नई दिल्ली (आईएएनएस)कोरोना वायरस संकट के बीच दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाने वाला याचिकाकर्ता 2 वर्ष का एक बच्चा है जो एक संयुक्त परिवार के साथ रहता है। उसने यह याचिका अपने पिता के माध्यम से दायर करवाई है। याचिकाकर्ता के परिवार में कामकाजी सदस्य भी शामिल हैं जो दिल्ली सरकार द्वारा घोषित अनलॉकडाउन के अनुसार कार्य / नियमित कार्यालय के लिए फिर से जाना शुरू करेंगे। इससे संपर्क में आने की वजह से कोरोना वायरस का संकट और ज्यादा बढ़ जाएगा। याचिकाकर्ता का कहना है कि इस तरह से सिर्फ उसकी ही जान जोखिम में नहीं है उसके जैसे तमाम बच्चे हैं।

संक्रमण का खतरा तेजी से बढ़ रहा

वकील अर्जुन स्याल और विदिशा गुप्ता के माध्यम से दायर याचिका में याचिकाकर्ता ने कहा इसके अलावा, बिना लक्षण वाले मरीजों की जांच बंद करने, अस्पताल के बेड और वेंटीलेटर जैसे आवश्यक स्वास्थ्य सुविधाओं के बुनियादी ढांचे की कमी के कारण स्थिति को और अधिक बढ़ा दिया गया है। इस मामले को बुधवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया है। इसमें चीफ जस्टिस डीएन पटेल और जस्टिस प्रतीक जालान शामिल हैं। बता दें कि राज्य में शॉपिंग मॉल्‍स और रेस्‍टोरेंट खुलने से सड़कों और बाजारों में लोगों की आवाजाही ज्यादा बढ़ गई है। इससे संक्रमण का खतरा तेजी से बढ़ रहा है।

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