राज्य के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल पीएमसीएच, जहां पटना ही नहीं पूरे प्रदेश से इलाज के लिए पेशेंट आते है। इस अस्पताल में जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र के लिए लोगों को कई चक्कर काटना पड़ता है। ये हम नहीं कह रहे, अस्पताल में आने वाले लोगों का कहना है। इसकी शिकायत दैनिक जागरण आई नेक्स्ट के पास पिछले कई दिनों से मिल रही थी। पड़ताल करने के लिए हमारी टीम जब अस्पताल पहुंची तो पता चला कि 2018-2019 के ही कई मामले पेंडिंग है। जब जन्म प्रमाण पत्र के पैरेंट अस्पताल पहुंचते हैं तो पता चलता है कर्मचारी और डॉक्टर नहीं है। ऐसे में उन्हें खाली हाथ ही लौटना पड़ता है।

300 से अधिक मामले पेडिंग

नाम न छापने की शर्त पर पीएमसीएच के एक कर्मचारी ने बताया कि जन्म- मृत्यु प्रमाण पत्र के 300 से अधिक मामले पेंडिंग है। सबसे अधिक कोरोना काल के हैं। रजिस्टर देखकर सत्यापित होने के बाद प्रमाण पत्र जारी किया जाता है। कई बार आवेदक आते हैं, लेकिन डॉक्टर या कर्मचारी नहीं होने के चलते वे खाली लौट जाते है। प्रमाण पत्र पर संबंधित डॉक्टर का दस्तखत होना आवश्यक है।