बीजिंग (पीटीआई)। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग के बीच जल्द ही दूसरी अनौपचारिक बैठक होने वाली है। हालांकि अभी तक इसका समय तय नहीं हुआ है। इसी बीच चीन ने यह साफ कर दिया है कि इस बैठक में कश्मीर बड़ा मुद्दा नहीं होगा। चीन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा है कि पीएम मोदी और राष्ट्रपति चिनफिंग इस मुद्दे पर चर्चा करेंगे या नहीं, यह उन पर निर्भर है। चीन के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हुआ चुनयिंग ने बीजिंग में एक मीडिया ब्रीफिंग के दौरान कहा, 'मुझे नहीं लगता है कि कश्मीर का मुद्दा दोनों नेताओं के बीच होने वाली बैठक के एजेंडे में होगा क्योंकि यह एक अनौपचारिक शिखर सम्मेलन होगा। फिर भी यह निर्णय पीएम मोदी और राष्ट्रपति चिनफिंग पर ही छोड़ देते हैं।'

कश्मीर भारत और पाकिस्तान का द्विपक्षीय मुद्दा

चुनयिंग ने कहा, 'कश्मीर कोई ऐसा मुद्दा नहीं है, जिसपर दोनों नेता खास तौर पर चर्चा करें लेकिन अगर वह चाहते हैं तो कर सकते हैं। हालांकि, मुझे लगता कि इस अनौपचारिक बैठक में कश्मीर बड़ा मुद्दा नहीं होगा। कश्मीर भारत और पाकिस्तान का एक द्विपक्षीय मुद्दा है। हम उम्मीद करते हैं कि दोनों देश शांतिपूर्ण तरीके से इस मुद्दे को हल करेंगे।' इसके बाद अगले महीने राष्ट्रपति शी की भारत यात्रा पर हुआ ने कहा कि दोनों देशों के बीच इस मामले में बातचीत चल रही है, जल्द ही आपको पता चल जायेगा। हालांकि, उन्होंने बैठक की तारीख और जगह का खुलासा करने से इनकार कर दिया।

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पाकिस्तान का सबसे खास सहयोगी है चीन

बता दें कि चीन पाकिस्तान का सबसे खास सहयोगी है। जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाए जाने के बाद वह पीछे से भारत के खिलाफ पाकिस्तान का साथ देता रहा लेकिन खुलकर कुछ नहीं बोल पाया। अब तो वह भी यह मान गया है कि कश्मीर भारत और पाकिस्तान का एक द्विपक्षीय मुद्दा है, जिसपर इन्हीं दोनों मुल्कों के बीच बातचीत हो सकती है। कुछ मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो पिछले महीने चीन ने कश्मीर मुद्दे पर संयुक्त राष्ट्र में गुप्त बैठक बुलाई थी, जिसमें सुरक्षा परिषद के पांचों स्थाई सदस्य शामिल हुए थे लेकिन, इस बैठक का कोई परिणाम सामने नहीं आया। उस वक्त ज्यादातर देश भारत का समर्थन कर रहे थे।

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