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JAMSHEDPUR: दैनिक जागरण-आई नेक्स्ट की ओर से आयोजित मिलेनियल्स स्पीक के तहत युवाओं ने रविवार को बारीडीह दुर्गा पूजा मैदान में राजनी-टी में अपनी राय रखी. युवाओं ने 'जेनरल कैटेगरी के गरीबों को 10 प्रतिशत आरक्षण, क्या यह एक चुनावी मुद्दा होगा?' पर अपनी बेबाक राय रखी.

चर्चा की शुरुआत करते हुए कुछ मिलेनियल्स ने गरीबों को आरक्षण देना सरकार अच्छा फैसला बताया तो कई युवाओं ने सवर्णों को आरक्षण मिलने विरोध में अपनी बात रखी. चर्चा की शुरुवात करते हुए राजा ने कहा कि स्वतंत्र भारत के इतिहास में पहली बार सामान्य वर्ग की किसी सरकार ने सुध ली है. सबसे अहम बात यह है कि इस निर्णय से अनुसूचित जाति, जनजाति और ओबीसी के आरक्षण पर कोई असर नहीं पड़ेगा. उन्होंने कहा कि चुनाव में इसका फायदा सरकार को जरूर मिलेगा.

विकास ने चर्चा को आगे बढ़ाते हुए कहा कि स्वतंत्र भारत के इतिहास में पहली बार आर्थिक आधार पर आरक्षण बारे जो निर्णय हुआ है उससे सामान्य वर्ग के युवाओं को उच्च शिक्षा तथा नौकरियों में और बेहतर अवसर प्राप्त होंगे. सामान्य वर्ग को आर्थिक आधार पर आरक्षण प्रदान करना केंद्र सरकार का साहसिक कदम है. हालांकि नुरेन इस बात से सहमत नहीं दिखे. उन्होंने कहा कि सामान्य वर्ग को आरक्षण देना सरकार का एक चुनावी स्टंट है. अगर सरकार को सामान्य वर्ग की इतनी ही चिंता थी तो सरकार बनते साथ ही सवर्णों आरक्षण देते, सरकार के आखिरी समय में गरीब सवर्णो को आरक्षण का लॉलीपॉप दिखाना साबित करता है कि सरकार डरी है हुई है. सूर्य प्रकाश ने कहा कि सवर्ण आरक्षण से सरकार हर धर्म के फारवर्ड क्लास को साधने की कोशिश है, पर सरकार के इस प्रलोभन में सवर्ण नहीं आएंगे, क्योंकि वे जानते हैं कि जब रोजगार ही नहीं मिलेगा तो आरक्षण का क्या करेंगे.

हर गरीब को लाभ
मिलेनियल्स ने कहा सरकार ने सामान्य वर्ग में आने वाले आर्थिक रूप से कमजोर तबके को नौकरी और शिक्षा में 10 फीसदी आरक्षण देने का फैसला लिया है, वह सराहनीय है. केंद्रीय कैबिनेट के इस फैसले में धर्म की अड़चन नहीं रखा है, जो सबसे अच्छी बात है, इससे सामान्य श्रेणी में आने वाले देश के हर गरीब नागरिक को इस व्यवस्था का लाभ मिलेगा, उसमें हिंदू से लेकर मुस्लिम और दूसरे धार्मिक अल्पसंख्यक भी शामिल हैं.

आरक्षण विकास में बाधा
चर्चा को आगे बढ़ाते हुए मनोज ने कहा कि आरक्षण के कारण ही देश विकास में बाधा आ रही है. मेरे हिसाब से आरक्षण को हटा देना चाहिए, आरक्षण के कारण ही देश का असली टेलेंट छिप जा रहा है. लेकिन देश की राजनीति बिना आरक्षण के चल ही नही सकती है, इसलिए चुनाव से पहले सरकार ने जेनरल कैटेगरी को आरक्षण देने का काम किया है. चर्चा के दौरान मिलेनियल्स ने कहा देश तथा राज्य में बेरोजगारी का आलम क्या है सारे लोग जान रहे हैं. सरकार जब रोजगार बढ़ाएगी तब ना आरक्षण काम आएगा. रोजगार है ही नहीं तो सवर्ण आरक्षण का क्या करेंगे. सरकार बस आईवास करने का काम कर रही है. आज सरकारी विभाग में वैकेंसी ना के बराबर है. चुनाव के समय में इसे हम चुनावी स्टंट कह सकते हैं. बंटी ने कहा आज का युवा की सबसे बड़ी मांग रोजगार है और रोजगार देने में सरकार पूरी तरह से फैल है. रोजगार की बात करते है तो सरकार पकौड़ा बेचने को कहती है, जब हम पकौड़ ही बेचेंगे तो आरक्षण का क्या काम. रौशन ने कहा आज देश के युवा नौकरी के लिए भटक रहे हैं. सरकार नौकरी उपलब्ध कराए.

