PATNA : एक गरीब परिवार में पैदा हुई बेटी ने कभी सोचा भी नहीं था कि उसकी प्रतिभा कॉन्वेंट स्कूल के छात्रों के सामने टिक पाएगी। लेकिन उसने अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा दिया। क्भ् सौ से अधिक बच्चों में अव्वल आकर उसने घरवालों के साथ सरकारी स्कूलों का मान बढ़ाया है। बाल विवाह के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान 'बंद करो बाल विवाह' में निबंध प्रतियोगिता में फ‌र्स्ट पुरस्कार साइकिल पाकर राजकीय बालिका उच्च विद्यालय, जल्ला की छात्रा हर्षिता ने आई नेक्स्ट को थैंक्स बोला। साथ ही कहा कि अब वह इसी साइकिल से घूम कर लोगों को जागरुक करेगी। बुधवार को आईएमए हॉल में पुरस्कार वितरण और सम्मान समारोह में सेकेंड पुरस्कार अनुष्का गुप्ता और थर्ड पुरस्कार वैभव को मिला। इसके अलावा बाल विवाह पर बेहतर निबंध लिखने वाले क्0 स्टूडेंट्स को सांत्वना पुरस्कार दिया गया।

बाल विवाह के खिलाफ जंग का लिया संकल्प

आई नेक्स्ट और यूथ मोबलाइजेशन फॉर नेशनल एडवांसमेंट, दिशा नशा विमुक्ति केंद्र के सहयोग से बाल विवाह के खिलाफ जागरूकता लाने के लिए आयोजित निबंध प्रतियोगिता में बेहतर लेखन करने वालों को आईएमए हाल में पुरस्कृत किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ अतिथियों ने द्वीप प्रज्जवलित कर किया। फिर दिशा की तरफ से उन्हें सम्मानित किया गया। इस दौरान अतिथियों के साथ छात्र-छात्राओं ने भी बाल विवाह को जड़ से खत्म करने के लिए जागरूकता लाने का संकल्प लिया। कार्यक्रम का संचालन दिशा के पीआरओ आशुतोष ठाकुर ने किया।

ऐसे शुरू हुई आई नेक्स्ट की मुहिम

सफल कार्यक्रम के लिए अतिथियों को धन्यवाद ज्ञापित करते हुए आई नेक्स्ट के संपादकीय प्रभारी अश्वनी पांडेय ने कहा कि मिलकर काम करने से ऐसे अपराध पर अंकुश लगाया जा सकता है। मुहिम को लेकर उन्होंने कहा कि प्रदेश में बाल विवाह को लेकर जब एनएचएस ब् का आंकड़ा सामने आया तो वह चौंक गए। हर क्00 में ब्0 लड़कियों की शादी कम उम्र में ही हो जाती है। इस बड़े सामाजिक अपराध को लेकर आई नेक्स्ट ने प्लान तैयार किया और जागरूकता के लिए लगातार खबरें प्रकाशित की।

आई नेक्स्ट खबर प्रकाशित करने के साथ-साथ

इस दिशा में जागरूकता के लिए काम करने पर लगा रहा। इस मुद्दे पर कार्यालय में परिचर्चा बुलाई गई जिसमें दर्जन भर से अधिक स्वयं सेवी संस्थाओं के लोग शामिल हुए। स्वर्ग संस्था के निदेशक निर्मल कुमार ने स्कूलों में निबंध प्रतियोगिता कर जागरुकता लाने का सुझाव दिया। इस सुझाव पर दिशा की डायरेक्टर राखी शर्मा ने बड़ा सहयोग किया। इसके बाद बड़ी मुहिम चल पड़ी। क्0 से अधिक स्कूलों में लगभग क्भ् सौ छात्र छात्राओं ने निबंध प्रतियोगिता में हिस्सा लिया। कॉपियों के मूल्यांकन में उनके लेखन से विचार पता चला। आज हर छात्र इस सामाजिक अपराध के खिलाफ लड़ाई को तैयार है। ये हमारे अभियान की सफलता के अहम बिंदु हैं। इसके लिए दिशा व अन्य गिफ्ट पार्टनर संस्थाओं का बड़ा सहयोग रहा है।

सहयोग के लिए संस्थाएं सम्मानित

बाल विवाह के खिलाफ मुहिम में सहयोग करने वाली संस्थाओं को आई नेक्स्ट ने प्रसस्ति पत्र देकर सम्मानित किया है। विशेष सहयोग के लिए दिशा की डायरेक्टर राखी शर्मा, फस्ट प्राइज के लिए साइकिल देने वाले स्वर्ग संस्था के डायरेक्टर निर्मल कुमार, सेकेंड व थर्ड पुरस्कार के लिए इनरव्हील पाटलीपुत्रा की अध्यक्षा प्रियाका व सांत्वना पुरस्कार के लिए दिशा को संस्था को सम्मानित किया गया।

बाल विवाह अपराध है। लोगों की सोच बदलकर ही इस पर पूर्ण रूप से अंकुश लगाया जा सकता है। शिक्षा की दर बढ़ रही है और समाज में बदलाव भी हो रहा है। हम सभी को चाहिए कि जो ख्0 साल में बदलने वाला है उसे भ् साल में बदलें। महिला अपराध भी कहीं न कहीं से इसका कारण है। क्योंकि छेड़खानी व मनचलों के कारण बच्चियां स्कूल नहीं जा पाती है। हम इसके खिलाफ अभियान चलाकर छात्राओं को जागरूक कर रहे हैं।

