आई इन्वेस्टिगेट

-वशीकरण और मुठकरनी से लेकर गंभीर बीमारियों के इलाज का कलयुगी तांत्रिक कर रहे दावा

-तांत्रिकों द्वारा भ्रामक विज्ञापन पढ़कर इनके चंगुल में फंस जाते हैं लोग

-इनके सभी दावे खोखले साबित होते हैं, आई नेक्स्ट की इन्वेस्टिगेशन में खुलासा

KANPUR : शहर में आज भी लोग अंधविश्वास में बुखार का इलाज कराने डॉक्टर को छोड़कर तांत्रिक के पास जाते हैं। बिधनू में शनिवार को एक ऐसा ही मामला सामने आया, जिसमें तांत्रिक ने किशोरी का बुखार सही करने के नाम पर उसे गर्म लोहे की चेन से बांधकर उसके पूरे चेहरे को धूपबत्ती से दाग दिया। अब वह पुलिस की शरण में हैं, लेकिन किशोरी इस हैवानियत को जिंदगी भर नहीं भूल पाएगी। तांत्रिकों के इस 'खेल' को समझने के लिए आई नेक्स्ट ने पड़ताल की तो पता चला कि तंत्र साधना के नाम पर शहर में कई जगहों पर बड़ा फर्जीवाड़ा चल रहा है। ऐसा करने वाले लोग विज्ञापन छपवाते हैं। दीवारों पर भ्रामक विज्ञापन लिखते हैं और पर्चे भी बंटवाते हैं। बाकी अंधविश्वास और जरूरत सारा काम कर देती है। ऐसे ही विज्ञापन से मिले कई नंबर पर जब बात की गई तो कलयुगी तांत्रिकों की पूरी कलई खुल गई। इनमें से एक को विस्तार से आप तक पहुंचा रहे हैं।

मैं सब ठीक कर देता हूं

आई नेक्स्ट ने पड़ताल के दौरान जब एक महिला द्वारा अखबार में छपे विज्ञापन पर लिखे फोन नंबर (93076429777) पर फोन किया तो नेपाली बाबा नाम के इस शख्स ने पति को वश में करने की कीमत 15 हजार रुपए बताई। इसके अलावा वह घर पर आकर मिलने के लिए भी जोर देता रहा। उसने खुद को नौबस्ता का रहने वाला बताया और कहा कि वह घर पर ही तंत्र साधना से बड़ी-बड़ी समस्याएं सुलझा देता है। बातचीत के दौरान शक होने पर उसने अपना फोन भी बंद कर लिया।

फोन पर इस तरह हुई बात

कॉलर- हैलो

तांत्रिक- हां, आप कौन बोल रही हैं?

कॉलर- जी मैं बारासिरोही से बोल रही हूं। आपका नंबर अखबार से मिला।

तांत्रिक- हां बताएं क्या काम है?

कॉलर- जी आपके विज्ञापन में लिखा है कि किसी को वश में करना हो तो आप वह भी करा देंगे।

तांत्रिक- हां, आपको किसका वशीकरण कराना है?

कॉलर- मेरे पति मेरी कोई बात नहीं सुनते। वो हमेशा फोन पर ही बिजी रहते हैं। न ठीक से बात करते हैं और छोटी-छोटी बात पर नाराज हो जाते हैं।

तांत्रिक- अच्छा, हां ऐसी प्रॉब्लम्स शादी के बाद आती है। उसका हम वशीकरण के जरिए इलाज कर देते हैं, लेकिन इसके लिए आपको मेरे पास आना होगा। मिल कर ही ठीक से बात हो सकेगी।

कॉलर- ये कैसे होगा? इसमें कितना टाइम और पैसा लगेगा। मैं बहुत परेशान हूं।

तांत्रिक- परेशान न हो.आप जैसी कई महिलाओं की समस्या दूर की है। अब उनके पति उनकी हर बात सुनते हैं। आप मिलिए तभी आगे की बात की जा सकेगी। हां खर्चा तो आता ही है कुछ न कुछ।

कॉलर- आप वशीकरण कैसे करते हैं? मेरे पति को कुछ होगा तो नहीं?

तांत्रिक- यह सब तंत्र साधना से होता है। मैंने कामाख्या देवी से लेकर कई सिद्ध पीठों में कई सालों तक तंत्र साधना की है। किसको कैसे ठीक करना है मुझे सब मालूम है।

कॉलर- मैं एक साधारण परिवार से हूं। ज्यादा खर्च नहीं कर सकूंगी? इन सब में कितना खर्चा आएगा बाबाजी?

तांत्रिक - ज्यादा खर्च नहीं आएगा। पहले मिलिए आकर पूरी बात बताइए। तभी आगे का कुछ बता पाऊंगा। नौबस्ता में मेरे घर आइए मैं वहीं सारे काम करता हूं।

कॉलर- फिर भी कुछ आइडिया तो दे ही दीजिए। इससे सहूलियत रहेगी। मुझे भी। मेरे पास ज्यादा पैसे नहीं है।

तांत्रिक- तुम ज्यादा परेशान दिखती हो। चलो कोशिश करूंगा कम में काम हो जाए। 15 से 20 हजार तक तो फिर भी खर्च आएगा।

कॉलर- बाबा जी आप मेरे बताए पते पर आ सकते हैं। आप यहीं आ जाइए आपको पैसे भी दे देंगे और आप तंत्र साधना भी यहीं कर लीजिएगा।

तांत्रिक- नहीं ऐसा नहीं हो सकता है। आपको मेरे बताए पर ही आना होगा।

कॉलर-आप यहीं आ जाइए प्लीज, मेरे कुछ और सहेलियां भी परेशान हैं, वो भी आपसे यही काम करवाना चाहती हैं।

-कॉलर के इतना कहने पर तांत्रिक को शक हुआ और उसने फोन काट दिया। इसके बाद कई बार फोन किया गया, लेकिन नंबर पर कॉल रिसीव नहीं हुई और फोन स्विच ऑफ कर दिया गया।

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शहर में यहां हैं तंत्र साधना के अड्डे

-नौबस्ता, बिधनू, महाराजपुर, कल्याणपुर और शुक्लागंज के आउटर एरियाज

-इसके अलावा चमनगंज में एक महिला भी तंत्र साधना करती है। उनके तंत्र मंत्र के कई बड़े अधिकारी तक मुरीद हैं और दूर-दूर से मिलने आते हैं।

-चुन्नीगंज, जूही के कब्रिस्तानों में रात के 12 बजे के साथ तंत्र साधना का 'खेल' खेला जाता है।

-परियर घाट से लेकर गंगा के कई घाटों पर अघोरियों व तांत्रिकों का गढ़ है। जहां एक साल पहले दर्जनों लाशें मिली थीं।

-पनकी में रहने वाले एक सरकारी कर्मचारी भी हनुमान जी की सिद्धी से लोगों की बीमारियां ठीक करने का दावा करते हैं। उनके घर पर भी लोगों की लंबी लाइन लगती है।

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हैलट में बच्चे के नोच डाले थे बाल

तांत्रिकों का जाल शहर के सबसे बड़े हैलट अस्पताल में भी फैला है। कुछ दिन पहले ही हैलट के बालरोग अस्पताल में भर्ती एक बच्चे की तबियत सही नहीं होने पर उसके परिजनों को तांत्रिक ने फंसा कर हैलट के पीछे ही तंत्र साधना की थी। इस दौरान उसने भर्ती बच्चे के बाल भी नोंच डाले थे। बाद में पुलिस के पहुंचने पर वह भाग निकला था।