Youth में है खासा craze
आजकल के यूथ को हमेशा कुछ ऐसा चाहिए होता है जो उनके लुक बेटर बनाए। अपने लुक के प्रति कॉन्सस सिटी के यूथ भी इन दिनों कांटेक्ट लेंसेज के मुरीद बन गए हैं.  यूथ में इनका खासा क्रेज है। सिटी के साकची स्थित टाइटेन आई शोरूम के आई वियर कंसल्टेंट महादेव बताते हैं कि सिटी में सबसे ज्यादा 18 से लेकर 35 साल के एजग्रुप के लोग इनका यूज कर रहे हैं। वहीं बिष्टुपुर स्थित ओमेगा आई वियर के रविंदर ने बताया कि सिटी में पावर आई वियर की मार्केट में कम से कम 40 परसेंट शेयर कांटेक्ट लेंसेज का है।

कई varieties हैं available
मार्केट में इन दिनों कांटेक्ट लेंसेज की कई वैराइटीज अवेलेबल हैं जो न सिर्फ इकोनॉमिकल हैं बल्कि क्वालिटी के लिहाज से भी काफी बेहतर हैं। बेसिकली कांटेक्ट लेंसेज तीन तरह के होते हैं करेक्टिव, कॉस्मेटिक व थेरेप्टिक। करेक्टिव लेंसेज वीक आई साइट वाले लोगों के लिए प्रिसक्राइब किये जाते हैं जबकि कॉस्मेटिक कांटेक्ट लेंसेज को लोग अपनी आंखों को अट्रैक्टिव लुक देने के लिए इस्तेमाल करते हैं। वहीं थेरेप्टिक कांटेक्ट लेंसेज (सॉफ्ट लेंसेज) को आंखों में होने वाली नन रिफ्रेक्टिव डिसऑर्डर्स के ट्रीटमेंट के लिए सजेस्ट किया जाता है। यूज करने के मुताबिक कांटेक्ट लेंसेज में दो वैराइटी हाती हैं। डेली डिस्पोजेबल और मंथली डिस्पोजेबल।

हैं कई side effects भी
कॉन्टेक्ट लेंस का प्रॉपर तरीके से इस्तेमाल न किया जाए तो इसके कई साइड इफेक्ट भी हो सकते हैं। एमजीएम हॉस्पिटल के आई स्पेशलिस्ट डॉ। सीवीपी सिंह ने बताया कि अगर आप कांटेक्ट लेंस को लगातार यूज करते हैं तो इससे आपके कॉर्नियां पर काफी इफेक्ट पड़ता है। इससे कई तरह के इंफेक्शन और रिफ्लेक्टिव डिसऑर्डर्स हो सकते हैं। इसके अलावा आंखों में बर्निंग, कंजेक्टिवाइटिस, पार्शियल आई साइट लॉस या पर्मानेंट आई साइट लॉस जैसी प्रॉब्लम्स भी हो सकती हैं। वहीं आई वियर कंसल्टेंट महादेव ने बताया कि अगर आप कांटेक्ट लेंसेज यूज करते हैं तो इसे लगातर 18 घंटे से ज्यादा यूज न करें।

'सिटी में 18 से लेकर 35 साल के एजग्रुप वाले लोगों में इनकी अच्छी डिमांड है। हमारे पास कई लोग इनके संबंध में क्वेरीज करने भी आते हैं.'
-महादेव, कंसल्टेंट टाइटेन आई, साकची

'40 परसेंट शेयर कांटेक्ट लेंसेज का है.'
-रविंदर, ओमेगा आई वियर, बिष्टुपुर

Report by: rajnish.tiwari@inext.co.in