- फेस्टिव सीजन में आईआरसीटीसी ने बढ़ाई निगरानी

- कॉमन यूज वाले पासवर्ड और अकाउंट से ज्यादा टिकट बनाने वालों पर निगाह

- ऑथराइज एजेंट्स के अलावा कोटे का टिकट रिजर्वेशन करने वाले जद में

GORAKHPUR: फेस्टिव सीजन में फेक आईडी बनाकर कमाई करने वालों की अब खैर नहीं है। खासतौर पर कुछ दिन पहले एक्टिव होने वाली इन आईडीज की आईआरसीटीसी खास निगरानी करेगा। ऐसे अकाउंट पर खास निगाह होगी, जो कॉमन यूजर नेम का इस्तेमाल कर बनाए गए हैं तथा उससे दिवाली या छठ के आसपास की डेट के टिकट बनाकर उन आईडी का इस्तेमाल बंद कर दिया गया है.इस तरह की आईडी पर खास निगाह रखी जाएगी, जो फेस्टिव सीजन के आसपास एक्टिव होती है और उनसे रोजाना लिमिट के बराबर टिकट बनते हैं। ऐसे अकाउंट को प्वाइंट आउट कर आईआरसीटीसी बंद करेगी, जिससे जेनविन पैसेंजर्स को टिकट मिल सकेगी तथा उन्हें त्योहारी सफर करने में मुश्किल का सामना नहीं करना पड़ेगा।

कॉमन यूजरनेम पर भी टेढ़ी नजर

रेलवे में टिकट दलाली को रोकने के लिए लास्ट इयर आरपीएफ ने टेक एक्सप‌र्ट्स के जरिए इनवेस्टिगेशन कराई। इसमें यह बात सामने आई कि जो भी दलाल के जरिए टिकट बनाए गए हैं, इसके लिए कॉमन आईडी जैसे एबीसी-123, एबीसी-12, एबीसी-1 का इस्तेमाल किया गया है। यह आधार से लिंक्ड आईडी नहीं हैं, लेकिन इससे हर माह छह टिकट बन रहे हैं। खास बात यह कि माह के सभी छह टिकट एक दिन में ही बनाए हैं और यह आईडीज पहले से एक्टिव भी नहीं थी। इस इनवेस्टिगेशन के बाद आईआरसीटीसी के जिम्मेदार ऐसे दलालों पर लगाम कसने के लिए टेक एक्सप‌र्ट्स की मदद ले रहे हैं।

एक ही आईपी वाले यूजर्स पर भी निगाह

एक तरफ जहां सिमिलर और कॉमन आईडी पर जिम्मेदारों ने निगाह रखी हुई है, वहीं दूसरी ओर अब एक ही आईपी से ढेरों टिकट बुक करने वाले भी इसकी जद में है। आईआरसीटीसी इस बात की निगरानी में लग गया है कि एक आईपी पर कई यूजर नेम और पासवर्ड के जरिए जिन लोगों ने कई टिकट बनाए हैं, उनपर भी निगाह रखी जाए। ऐसे सभी अकाउंट को बंद कर संबंधित के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी।

फेस्टिव सीजन में मारामारी

फेस्टिव सीजन में टिकट के लिए जबरदस्त मारा-मारी रहती है। टिकट दलाल इसका भरपूर फायदा उठाते हैं। एक-एक सीट के लिए शातिर दलाल मनमाना पैसा वसूलते हैं। रेलवे के तमाम कोशिशों के बाद इन पर लगाम नहीं लग पा रहा है। उम्मीद है कि इस तरह के इनवेस्टिगेशन से दलालों पर शिकंजा कसेगा तथा लोगों को आसानी से टिकट मिल पाएगा।

छह टिकट की है लिमिट

रेलवे में आईआरसीटी के जरिए प्रति माह एक यूजर्स मैक्सिमम छह टिकट बना सकता है। इसके लिए उसके पास वेरिफाइड आईआरसीटीसी आईडी होनी जरूरी है। वहीं जिन यूजर्स के अकाउंट आधार कार्ड से लिंक है उन्हें 12 टिकट बनाने की परमिशन है।

हाईलाइट्स -

- 2019 में भी अब तक 400 से ज्यादा दलाल पकड़े जा चुके हैं।

- 2018 में 2 नवंबर तक 891 दलाल पकड़े गए।

- 5.75 करोड़ रुपए रिकवर किए जा चुके हैं।

- 2017 में 1179 दलाल पकड़े गए थे।

- 2.23 करोड़ रुपए रिकवर किए गए थे।

- आईआरसीटीसी के 50 मिलियन यूजर हैं।

- तत्काल के जरिए रोजाना तीन लाख टिकट बुक होते हैं।

आईआरसीटीसी फेक आईडी पर टिकट बुक करने वालों पर खास नजर बनाए हुए है। संदिग्ध आईडी मिलने पर तत्काल टीम भेजकर कार्रवाई की जा रही है।

- अश्विनी कुमार श्रीवास्तव, सीआरएम, आईआरसीटीसी