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LUCKNOW : नई दिल्ली स्थित सीबीआई मुख्यालय में अफसरों के बीच चल रही उठापटक से लखनऊ दफ्तर भी अछूता नहीं है। खासतौर पर लखनऊ मुख्यालय में बीते कुछ दिनों से अफसरों को प्रताडि़त करने का दौर जारी है जिसकी वजह से बाकी अफसरों और कर्मचारियों में असंतोष है। इसका असर तमाम जांचों पर भी पड़ रहा है जो कई सालों से पूरी नहीं हो पा रही है। आपसी तनातनी का आलम यह है कि कई अहम जांचों की ब्रांच बदल दी गयी तो कई में जांच को दूसरे अधिकारी के सुपुर्द कर दिया गया।

एसपी के खिलाफ पीई

लखनऊ जोनल मुख्यालय में एक एसपी के खिलाफ पीई खोली गयी जिसकी गूंज दिल्ली मुख्यालय तक हुई थी। बाद में एसपी ने भी पलटवार करते हुए अदालत और सीवीसी की शरण ली और परेशान करने वाले अफसरों की शिकायत की। वहीं एक डिप्टी एसपी के खिलाफ तीन पीई खोले जाने से वह तनावग्रस्त हो गये। उनको मिली एक अहम जांच को भी वापस लेकर दूसरे अफसर के सुपुर्द कर दिया गया। इसका असर यह हुआ कि तमाम घोटालों और आपराधिक मामलों की जांचें लंबे समय से अटकी हुई है। वरिष्ठ अफसरों का रुख साफ न होने की वजह से मातहत भी परेशान हैं और वे कोई कदम उठाने से बच रहे हैं। सीबीआई सूत्रों की मानें तो एक एसपी को ट्रैप केस में दिल्ली में तैनात एक वरिष्ठ अफसर ने इतना डांटा था कि वे बेहोश हो गये थे और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराना पड़ गया था।  

कांग्रेस आज करेगी प्रदर्शन

सीबीआई विवाद को लेकर कांग्र्रेस नेता शुक्रवार सुबह 11 बजे प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर के नेतृत्व में लखनऊ स्थित सीबीआई कार्यालय का घेराव करेंगे। साथ ही पूरे प्रदेश में पार्टी नेताओं द्वारा प्रदर्शन किया जाएगा। प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर ने आरोप लगाया कि मोदी सरकार सीबीआई जैसी संस्था को कमजोर करने का प्रयास कर रही है, ताकि भाजपा के शीर्ष नेताओं पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की निष्पक्ष जांच न हो सके। उन्होंने कहा कि सीबीआई को पूरी तरह से भाजपा सरकार के इशारे पर चलाने को ही गुजरात से मनचाहे अफसरों को शीर्ष पद पर आसीन किया जा रहा है। राफेल सौदे का सीबीआई कनेक्शन भी अब किसी से छिपा नहीं रह गया है।

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