कानपुर (इंटरनेट-डेस्क)। Dainik Panchang 18 Nov, 2020: बुधवार चतुर्थी तिथि 03:45:00 तक तदोपरान्त पंचमी तिथि है।चतुर्थी तिथि के स्वामी गणेश जी हैं तथा पंचमी तिथि के स्वामी नाग देवता हैं। बुधवार को उत्तर दिशा में जाना अशुभ होता है यदि आवश्यक हो तो घर से धनियां या तेल खाकर निकलें। दिन का शुभ मुहूर्त, दिशाशूल की स्थिति, राहुकाल एवम् गुलिक काल की वास्तविक स्थिति के बारे में जानकारी आगे दी गई है।

18 नवम्बर 2020 दिन- बुधवार का पंचांग

सूर्योदयः- प्रातः 06:24:04

सूर्यास्तः- सायं 05:02:10

विशेषः- बुधवार के दिन गणेश भगवान की पूजा करने का विशेष महत्व होता है। आज के दिन शरीर पर तेल लगाने से मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं।

विक्रम संवतः- 2077

शक संवतः- 1942

आयनः- दक्षिणायन

ऋतुः- हेमन्त ऋतु

मासः- कार्तिक माह

पक्षः- शुक्ल पक्ष

तिथिः- चतुर्थी तिथि 03:45:00 तक तदोपरान्त पंचमी तिथि

तिथि स्वामीः- चतुर्थी तिथि के स्वामी गणेश जी हैं तथा पंचमी तिथि के स्वामी नाग देवता हैं।

नक्षत्रः- मूल नक्षत्र 10:40:13 तक तदोपरान्त पूर्वा अषाढ़ा नक्षत्र

नक्षत्र स्वामीः- मूल नक्षत्र के स्वामी केतु देव जी हैं तथा पूर्व अषाढ़ा नक्षत्र के स्वामी शुक्र देव जी हैं।

योगः- धृति 12:29:26 तक तदोपरान्त शूल

दिशाशूलः- बुधवार को उत्तर दिशा में जाना अशुभ होता है यदि आवश्यक हो तो घर से धनियां या तेल खाकर निकलें।

गुलिक कालः- शुभ गुलिक काल 10:46:00 से 12:06:00 तक

राहुकालः- आज का राहु काल 12:06:00 से 01:26:00 तक

तिथि का महत्वः- इस तिथि में मूली नही खाना चाहिए यह तिथि कोई मांगलिक करने के लिए शुभ नहीं मानी गयी है।

हे तिथि स्वामी, योग स्वामी, नक्षत्र स्वामी, दिन स्वामी आप पंचांग का पाठन करने वालों पर अपनी कृपा दृष्टि बनाये रखना।

By Astrologer Dr. Trilokinath