नई दिल्ली (एएनआई)। दिवाली का त्‍यौहार देश में बड़े धूमधाम से मनाया जाता है। लोग त्योहार को विशेष तरीके से मनाते हैं। विशेष रूप से रंगोली बनाकर, घर पर दिवाली पार्टियों का आयोजन करके और स्वादिष्ट व्यंजन और मिठाइयों के साथ। हालाँकि, इस पर्व पर बहुत से लोग खूब पटाखे फोड़ते हैं। जिससे काफी प्रदूषण होता है। तो क्‍यों न इस बार रोशनी के त्‍यौहार को इको फ्रेंडली तरीके से मनाएं।

ऑर्गेनिक रंगोली
रंगोली बनाते समय केमिकल युक्त रंग के पाउडर को छोड़ दें। जब आप हरे रंग में जाने की कोशिश कर रहे हों तो यह सबसे अच्छा विकल्प नहीं है। कोई फूल, चावल, दालें और ऑर्गेनिक रंग से रंगोली बना सकते हैं।

पटाखों को कहें ना
पटाखों को जलाने से हवा में प्रदूषक तत्व निकलते हैं और ध्वनि प्रदूषण भी होता है। तो, इस दिवाली और दीवाली पर पटाखों को ना कहें और अपनी छत पर आसमानी लालटेन जलाकर इसे मनाएं। अपने घर को दीयों से रोशन करें, इससे आपके दिवाली समारोह में और सुंदरता आएगी।

पर्यावरण के अनुकूल उपहार
दिवाली आपके करीबी और प्रियजनों को खास महसूस कराने के बारे में है। कई लोग एक-दूसरे को उपहार देना पसंद करते हैं। यदि आप एक पर्यावरण के अनुकूल दिवाली मनाने की योजना बना रहे हैं, तो आप निश्चित रूप से पौधों, जैविक त्वचा देखभाल उत्पादों, हैंडमेड बैगों को उपहार में देने के बारे में सोच सकते हैं जो कि बेकार सामग्री को अपसाइकल करके बनाए जाते हैं।

रीसायकल सजावट
दीवाली सजावट के बिना अधूरी है। और अगर आप सोच रहे हैं कि प्रकृति को नुकसान पहुंचाए बिना तैयारी कैसे की जाए, तो चिंता न करें। आपको बस इतना करना है कि कुछ समय के लिए नया सोचना है। आप अपनी दिवाली वॉल हैंगिंग को बेकार सामग्री से बना सकते हैं। अपने घरों में बल्ब की जगह मिट्टी के दीयों से रोशनी करें।

प्लास्टिक का प्रयोग कम करें
दिवाली और शॉपिंग साथ-साथ चलते हैं। कई लोगों के लिए दिवाली कई लोगों के लिए खरीदारी का त्योहार है। हालांकि, शॉपिंग का मतलब ढेर सारे प्लास्टिक बैग्स हैं। तो आइए इस दिवाली प्लास्टिक बैग को ना कहें और खरीदारी के लिए बाहर जाते समय कपड़े के बैग का इस्तेमाल करें।

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