- साथी वकीलों ने पीजीआई थाने पर किया जमकर हंगामा

- मौके पर पहुंचे क्षेत्राधिकारियों ने नाराज वकीलों को कराया शांत

- पीडि़त वकील ने पुलिसकर्मियों पर दर्ज कराई मारपीट की एफआईआर

LUCKNOW:

पीजीआई थाने में अपने मुवक्किल की एफआईआर दर्ज कराने पहुंचे वकील की पुलिस से झड़प हो गई। आरोप है कि पुलिसकर्मियों ने तहरीर बदलने का दबाव डाला तो वकील ने इसका विरोध किया। इस पर थाने में मौजूद पुलिसकर्मियों ने वकील को पीट डाला। इस घटना की जानकारी मिलने पर थाने पर वकीलों का हुजूम उमड़ पड़ा और हंगामा शुरू कर दिया। जानकारी मिलने पर एसपी नॉर्थ, सीओ हजरतगंज, सीओ कृष्णनगर थाने पर पहुंचे और नाराज वकीलों को समझाबुझाकर शांत कराया। आखिरकार पीडि़त वकील की तहरीर पर पुलिस ने आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली। जबकि, पुलिसकर्मियों की ओर से वकीलों के खिलाफ दी गई तहरीर पर कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई।

एफआईआर दर्ज कराने पहुंचे थे

तेलीबाग के द्वारिकापुरी निवासी अरविंद कुमार आर्मी से रिटायर्ड हैं। अरविंद के मुताबिक, वे रविवार रात करीब नौ बजे बाबूखेड़ा से बाइक पर सवार होकर वापस घर लौट रहे थे। इसी दौरान ईश्वरीखेड़ा के करीब सफारी सवार पांच लोगों ने उन्हें ओवरटेक कर रोक लिया। सफारी सवार लोगों ने बिना किसी वजह उनके संग मारपीट की और शोर मचाने पर उन पर फायरिंग भी की। इसी घटना को लेकर अरविंद अपने वकील रमाशंकर तिवारी के साथ पीजीआई थाने में एफआईआर दर्ज कराने पहुंचे थे। आरोप है कि जांच अधिकारी ने उनकी तहरीर पढ़ने के बाद गोली चलने की बात को नकार दिया और तहरीर बदलने को कहा। इसी बात को लेकर उनके बीच कहासुनी शुरू हो गई।

लॉकअप में बंद कर पीटने का आरोप

वकील रमाशंकर का आरोप है कि कहासुनी के बीच पुलिसकर्मियों ने उनसे गालीगलौज शुरू कर दी। इसी बीच चौकी इंचार्ज तेलीबाग आशुतोष सिंह, चौकी इंचार्ज वृंदावन कॉलोनी राजू सिंह, कॉन्सटेबल रामकुमार व राजकुमार समेत 40 पुलिसकर्मियों ने उन्हें थाना कैंपस में दौड़ा-दौड़ा कर पीटा। इतने भर से जब उनका मन न भरा तो वे लोग उन्हें लॉकअप में घसीट ले गए और वहां बंद कर बेरहमी से पीटा। किसी तरह पुलिसकर्मियों के चंगुल से छूटे रमाशंकर ने फोन कर अन्य वकीलों को इसकी सूचना दी।

घंटों चला हंगामा

जानकारी मिलने पर देररात वकील पीजीआई थाने पर जुटने लगे और पुलिसकर्मियों के इस कथित व्यवहार पर हंगामा शुरू कर दिया। नाराज वकील आरोपी पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने और उन्हें सस्पेंड करने की मांग कर रहे थे। करीब दो घंटे तक हंगामा चलता रहा। सूचना मिलने पर एसपी नॉर्थ, सीओ हजरतगंज, सीओ कृष्णानगर मौके पर पहुंचे और प्रदर्शनकारी वकीलों को समझाते रहे। आखिरकार, पीडि़त रमाशंकर की तहरीर पर एफआईआर दर्ज करने के आश्वासन के बाद प्रदर्शनकारी शांत हुए।

दारोगा की तहरीर पर नहीं दर्ज हुई एफआईआर

वकीलों के आरोपों के उलट चौकी इंचार्ज तेलीबाग आशुतोष सिंह का कहना था कि पूर्व सैन्यकर्मी अरविंद कुमार के साथ हुई घटना की तहरीर के मुताबिक थाना कार्यालय में कॉन्सटेबल आशीष सिंह एफआईआर दर्ज कर रहा था। इसी दौरान वादी और उनके साथ आए वकील कार्यालय में घुस आए और कॉन्सटेबल आशीष कुमार व विकास कुमार के साथ मारपीट की। दारोगा आशुतोष के मुताबिक, हंगामे की सूचना पर जब वे थाने पहुंचे तो वकील और वादी मारपीट पर उतारू थे। उन्होंने काफी देर तक उन्हें समझा-बुझाकर शांत कराने की कोशिश की पर, वे नहीं माने। जिसकी सूचना उन्होंने उच्चाधिकारियों को दी। वहीं, कुछ देर बाद दो दर्जन से अधिक वकील वहां पहुंचे और मारपीट व सरकारी काम में बाधा पहुंचाई। उन्होंने भी इसकी तहरीर दे दी है। हालांकि, उनकी तहरीर पर सोमवार देररात तक एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। इंस्पेक्टर पीजीआई ने बताया कि इस मामले में सिर्फ वकील रमाशंकर की तहरीर पर चार नामजद व अन्य अज्ञात पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।