पटना(ब्यूरो)।नीलेश हत्याकांड में पटना पुलिस सख्त दिख रही है। बुधवार की दोपहर करीब एक बजे वार्ड पार्षद पति नीलेश यादव उर्फ नीलेश मुखिया हत्याकांड में नामजद सगे भाई गोरख राय, पप्पू राय और धप्पू राय की संपत्ति कुर्क करने के लिए कुर्जी स्थित घर पाटलिपुत्र थाने की पुलिस पहुंची थी। कुर्की टीम की अगुवाई कर रहे पाटलिपुत्र थाने के इंस्पेक्टर एसके साही ने कहा कि हमारे पास कोर्ट का आदेश है। कृपया सहयोग करें। इसके बाद स्वजन पीछे हट गए और पुलिस ने कार्रवाई शुरू कर दी।
ट्रैक्टर के साथ पहुंचे थे पुलिसकर्मी
दोपहर लगभग एक बजे पाटलिपुत्र थानेदार और दीघा थानेदार चार वाहनों के साथ कोर्ट का आदेश लेकर कुर्की कराने पहुंचे थे। पुलिस के पहुंचते ही स्वजन जमा हो गए। लंबे-चौड़े खाली भूखंड के बीच दो मंजिला मकान बना है। पुलिस ने पूछा कि पप्पू राय, धप्पू राय और गोरख राय इसी मकान में रहते हैं न? इस पर स्वजन बोले- अभी संपत्ति का बंटवारा नहीं हुआ है। इस मकान में इन तीनों के साथ कुल आठ परिवार का हिस्सा है। इसके बाद पुलिस की दो गाडिय़ों के साथ ट्रैक्टर मंगाया गया। डायल 112 की महिला पुलिसकर्मी भी साथ थीं। पुलिस के आग्रह पर स्वजन किनारे हो गए। तब पुलिसकर्मी कमरों से सोफा, पलंग, ट्रेड मिल समेत फर्नीचर, इलेक्ट्रानिक सामान आदि निकालने लगे। देर शाम तक खिड़की और किवाड़ भी उखाड़ लिया गया। सारा सामान जब्त कर पाटलिपुत्र थाना लाया गया।
स्वजन का आरोप, नहीं हुई निष्पक्ष जांच
गोरख राय के पुत्र आतिश ने बताया कि नीलेश हत्याकांड की निष्पक्ष जांच कराने के लिए चाची सुनीता देवी ने सीएम से गुहार लगाई थी। आठ सितंबर को सीएम ऑफिस से एसपी को पत्र भेज कर निष्पक्ष जांच करने का निर्देश दिया गया था, लेकिन पुलिस अपनी थ्योरी पर ही अड़ी रही। कुर्की की कार्रवाई के बीच स्वजन अधिवक्ता को फोन मिलाते रहे। उन्होंने बताया कि हाईकोर्ट में उन्होंने कार्रवाई पर रोक लगाने के लिए अत्यावश्यक याचिका दायर की है। वहीं, थानेदार ने कहा कि शाम तक रोक से संबंधित कोई आदेश पुलिस को प्राप्त नहीं हुआ।
31 जुलाई को नीलेश पर हुआ था हमला
कुर्जी मोड़ से साईं मंदिर जाने वाली सड़क पर 31 जुलाई की सुबह कार से जा रहे नीलेश मुखिया पर अपराधियों ने हमला बोला था। उन्हें सात गोलियां मारी गई थीं। इसके बाद उन्हें इलाज के लिए दिल्ली भेजा गया, जहां 23 अगस्त को उनकी मौत हो गई। वारदात के बाद नीलेश के भाई ने पप्पू राय, धप्पू राय और गोरख राय के विरुद्ध नामजद प्राथमिकी की गई। तब से वे फरार हैं। गोरख की पत्नी रजनी देवी पूर्व उप महापौर थीं। इस मामले में पुलिस छह शूटरों और लाइनर को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। हालांकि, नामजद आरोपित अब भी फरार हैं।