर्ष लड़कियों की अपेक्षा लड़कों ने अधिक टॉप किया है. परीक्षा में सीबीएसई की तर्ज पर मॉडरेशन पॉलिसी को लागू किया गया था. जिससे पिछली बार की तुलना में इस साल 27 फीसदी ज्यादा स्टूडेंट्स पास हुए हैं. न्यू पैटर्न के तहत पहली बार स्टेप मार्किंग से रिजल्ट में काफी सुधार आया है. वैकल्पिक प्रश्नों की संख्या में 75 प्रतिशत वृद्धि की गई थी. इस साल कुल 79.76 फीसदी स्टूडेंट्स पास हुए जबकि पिछले साल 52.71 फीसदी स्टूडेंट्स ही सफल हुए थे. परीक्षा खत्म होने के 28 दिनों के अंदर परीक्षा परिणाम घोषित किया गया. पटना के कॉलेज ऑफ कॉमर्स, आ‌र्ट्स एंड साइंस के सोनू कुमार ने कॉमर्स में राज्य भर में दूसरा स्थान हासिल कर शहर का नाम रोशन किया है.

कई बदलाव हुए इस वर्ष

बोर्ड ने पहली बार दीर्घ प्रश्नों में आंतरिक विकल्प को समाप्त कर सभी विषयों में 100 फीसदी अतिरिक्त बाहरी प्रश्न दिए थे. इससे अतिरिक्त विकल्प मिले. वैकल्पिक प्रश्नों को हल कर अच्छे अंक लाने में छात्रों को सहायता मिली. पहली बार स्टेप मार्किंग की व्यवस्था की थी. कोई छात्र अच्छा उत्तर लिखा तो पूरे अंक देने की व्यवस्था की गई थी. इस बार परीक्षा में आसान प्रश्नों को समाहित किया गया था. जिस वजह से अच्छे अंक लाने में छात्र सफल रहे. वस्तुनिष्ठ प्रश्नों की संख्या 50 फीसदी शामिल करने का भी असर परीक्षाफल पर पड़ा है.

3 से 20 अप्रैल तक स्क्रूटनी के आवेदन

बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के वार्षिक इंटरमीडिएट परीक्षा परिणाम जारी करते हुए बोर्ड अध्यक्ष आनंद किशोर ने बताया कि जो स्टूडेंट्स अपने परीक्षा परिणाम से संतुष्ट नहीं हैं वे 3 से 20 अप्रैल के बीच स्क्रूटनी के लिए आवेदन कर सकते हैं. उन्होंने ये भी कहा कि कंपार्टमेंटल सह विशेष परीक्षा के लिए 5 से 10 अप्रैल के बीच फॉर्म भरे जाएंगे.