-पार्षद ने मेयर को दिखाया जमीन का नक्शा, मेयर ने जलकल महाप्रबंधक से मांगी पत्रावली

- पार्षदों ने बीडीए वीसी के आवास को बताया अवैध, जांच कराने की मांग

बरेली : पार्षदों और नगर आयुक्त के बीच तल्खी की आंच बीडीए उपाध्यक्ष तक पहुंच गई है. पार्षदों ने ट्यूजडे को नगर निगम की भूमि पर बीडीए उपाध्यक्ष का आवास बना होने का आरोप लगाते हुए उन्हें घेर लिया है. पार्षदों ने बताया कि बीडीए के नक्शे में भी वीसी आवास की जमीन ट्यूबवेल के नाम पर दर्ज है. बीडीए बोर्ड के सदस्य पार्षद सतीश चंद्र मम्मा ने मेयर को बीडीए का नक्शा दिखाया. पार्षद पति चमन सक्सेना ने पत्र देकर जांच कराए जाने की मांग की. मेयर ने जलकल महाप्रबंधक से भूमि से संबंधित पत्रावलियां मांगी है.

नगर निगम कार्यकारिणी सदस्य पार्षद पति चमन सक्सेना का आरोप है कि डीडीपुरम में नगर निगम के ट्यूबवेल की भूमि पर बीडीए उपाध्यक्ष का आवास अवैध तरीके से बना है. इस बाबत उन्होंने मेयर को पत्र देकर जांच कराने की मांग की है. उन्होंने कहा है कि निगम की जमीन पर आवास किसके आदेश से कब बना और जमीन का स्थानांतरण नगर निगम से बीडीए को कब किया गया. वहीं बीडीए बोर्ड के सदस्य पार्षद सतीश चंद्र मम्मा ने नक्शे में दिखाया कि डीडीपुरम चौराहे पर किनारे 663.90 वर्ग गज भूमि ट्यूबवेल व पंप हाउस के नाम दर्ज है. उस भूमि पर बीडीए उपाध्यक्ष का आवास बना हुआ है.

10, 000 आबादी को मिलता था पानी

वर्ष 2002 में निगम ने बरेली विकास प्राधिकरण यानि बीडीए को इस जगह को निगम को हैंडओवर किया था, लेकिन पंप हाऊस की जमीन इसमें शामिल नही थी. इसके दस्तावेज भी निगम के पास मौजूद हैं. इस ट्यूबवेल से मॉडल टाउन, डीडीपुरम और राजेंद्र नगर में बसी करीब 10,000 की आबादी को पानी की सप्लाई होती थी. बीडीए ने नियम विरुद्ध पंप हाउस और ट्यूबवेल को हटाकर इस जमीन पर बीडीए वीसी का आवास बना दिया.

वर्जन ::

पार्षद सतीश कातिब ने बीडीए का मैप दिखाया जिसमें बीडीए वीसी के आवास की जगह पर निगम का ट्यूबवेल दर्ज है. यह गंभीर है. जीएम जलकल को पत्रावली तलब करने का आदेश दिया है. इसके बाद अग्रिम कार्रवाई की जाएगी.

डॉ. उमेश गौतम, मेयर.