-तीन ट्रकों से 140 गोवंशीय पशु बरामद, 12 की हो चुकी है मौत

-इटावा से रामपुर लेकर जाए जा रहे थे पशु, सिर्फ एक गिरफ्तार, 8 फरार

>BAREILLY: बाया बरेली टू रामपुर पशु तस्करी का खेल रुकने का नाम नहीं ले रहा है। फ्राइडे सुबह पशु तस्करों को पकड़ने के लिए नई तरकीब निकाली। पशु तस्करों को पकड़ने के लिए चेकिंग के बहाने वाहनों की स्पीड कम कराकर जाम लगवाया और फिर गोवंशीय पशुओं से भरे तीन ट्रक पकड़ लिए, लेकिन एक बार फिर पशु तस्कर पुलिस को चकमा देने में कामयाब हो गए। पुलिस मौके से सिर्फ एक क्लीनर को पकड़ सकी। जबकि तीन ट्रकों व लग्जरी कार में चल रहे 9 पशु तस्कर मौके से फरार हो गए। तीनों ट्रकों से बरामद हुए 140 पशुओं को आंवला स्थित गोशाला में भेजा जहां 12 पशुओं की मौत हो चुकी थी। वहीं इज्जतनगर पुलिस ने पशु तस्कर फरीदपुर चौधरी निवासी असलम को गिरफ्तार ि1कया है।

इंजेक्शन लगाकर भरे गए पशु

एसएचओ किला उपेंद्र कुमार को फ्राइडे सूचना मिली कि तस्कर तीन ट्रक में गोवंशीय पशु ले जा रहे हैं, जिसके बाद पुलिस ने मिनी बाईपास पर चेकिंग शुरू कर दी। चेकिंग के बहाने वाहनों की स्पीड कम हुई तो पशु तस्कर ट्रकों को छोड़कर फरार हो गए, लेकिन उसमें सो रहा क्लीनर इटावा निवासी अरशद पकड़ा गया। पुलिस को मौके से एक 12 टायरा, एक 10 टायरा और एक 6 टायरा ट्रक मिला। सभी में पशुओं को इंजेक्शन लगाकर और मुंह व पैर बांधकर भरा गया था।

लग्जरी गाड़ी कर रही थी एस्कॉर्ट

पुलिस गिरफ्त में आए अरशद ने बताया कि वह अपने चाचा रफीक के साथ था। एक ट्रक में सीटू व क्लीनर और एक अन्य ट्रक में फिरोजाबाद का रफीक अहमद व क्लीनर था। मेन पशु तस्कर की पहचान रामपुर निवासी मोती हाजी के रूप में हुई है। वह थर्सडे रात 8 बजे स्विफ्ट कार इटावा के दिलगांव पहुंचा था। यहीं भी सभी ट्रकों में पशु भरे गए थे। उसके बाद उसने रामपुर में मिलने की बात कही थी। अरशद के मुताबिक तीनों ट्रकों के आगे लग्जरी कार में नसीम व 3 अन्य लोग आगे चल रहे थे। ये सभी आगे का रास्ता क्लियर करते हुए जा रहे थे लेकिन वह मौके से भाग गए।

40 बार हो चुकी थ्ाी तस्करी

अरशद की मानें तो पशु तस्करी लंबे समय से चल रही थी। वह इटावा से रामपुर तक करीब 40 चक्कर लगा चुके थे लेकिन पहली बार पकड़े गए। सोचने वाली बात यह है कि इटावा से रामपुर की दूरी करीब 450 किलोमीटर है लेकिन सभी जिलों की पुलिस को पशु तस्करों की भनक नहीं लग सकी और न ही किसी को पकड़ सके।

पशुशाला में नहीं मिली जगह

तीन ट्रकों से बरामद पशुओं को पुलिस बाकरगंज स्थित गोशाला में लेकर पहुंची, लेकिन वहां बताया गया कि गोशाला में पहले से ही डेढ़ सौ पशु एक्स्ट्रा हैं, जिसके बाद पुलिस ट्रकों को आंवला की गोशाला में लेकर पहुंची। तीनों ट्रकों से 140 पशु मिले। ठूंसकर भरे होने के चलते 12 पशुओं की मौत हो चुकी थी।

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जोन में 1348 मुकदमे दर्ज

पशु तस्करी का धंधा काफी जोरों से चल रहा है। ये पुलिस के आंकड़े बता रहे हैं। बरेली की बात करें तो यहां 1 जनवरी से 30 नवंबर 2011 तक 237 गोवंशीय अधिनियम के तहत मुकदमे दर्ज किए जा चुके हैं। इससे साफ है कि लगभग रोजाना कहीं न कहीं पशु तस्करी पकड़ी ही जा रही है। यदि बरेली जोन के 9 जिलों की बात करें तो यह संख्या 1384 पहुंच जाती है, जो काफी चौंकाने वाली है। जोन के सभी जिलों में बरेली में ही सबसे ज्यादा मुकदमे भी दर्ज किए गए हैं। उसके बाद पीलीभीत, संभल, बदायूं व अन्य जिलों का नंबर आता है।