- मलदहिया में 2ाुले मैनहोल में महिला स्कूटी लेकर गिरी, क्षेत्रीय लोगों ने बड़ी मशक्कत के बाद निकाला बाहर

- बाहर आते ही टूटा महिला के सब्र का बांध, नगर आयुक्त के 2िालाफ दी तहरीर, नाले में गुम हुई चेन

VARANASI: बनारस के लोगों को प्रशासन क्या-क्या सपने नहीं दिखा रहा है। कभी कहा जाता है काशी क्योटो बनेगा तो कभी सड़कों के चकाचक होने की बात कहकर लोगों को भ्रमित किया जाता है लेकिन प्रशासन के इन झूठे दावों के बीच पब्लिक को परेशानी उठानी पड़ रही है। जिसके कारण अब लोगों के सब्र का बांध टूटने लगा है और पब्लिक भी प्रशासनिक अधिकारियों की इस लापरवाही के कारण इनके खिलाफ आर-पार की लड़ाई लड़ने के मूड में आ गई है। ताजा मामला सोमवार को सिगरा थाना एरिया के मलदहिया में तब देखने को मिला जब रोड साइड खुले मैनहोल में गिरने से एक महिला घायल हो गई। महिला को किसी तरह लोगों ने बाहर तो निकाला लेकिन महिला प्रशासनिक लापरवाही के कारण अपने साथ हुई इस घटना से बहुत परेशान थी। जिसके कारण उसने सिगरा थाने पहुंच इसके लिए नगर आयुक्त को जिम्मेदार ठहराया और उनके खिलाफ तहरीर दी।

पुलिस ने दर्ज किया मुकदमा

कबीरचौरा की रहने वाली अर्चना जायसवाल सोमवार की सुबह लगभग साढ़े ग्यारह बजे अपनी स्कूटी से कैंट की तरफ जा रही थी। इस दौरान मलदहिया चौराहे से थोड़ा सा पहले सड़क किनारे खुले एक मैनहोल में वह स्कूटी लेकर गिर पड़ी। अर्चना ने गिरते ही शोर मचाना शुरू किया। जिसके कारण स्थानीय लोग तत्काल महिला की मदद के लिए दौड़े और उसे काफी मशक्कत के बाद बाहर निकाला। महिला भी बाहर आते साथ ही अपना आपा खो बैठी और सांसद और पीएम मोदी समेत पूरे सिस्टम को भला-बुरा कहने लगी। महिला प्रशासनिक लापरवाही से काफी खफा थी। गिरने के कारण महिला के हाथ में कई जगहों पर चोटें आई हैं। इसके अलावा महिला के गले की चेन भी मैनहोल में कहीं गुम हो गई।

पहुंची थाने, दी तहरीर

अपने साथ हुई घटना के बाद महिला सिगरा थाने पहुंची और हंगामा करने लगी। महिला का आरोप था कि नगर निगम की जिम्मेदारी है कि वह शहर के मैनहोल्स पर ढक्कन लगाये। फिर क्यों काम नहीं हो रहा है? इसके लिए नगर आयुक्त को जिम्मेदार ठहराते हुए महिला ने उनके खिलाफ लिखित तहरीर दी। हालांकि पुलिस ने तहरीर के आधार पर धारा 427 यानि सम्पलि के गुम हो जाने का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। एसओ सिगरा राजीव रंजन के मुताबिक मामले में महिला की चेन गुम हुई है और वह चेन कहां गायब हुई है। यह जांच का विषय है। इसलिए मुकदमा इस धारा में दर्ज कर जांच की जा रही है।

पता नहीं कब खुलेगी नींद

खुले मैनहोल्स को लेकर प्रशासन की नींद टूटने का नाम ही नहीं ले रही है। आई नेक्स्ट भी पिछले दो सालों से निगम की इस लापरवाही की खबरों को उजागर करता रहा है। जिसके बाद गलती का एहसास कर निगम ने कुछ मैनहोल्स को कवर भी कराया था लेकिन घटिया ढक्कनों के प्रयोग और लापरवाही के चलते एक बार फिर से शहर में एक दर्जन से ज्यादा जगहों पर मैनहोल्स खुले पड़े हैं और इनको कवर कराने के लिए जिम्मेदार निगम सो रहा है।