कानपुर। डब्ल्यूएचओ या विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा बुधवार को कोरोना वायरस को एक महामारी के रूप में घोषित किया गया था, जिसका अर्थ है कि नया वायरस (या रोग) दुनिया भर में फैल रहा है। डब्ल्यूएचओ और स्वास्थ्य व परिवार कल्याण मंत्रालय, भारत सरकार दोनों ने कई सावधानियां बरतने की सलाह दी है। यदि आपके पास अभी भी कोरोना वायरस के बारे में प्रश्न हैं, तो यहां एक व्हाट्सएप चैटबॉट है जो मदद कर सकता है। मुंबई में स्थित एक कन्वर्सेशन अल प्लेटफॉर्म Haptik ने 'कोरोना वायरस हेल्पडेस्क' नाम का एक चैटबॉट बनाया है। चैटबॉट अब व्हाट्सएप पर उपलब्ध है और उपयोगकर्ताओं के मन में कोरोना वायरस को लेकर फैले अफवाह को खत्म करने में मदद कर सकता है। बता दें कि कोरोना वायरस हेल्पडेस्क में वायरस से बचने का सुझाव भी उपलब्ध है। भारत में यूजर्स +91 93213 98773 पर व्हाट्सएप मैसेज भेजकर चैटबॉट का उपयोग कर सकते हैं।

कैसे Haptik द्वारा Coronavirus Helpdesk के साथ चैट करें

व्हाट्सएप पर अभी चैटबॉट लाइव है और आप इसे +91 93213 98773 पर मैसेज भेजकर एक्सेस कर सकते हैं। चैटबॉट का टेस्ट किया जा चुका है और यह कंपनी द्वारा विज्ञापित के रूप में काम करता है। मैसेज भेजने का बाद चैटबॉट में पहले से ही कई सवाल दिखाई देंगे और आप व्हाट्सएप पर कोरोना वायरस हेल्पडेस्क चैटबॉट द्वारा दिखाए गए निर्देशों का पालन करके इनका जवाब पा सकते हैं। कोरोना वायरस हेल्पडेस्क में ऐसे सवालों का जवाब मिलेगा, जो बेहद जरुरी हैं। जैसे कि कोरोनोवायरस क्या है?, लक्षण क्या हैं? आप अपनी रक्षा कैसे करते हैं ? मिथक हलचल और यात्रा सलाहकार। यहां ध्यान देने वाली बात यह है कि बॉट को कोरोना वायरस या सीओवीआईडी -19 पर अक्सर पूछे जाने वाले सवालों के जवाब देने के लिए प्रशिक्षित किया गया है।

coronavirus: अब व्हाट्सएप पर सिर्फ मैसेज भेजने से मिलेगा हर सवालों का जवाब

कहां से मिलता है जवाब

बता दें कि डब्लूएचओ वेबसाइट और अन्य विश्वसनीय स्रोतों के माध्यम से जानकारी मिलती है और इसमें बुनियादी स्वच्छता मानकों, निवारक उपायों, सामान्य लक्षणों, ट्रेवल एडवाइजरी और दूसरों के बीच मिथकों के बारे में जानकारी शामिल है। इसके अलावा, हेल्पडेस्क कोरोना वायरस पर एक वीडियो लिंक तक पहुंच भी प्रदान करता है। Haptik ने अपने ब्लॉग में कहा, 'इस चैटबोट का निर्माण कंपनी द्वारा सामान्य जनहित और जागरूकता के रूप में किया गया है। डब्ल्यूएचओ द्वारा उपलब्ध कराए गए सार्वजनिक आंकड़ों से सूचना को प्राप्त किया जाता है और कंपनी उसकी सटीकता की जिम्मेदारी नहीं लेती है।'