-दैनिक जागरण आईनेक्स्ट में न्यूज पब्लिश होने के बाद कूड़ा जलाने पर एक पर एफआईआर, छह से वसूला जुर्माना
-जल निगम और बीडीए के अधिकारियों ने लगाई क्लास, कार्रवाई करने की दी चेतावनी
बरेली: दैनिक जागरण आईनेक्स्ट में मंडे को कूड़ा जलाने और सरकारी विभागों की न्यूज पब्लिश होने के बाद प्रशासन हरकत में आ गया। मंडे को नगर निगम ने कूड़ा जलाने पर जहां शहर में पहली बार एफआईआर दर्ज की गई और जुर्माना वसूला गया। वहीं बीडीए वीसी ने भी मीटिंग बुलाई है। साथ ही जल निगम ने चल रहे सीवर की खुदाई के काम को रुकवा दिया।
कूड़ा जलाने पर वसूले 3 हजार
नगर निगम के नगर स्वास्थ्य अधिकारी संजीव प्रधान ने सभी सफाई नायक, सफाई कर्मियों को मंडे मार्निग को कूड़ा जलाने वालों पर कार्रवाई करने को भेजा। जिस पर शहर में छह जगहों पर कूड़ा जलाते हुए मिले जिन पर 500 के हिसाब से 3 हजार रुपए फाइन लगाया गया। वहीं श्यामगंज में कूड़ा जलाने पर एक अज्ञात के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज की गई है। वहीं श्यामगंज में सड़क पर कूड़ा फेंक रहे युवक को चेतावनी देकर छोड़ दिया गया।
बीडीए ने बुलाई मीटिंग
एनजीटी के रूल्स फालो न करने की न्यूज पब्लिश होने के बाद बीडीए वीसी दिव्या मित्तल ने ट्यूजडे को सभी अधिकारियों को मीटिंग के लिए बुलाया है। जिसमें ठेकेदार, बिल्डर्स और डेवलपर्स के साथ क्रेडाई के मेंबर्स भी शामिल होंगे। इस दौरान एनजीटी के रूल्स फॉलो कराने के लिए दिशा-निर्देश जारी किए जाएंगे।
जल निगम भी जागा
सिविल लाइन एरिया में कराया जा रहे सीवर लाइन की खोदाई स्थल पर टैंकर से पानी का छिड़काव कराया। साथ ही कृष्णा नगर कॉलोनी के सामने एकत्र हुए मिट्टी के ढेर को हटवाया गया।
सुबह सभी आठ राजस्व निरीक्षकों ने अपने एरिया में निरीक्षण किया। इस दौरान 6 लोगों से कूड़ा जलाने पर 500-500 के हिसाब से जुर्माना वसूल किया गया। साथ ही एक अज्ञात के खिलाफ श्यामगंज चौकी में केस दर्ज कराया गया।
-संजीव प्रधान, नगर स्वास्थ अधिकारी, नगर निगम
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हवाओं से घटा स्मॉग, औंधे मुंह गिरा एक्यूआई
मंडे को ऐसे गिरा एक्यूआई
-44 परसेंट ह्यूमिडिटी से घटा स्मॉग
-25 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया टेम्प्रेचर
-185 एमसीजी प्रति क्यूबिक मीटर पहुंचा एक्यूआई
-500 एमसीजी प्रति क्यूबिक मीटर संडे को रिकॉर्ड किया गया था एक्यूआई
मंडे को ऐसा रहा मौसम
पीएम 2.5 पीएम 10
-160 से 180 170 से 190
-13.5 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चली हवा से कम हुआ स्मॉग
315 एमसीजी प्रति क्यूबिक मी। गिरा एक्यूआई, बरेलियंस को मिली राहत
