भारतीय टीम पहले श्रीलंका और उसके बाद पाकिस्तान से हारने के कारण फ़ाइनल की दौड़ से बाहर हो चुकी है. श्रीलंका और पाकिस्तान की टीमें 8 मार्च को होने वाले फ़ाइनल में अपनी जगह बना चुकी है.
भारत ने एशिया कप में मेज़बान बांग्लादेश को 6 विकेट से हराकर जीत के साथ शुरूआत की थी. 280 रनों के लक्ष्य का पीछा करते हुए भारत ने एक ओवर पहले जीत हासिल की. कप्तान विराट कोहली ने 136 रनों की शतकीय पारी खेली तो अजिंक्य रहाणे ने 73 रन बनाए.
गेंदबाज़ी पर सवाल
उस मैच में भारतीय गेंदबाज़ बांग्लादेश की टीम को ऑलआउट नही कर सके थे तभी उनकी क्षमता पर सवाल खडे हो गए थे. मोहम्मद शमी ने ज़रूर चार विकेट हासिल किए लेकिन भुवनेश्वर कुमार और वरूण एरॉन बांग्लादेशी बल्लेबाज़ों पर कुछ ख़ास दबाव नहीं बना पाए थे.
भारत का अगला मुक़ाबला श्रीलंका से था. इस मैच में शिखर धवन ने 94 रनों की पारी खेली लेकिन उनके जोड़ीदार रोहित शर्मा केवल 13 रन ही बना सके. अजिंक्य रहाणे, दिनेश कार्तिक, अंबाती रायडू और रवींद्र जाडेजा बड़ा स्कोर नहीं बना सके. विराट कोहली ने एक बार फिर 48 रनों की जुझारू पारी खेली.
264 रन हालांकि कोई बहुत बड़ा स्कोर नहीं होता लेकिन असमान उछाल वाले विकेट पर भारतीय गेंदबाज़ निर्णायक क्षणों में विकेट लेने में नाकाम रहे, नतीजा निकला हार में. भारत की जीत की राह में रोड़ा बने विकेटकीपर बल्लेबाज़ कुमार संगकारा जिन्होंने 103 रनों की शतकीय पारी खेली.
एशिया कप में अगले मैच में भारत और पाकिस्तान आमने-सामने हुए. अब भले ही भारतीय कप्तान विराट कोहली ये कहें कि मुक़ाबला ज़ोरदार हुआ, आखिरी ओवर तक चला, लेकिन हक़ीक़त तो यह है कि भारतीय बल्लेबाज़ अच्छी शुरूआत मिलने के बाद ग़ैरज़िम्मेदाराना शॉट खेलकर अपने विकेट देते रहे. रोहित शर्मा, अजिंक्य रहाणे और दिनेश कार्तिक छक्के लगाने की कोशिश में कैच आउट हुए.
हालांकि इस तरह आउट होकर विकेट गंवाने में पाकिस्तानी बल्लेबाज़ भी कम नहीं रहे लेकिन शाहिद अफ़रीदी ने आखिरी ओवर में जो दो छक्के लगाए उन्होंने पाकिस्तान को जीत दिला दी. श्रीलंका और पाकिस्तान के ख़िलाफ़ हार से यह भी साबित हो गया कि भारतीय टीम में एक भी ऐसा गेंदबाज़ नहीं है जो स्लॉग ओवर में किफ़ायती गेंदबाज़ी कर सके.
पुजारा को मौका मिलेगा?
अब भारतीय टीम एक ऐसी टीम है जिसके बल्लेबाज़ एक के बाद एक नाकाम हो रहे हैं और गेंदबाज़ भी बेअसर हैं. दूसरी तरफ़ पहली बार एशिया कप खेल रही अफ़ग़ानिस्तान के हौसले मेज़बान बांग्लादेश को 32 रन से हराने के बाद बुलंद हैं.
वैसे अफ़ग़ानिस्तान अपने पिछले मैच में श्रीलंका से 129 रनों के विशाल अंतर से हारा लेकिन वह अपने आखिरी मैच में अपना सब कुछ झोंक देना चाहेगा. भारतीय टीम अफ़ग़ानिस्तान के ख़िलाफ़ टीम में शायद अधिक बदलाव न करे लेकिन चेतेश्वर पुजारा को कम से कम एक अवसर तो दिया ही जा सकता है.
अब इस मैच में अगर भारतीय टीम एक असरदार जीत हासिल करती है तो अपने प्रशंसकों को पूरी तरह नाउम्मीद और मायूस होने से तो बचा ही सकती है.
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