-शालिन, डीआईजी पटना

बाल विवाह बहुत ही संवेदनशील मुद्दा है। इसके खिलाफ आई नेक्स्ट की मुहिम सराहनीय है। दिशा संस्था इस दिशा में बेहतर काम कर रही है। बस इसके लिए ग्राम पंचायतों में काउंसिलिंग की जरूरत है। इसका सबसे बड़ा कारण असुरक्षा की भावना और शिक्षा है।

-निशा झा, चेयरमैन, बिहार स्टेट चाइल्ड राइट प्रोटेक्शन

इस अपराध के खिलाफ हमारी संस्था हमेशा आवाज उठाई है। आई नेक्स्ट और दिशा का प्रयास काफी सराहनीय है। ऐसे अभियान से इस पर काफी हद तक अंकुश लगेगा। हम संकल्प लेकर इस अभियान में लगे हैं और इसके लिए हर स्तर पर प्रयास करेंगे।

- प्रियाका, चेयरपर्सन , इनरव्हील, पाटलीपुत्रा

बाल विवाह ऐसा अपराध है जिससे कई परिवार तबाह होते हैं। नासमझी में कम उम्र की बेटे-बेटी की शादी तो कर दी जाती है लेकिन बाद में उनका जीवन बर्बाद हो जाता है। आई नेक्स्ट के इस अभियान का हिस्सा बना और लोगों को जागरुक करने में एक कड़ी के रूप में जुड़ा। - निर्मल कुमार, निदेशक, स्वर्ग संस्था

बच्चियों की पढ़ाई पर विशेष ध्यान दिया जाए और मां-बाप उनकी शादी को लेकर गंभीर रहें तो इस अपराध का जड़ से अंत हो जाएगा। मानसिकता है कि कम उम्र में दहेज कम देना होगा और अधिक उम्र में दहेज बढ़ जाएगा। ऐसी कई सोच है जिसे बदलना होगा।

-अनीता सिन्हा, डिप्टी चेयर पर्सन, चाइल्ड वेल्फेयर कमेटी

आई नेक्स्ट के साथ बाल विवाह जैसे समाज के गंभीर अपराध के खिलाफ मुहिम में काम करने मौका मिला। इस अभियान में क्0 से अधिक स्कूलों में क्भ् सौ छात्रों ने निबंध प्रतियोगिता में भाग लिया। हमें आंखे बंद कर नहीं खोलकर समाज को जगाना होगा।

-राखी शर्मा, डायरेक्टर, दिशा

बाल विवाह से कई समस्याएं जन्म लेती हैं। ये सामाजिक अपराध की जड़ है। आई नेक्स्ट और दिशा का प्रयास रंग लाया है। छात्रों का उत्साह बता रहा है कि वह इस गंभीर विषय को लेकर कितना गंभीर हैं।

- डॉ कुमकुम वेद सेन, रिटायर्ड प्रिंसिपल, सिद्धार्थ

महिला कॉलेज

बाल विवाह प्रदेश की बड़ी समस्या है। कम उम्र में बच्चियों को बड़ी जिम्मेदारी देकर उनका जीवन बर्बाद किया जा रहा है। आई नेक्स्ट की पहल सराहनीय है। ऐसे अभियान से ही समाज में बदलाव लाया जा सकता है। हम संकल्प लेकर काम कर रहे हैं

- मुख्तारुल हक, मेंबर, बीसीआरपीसी पटना

शिक्षा का स्तर जितना ऊंचा होगा, शादी का समय भी उतना ही बढ़ेगा। इसलिए लड़कियों की शिक्षा पर पूरा जोर होना चाहिए। जब समाज शिक्षित होगा तो बाल विवाह हो ही नहीं सकता। शिक्षा और जागरुकता से ही इस कुरीति से समाज को छुटकारा मिल सकता है।

-संदीप ओझा, को-ऑर्डिनेटर, सेंटर फॉर कैटलाइजिंग चेंज

कितना बड़ा दुर्भाग्य है। हम चांद पर पहुंच गए उसके बाद भी बाल विवाह हो रहा है। बाल विवाह सुनकर दिल पर बड़ा बोझ होता है। मां-बाप को चाहिए कि बेटा-बेटी में फर्क नहीं समझें और दोनों के लिए एक सा सपना बुनें। कम उम्र में उनकी शादी कर जीवन तबाह नहीं करें।

- विपिन कुमार, डायरेक्टर, गोल इंस्टीट्यूट

मुझे तो विश्वास ही नहीं हो रहा कि फ‌र्स्ट आई हूं और साइकिल मिली है। इतने छात्रों में मुझे चुना गया है। मैं इस क्षण को कभी नहीं भूल पाउंगी। अब मैं इसी साइकिल से घूम कर लोगों को बाल विवाह के खिलाफ जागरुक करूंगी।

- हर्षिता कुमारी, राजकीय बालिका उच्च विद्यालय, जल्ला

बाल विवाह के खिलाफ आई नेक्स्ट के अभियान का हिस्सा बनी इस बात की बेहद खुशी है। मुझे सेकेंड चुना जाएगा विश्वास नहीं था। मैं इसके लिए सभी को धन्यवाद देती हूं.मैं हमेशा आई नेक्स्ट और दिशा की मुहिम में साथ हूं।

-अनुष्का गुप्ता, प्रारंभिका स्कूल, बलुआ