PATNA : मोकामा के बाहुबली विधायक अनंत सिंह की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। पुलिस ने उनके खिलाफ आतंकवाद निरोधक कानून यूएपीए (अनलॉफुल एक्टिविटी प्रिवेंशन एक्ट) के तहत मुकदमा दर्ज किया है। पुलिस ने उनकी गिरफ्तारी के लिए तैयारी पूरी कर ली है। शनिवार को पुलिस ने विधायक के खिलाफ वारंट जारी करवाने की कोशिश की लेकिन तकनीकी कारण से यह संभव नहीं हो सका। अब पुलिस सोमवार को दोबारा कोर्ट जाएगी। वहीं, पुलिस ने उनके घर के केयरटेकर को गिरफ्तार कर लिया है। केस दर्ज होने के साथ ही अनंत सिंह यूएपीए एक्ट के पहले आरोपी हो गए हैं। मोदी सरकार ने इस एक्ट को हाल ही में संशोधित किया है। इसके तहत अब किसी भी व्यक्ति को आतंकवादी घोषित कर उसकी सारी संपत्ति तक जब्त की जा सकती है।

घर से मिला था एके-47

पटना पुलिस को गुप्त रूप से शुक्रवार को सूचना मिली थी कि बाहुबली विधायक अनंत सिंह के घर अवैध हथियार रखा हुआ है। सूचना मिलने के बाद तत्काल बाढ़ एएसपी लिपी सिंह के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया। छापेमारी के दौरान पुलिस ने एक एके-47 रायफल, एक मैगजीन, दो ग्रेनेड और भारी मात्रा में कारतूस बरामद किए गए। इसी के बाद पुलिस ने अनंत सिंह पर आ‌र्म्स एक्ट सहित यूएपीए एक्ट के तहत मामला दर्ज किया।

हैंड गे्रनेड किए गए डिफ्यूज

कोर्ट से आदेश मिलने के बाद अनंत सिंह के घर से मिले ग्रेनेड को एटीएस की टीम ने निष्क्रिय कर दिया। अनंत सिंह के घर से बरामद हथियार और विस्फोटक पदार्थो की जांच के लिए शनिवार को सेना के अधिकारी लदमा गांव पहुंचे और उसकी जांच की। शनिवार की रात तक पुलिस के जवान लदमा स्थित विधायक के घर पर डटे हुए थे। ग्रेनेड मिलने का बिहार में यह पहला मामला है। ग्रामीण एसपी कांतेश मिश्र ने बताया कि इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता कि इस अत्याधुनिक हथियार का इस्तेमाल किसी बड़ी वारदात में नहीं किया गया होगा। जबलपुर स्थित ऑर्डिनेंस फैक्ट्री को भी इसकी जानकारी दे दी गई है।

एनआईए कर सकती है जांच

बिहार पुलिस ने छापेमारी के बाद इससे संबंधित कई महत्वपूर्ण जानकारियां कोर्ट को सौंपी है जिसके बाद अब एनआईए इसकी जांच करेगी। पुलिस सूत्रों के अनुसार एके 47 पर मिले नंबर पुलिस की जांच के लिए बड़ा क्लू हो सकता है। दरअसल, बरामद हथियार के अलग-अलग पार्ट्स पर नंबर अंकित हैं। उन नंबरों के जरिये यह पता किया जा सकेगा कि हथियार कहां से और कब लाए गए थे? इस नंबर से पुलिस को इसके सप्लायर का पता भी चल सकता है।