रांची: रिंची हॉस्पिटल में मारपीट की हुई घटना से डॉक्टरों में काफी आक्रोश है। आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग को लेकर शुक्रवार को डॉक्टरों का दल एसएसपी आवास पहुंचा। यहां एसएसपी के न मिलने पर आइएमए भवन में बैठक कर आगे की रणनीति तय की गई। बता दें कि गुरुवार को पतरातू डैम में डूबे युवक को कटहल मोड़ स्थित इस लाया गया था। यहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गयी थी। इस पर परिजनों और डॉक्टरों के बीच विवाद हुआ। इसके बाद 100 से 150 की संख्या में रहे लोगों ने अस्पताल में घुसकर तोड़फोड़ की। डॉक्टरों के साथ भी मारपीट की, जिसमें तीन डॉक्टरों को चोट लगी है। गुस्साये लोगों ने अस्पताल के खिड़की-दरवाजे तक तोड़ने के साथ ही काउंटर को भी डैमेज कर दिया था।

परिजनों ने भी लगाया आरोप

परिजनों का भी आरोप है कि मारपीट सुरक्षाकर्मियों और डॉक्टरों ने की। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक परिजन अस्पताल परिसर में ही बैठे थे। विवाद के बाद कुछ सुरक्षाकर्मी आये और मेन गेट को अंदर से बंद कर दिया। गेट बंद करने के बाद परिजनों को बिना कुछ कहे मारना शुरू कर दिया। जिसके बाद स्थानीय लोग भड़क गए। देर रात तक मरीज के परिजन व स्थानीय लोग अस्पताल को घेरे हुए थे। रात में नगड़ी पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए रिम्स भेजा।

स्नातक का स्टूडेंट था आशुतोष

मृत आशुतोष पांडेय (21) नगड़ी का रहने वाला था। वह योगदा सत्संग कॉलेज में स्नातक सेकेंड ईयर का स्टूडेंट था। गुरुवार को कॉलेज जाने के लिए घर से निकला था लेकिन दोस्तों के साथ पतरातू डैम चला गया। आसपास के लोगों ने बताया कि 10 से अधिक युवक पांच बुलेट से डैम गये थे। वहां घूमने के दौरान आशुतोष साथियों के साथ डैम में नहाने के लिए उतरा था। वह डैम में डूबने लगा तो साथियों ने उसे किसी तरह बाहर निकाला और गंभीर हालत में रिंची अस्पताल ले गये। जब उसे रिंची अस्पताल में दाखिल किया गया तो उसकी सांसें चल रही थीं। यह देख कर अस्पताल ने भर्ती कर लिया गया। इसके बाद साथ गये दोस्त वहां से गायब हो गये। आशुतोष के परिजनों को वहां के स्थानीय लोगों ने जानकारी दी, जिसके बाद वे रिंची अस्पताल पहुंचे तो अस्पताल प्रबंधन ने आशुतोष का शव उन्हें सौंपना चाहा और कहा कि उसे मृत हाल में ही अस्पताल लाया गया था। इस पर परिजन आग-बबूला हो गये। बहस के बाद हंगामा शुरू हो गया।