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बरेली: मंडे 13.5 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से पछुआ हवाएं चलती रही। जिससे पॉल्यूशन काफी कम हो गया और एक्यूआई जो संडे को 500 था, गिरकर मंडे को 185 पहुंच गया। इससे बरेलियंस को काफी राहत मिली। आपको बता दें मंडे को हवाओं के चलने से ह्यूमिडिटी 44 परसेंट तक हो गई और धूप भी निकली जिससे काफी हद तक स्मॉग छंट गया। इस वजह से लोगों को सांस लेने में आसानी हुई। वहीं संडे को एक्यूआई 500 पहुंचने पर मंडे को डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल में बड़ी संख्या में संास संबंधी प्रॉब्लम के पशेंट पहुंचे।
अभी राहत, 7 को रहें अलर्ट
पछुआ हवाओं चलने अभी पॉल्यूशन से काफी राहत मिली है। लेकिन वेदर एक्सपर्ट का कहना है कि 7 नवंबर को हवा की रफ्तार काफी कम हो जाएगी। जिससे पीएम बढ़ने की संभावना है। जिससे एयर पॉल्यूशन फिर बढ़ जाएगा। इसलिए अभी अलर्ट रहें और मास्क लगाकर ही घर से बाहर निकलें।
यह होता है फॉग
फॉग वातावरण में उच्च नमी और निम्न तापमान की वजह से पड़ता है। यह उस एरिया में ज्यादा दिखाई देता है, जहां हवा की रफ्तार बहुत कम होती है और एटमॉसफीयर में नमी के सूक्ष्म कण रहते हैं। इससे सन लाइट सीधे जमीन तक ठीक से नहीं पहुंच पाती है। यह हमेशा स्थानीय जलवायु के प्रभावों के कारण ही उत्पन्न होता है।
यह होता है स्मॉग
स्मॉक और फॉग के मिश्रण से स्मॉग उत्पन्न होता है। इससे फॉग के अंदर पड़े ठोस कण (धूल के कड़), धुएं स्मॉक के कार्बन के साथ-साथ अन्य जहरीली गैसों से मिश्रित हो जाती है। इसे स्मॉग कहते हैं। इससे स्मॉग में मौजूद हानिकारक तत्व एवं गैसें मानव, जीव-जंतु और पेड़ों पर बुरा असर डालते हैं।
ऐसे करें बचाव
-जल्दी सुबह और शाम घूमने न निकलें।
-सांस रोगी विशेष सावधानी बरतें।
-उबालने के बाद ही पानी का पीएं।
-हार्ट सहित विभिन्न गंभीर प्रकार के रोगी अलर्ट रहें।
-कम उम्र के बच्चों और बुजुर्गो पर विशेष ध्यान दें।
-घर के अंदर का भी पॉल्यूशन कंट्रोल करने का प्रयास करें।
-खाने में हरी सब्जियों का यूज करें।
-धूप निकलने के एक घंटे बाद बाहर निकलें।
-घर में झाड़ू की जगह गीले कपड़े से पोछा लगाए।
-मास्क लगाने के बाद ही घर से बाहर निकलें।
250 से ज्यादा सांस रोगी
संडे को अचानक एक्यूआई बढ़ने से मंडे को सांस संबंधी पेशेंट काफी बढ़ गए। डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल में 250 से ज्यादा सांस के पेशेंट पहुंचे, जिन्हें देखने के लिए तीन चिकित्सक लगे थे। वहीं प्राइवेट हॉस्पिटल में भी सांस के पेशेंट पहुंचे जिन्हें डॉक्टरों ने मास्क लगाकर बाहर निकलने की सलाह दी।
वर्जन
हवा चलने की वजह से बरेली में एक्यूआई 185 एमसीजी प्रति क्यूबिक मीटर पर आ गया, लेकिन फिर भी अभी सांस अथवा विभिन्न प्रकार के गंभीर रोगियों के लिए खतरा है। थर्सडे को फिर स्थिति खराब होने की संभावना है।
-डॉ। आलोक खरे, पर्यावरणविद्
सामान्य दिनों में करीब 150 तक सांस संबंधित मरीज आते थे, लेकिन आज 250 से अधिक मरीज आए। आज मैंने 159 मरीजों की जांच किया। जबकि मेरे दो सहयोगी डॉक्टर्स ने 100 से अधिक मरीजों की जांच किया।
-डॉ। विपिन कुमार धस्माना, वरिष्ठ परामर्शदाता, चेस्ट विशेषज्ञ, जिला अस्पताल