पटना(ब्यूरो)। मणिपुर ङ्क्षहसा में फंसे 142 स्टूडेंट मंगलवार की सुबह बिहार लौट आए। इंडिगो की फ्लाइट नंबर 6ई9022 से इम्फाल से पटना एयरपोर्ट लाया गया। साथ में झारखंड के 22 स्टूडेंट भी थे, जिन्हें बस से पटना से रांची भेज दिया गया। पटना एयरपोर्ट पर जिला प्रशासन की टीम ने लौटे स्टूडेंट्स का गुलाब देकर वेलकम किया। इससे पहले आगमन द्वार के सामने इंतजार में खड़े पेरेंट्स के चेहरों पर आतुरता व संतुष्टि के भाव दिखे। जैसे ही बैग लेकर आते च्च्चों से नजरें मिलीं, उनके चेहरे खिल उठे। जिन्हें दूसरे जिलों में जाना था, वे रेलवे स्टेशन या बस टर्मिनल चले गए। पटना जिला प्रशासन की ओर से आपदा प्रबंधन के अधिकारी संतोष कुमार झा प्रोटोकाल अफसर के रूप तैनात थे। स्टूडेंट्स ने बिहार सरकार को धन्यवाद दिया। साथ ही उनकी परेशानी राज्य सरकार तक पहुंचाने के लिए मीडिया का आभार जताया।

सुबह पांच बजे पहुंच गई थीं बसें
बिहार लौटने वाले सभी स्टूडेंट एनआईटी (राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान), आईआईआईटीएम (भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी एवं प्रबंधन संस्थान) और सीएयू (राष्ट्रीय कृषि विश्वविद्यालय) के हैं। ये तीनों संस्थान इम्फाल के लम्फेलपट में लैंगोल रोड क्षेत्र में हैं, जहां से इम्फाल इंटरनेशनल एयरपोर्ट की दूरी करीब 10 किलोमीटर है। स्टूडेंट्स ने बताया कि सुबह पांच बजे तीनों संस्थानों में बसें पहुंच गई थीं। उससे एयरपोर्ट ले जाया गया। वहां से बिहार सरकार द्वारा किराए पर लिया गया इंडिगो का विशेष विमान 8:40 बजे इम्फाल से रवाना हुआ और लगभग 10:15 बजे पटना एयरपोर्ट पहुंचा। एयरपोर्ट से बाहर निकलने में स्टूडेंट्स को करीब 20 मिनट लगे। हवाई यात्रा के लिए उनसे कोई शुल्क नहीं लिया गया।

सुबह होने का करते रहे इंतजार
स्टूडेंट्स ने बताया कि रातभर वे सभी उत्साहित थे। भूख-प्यास भी नहीं लग रही थी। सोमवार की रात भोजन नहीं किया था। सुबह होने का इंतजार कर रहे थे। हालांकि, पांच घंटे के सफर के दौरान फ्लाइट में स्टूडेंट्स के खाने-पीने का कोई प्रबंध नहीं किया गया था। पटना एयरपोर्ट पहुंची इम्फाल सीएयू की छात्रा सह रामकृष्ण नगर निवासी तनु कुमारी की बहन सलोनी कुमारी को जब स्टूडेंट्स के भूखे होने की जानकारी हुई तो उन्होंने लंच पैकेट मंगवा कर उनके बीच बंटवाई। तनु रामकृष्ण नगर की निवासी है। सलोनी का कहना है कि राज्य सरकारच्ने बच्चों को वापस लाया, यही काफी है।