सतमोला खाओ, कुछ भी पचाओ
चर्चा के दौरान शहर में जाम की समस्या का मुद्दा उठा. युवाओं ने कहा प्रशासन जाम मुक्त शहर बनाने में असफल रहा है. जहां-तहां वाहनों की पार्किग के कारण जाम की समस्या उत्पन्न होती है. अगर लोगों में थोड़ी सी जिम्मेदारी का अहसास हो जाए तो जाम की समस्या से निजात मिल सकती है.

मेरी बात
इससे सरकार हर धर्म के फारवर्ड क्लास को साधने की कोशिश है. सवर्ण आरक्षण से गरीब तबके के लोगों को थोड़ी राहत मिलेगी. यह एक वर्ग के लिए राहत की खबर है कि सरकार ने 10 प्रतिशत आरक्षण देकर गरीब सवर्ण के विकास पर ध्यान दिया है.

राजा

कड़क मुद्दा
आज युवाओं की सबसे बड़ी समस्या बेरोजगारी है. सरकार अपने वादे के मुताबिक युवाओं को रोजगार देने में नाकाम रही है. तेजी से मॉर्डन हुई अर्थव्यवस्था में घरेलू और कुटीर उद्योग पूरी तरह से तबाह हो गए हैं. सरकार विभिन्न ट्रेनिंग सेंटर के माध्यम से युवाओं को रोजगार संबंधित प्रशिक्षण देने का काम कर रही है, लेकिन पूजी के अभाव में युवा अपना रास्ता नहीं तलाश पा रहे हैं. युवाओं को सरकार पर डिपेंड होकर नहीं बैठना चाहिये. सवर्ण आरक्षण से गरीब सवर्ण को लाभ मिलेगा.

विकास

सरकार के इस फैसले के बाद गरीब तबके के सवर्ण स्टूडेंट को लाभ मिलेगा. सरकार ने गरीब तबके के सवर्ण को आरक्षण में शामिल कर चुनावी दांव भी खेलने की कोशिश की हैं. अगर वाकई सरकार को यह फैसला करना था तो पांच साल से क्यो आरक्षण नहीं दिया.

नूरिन

 

किसी सरकार ने अभी तक गरीब स्वर्णो पर ध्यान नहीं दिया था. यह एक अच्छा फैसला है. मेरे हिसाब सभी वर्ग के लोगों से आरक्षण पूरी तरह से समाप्त किया जाना चाहिये.

सूर्य प्रकाश

सरकार बिना रोजगार के ही सभी वर्ग को आरक्षण दे रही है. सरकार सभी विभागों में लोगों की नियुक्ति अनुबंध के आधार पर कर रहा है. इससे सवर्ण को इसका लाभ नहीं मिलेगा. देश के विकास के लिए यह जरूरी है कि सभी को समान अवसर प्रदान किया जाए.

सुनील

सवर्ण आरक्षण का फैसला सही है. जब देश का हर वर्ग आरक्षण का लाभ पा रहा है, तो सवर्ण के ही साथ ही भेदभाव क्यों हो. देश तथा राज्य में बेरोजगारी के चलते आरक्षण का लाभ युवाओं को ठीक से नहीं मिल पा रहा हैं. सरकार को चाहिये कि देश में इंड्रस्टी का विकास करें जिससे सभी वर्ग के युवाओं कको रोजगार मिल सके.

बंटी

आज देश के युवा नौकरी के लिए भटक रहे हैं. सरकार नौकरी उपलब्ध करवाए. इससे आरक्षण की जरूरत ही नहीं होगी. सरकार बस आईवास करने का काम कर रही है, आज सरकारी विभाग में वैकेंसी ना के बराबर है. चुनाव के समय में इसे हम चुनावी स्टंट कह सकते हैं. इससे युवाओं को फायदा नहीं मिला है.

मनोज

स्वतंत्र भारत के इतिहास में पहली बार आर्थिक आधार पर आरक्षण बारे जो निर्णय हुआ है उससे सामान्य वर्ग के युवाओं को उच्च शिक्षा तथा नौकरियों में और बेहतर अवसर प्राप्त होंगे. सामान्य वर्ग को आर्थिक आधार पर आरक्षण प्रदान करना केंद्र सरकार का साहसिक कदम है.

राहुल

पहली बार सामान्य वर्ग की किसी सरकार ने सुध ली है. सबसे अहम बात यह है कि इस निर्णय से अनुसूचित जाति, जनजाति और ओबीसी के आरक्षण पर कोई असर नहीं पड़ा. इसका लाभ सरकार को मिलेगा.

सुमन

इससे सामान्य श्रेणी में आने वाले देश के हर गरीब नागरिक को इस व्यवस्था का लाभ मिलेगा. इसमें हिंदू से लेकर मुस्लिम और दूसरे धार्मिक अल्पसंख्यक भी शामिल हैं.

अनिल