- बरेली जेल में शिफ्ट किया जाएगा माफिया अतीक अहमद

- डिप्टी जेलर समेत चार पर गाज, जेलर पर कार्रवाई की सिफारिश

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LUCKNOW : देवरिया जेल में राजधानी के कारोबारी को बंधक बनाने के मामले के आरोपी माफिया अतीक अहमद की जेल बदली जाएगी। गृह विभाग ने सोमवार को अतीक को देवरिया से हाई सिक्योरिटी बरेली जेल ट्रांसफर करने का आदेश जारी कर दिया। वहीं एडीजी जेल और देवरिया के डीएम द्वारा दी गयी रिपोर्ट के आधार पर डिप्टी जेलर समेत चार जेलकर्मियों को सस्पेंड कर दिया गया है। रिपोर्ट में जेल अधीक्षक दिलीप पांडेय और जेलर मुकेश कटियार पर भी सख्त कार्रवाई की सिफारिश की गयी है जिसके बाद उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई शुरू करने के निर्देश जारी कर दिए गये है। वहीं डीएम की जांच में यह भी सामने आया है कि घटना के वक्त की सीसीटीवी फुटेज को जेल अधिकारियों ने डिलीट कर दिया था ताकि जेल में अतीक के गुर्गो द्वारा कारोबारी मोहित जायसवाल को जबरदस्ती ले जाने और पिटाई करने के सबूत मिट सके।

बड़े अफसरों पर कार्रवाई नहीं
सूबे की जेलों में एक के बाद एक करके लगातार ऐसे मामले सामने आने के बाद भी जेल विभाग के वरिष्ठ अफसरों पर कार्रवाई नहीं की गयी है। देवरिया जेल में कारोबारी मोहित जायसवाल की पिटाई के मामले ने जेल महकमे की पोल खोल दी। इसके बावजूद वहां के डिप्टी जेलर देवकांत यादव, हेड वार्डर मुन्ना पांडे, वार्डर राकेश शर्मा और रामआसरे को ही सस्पेंड किया गया है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर एडीजी जेल चंद्रप्रकाश ने अपनी रिपोर्ट प्रमुख सचिव गृह को दी जिसमें जेलकर्मियों की लापरवाही का जिक्र है। ध्यान रहे कि इससे पहले रायबरेली जेल से व्यापारियों को फोन पर धमकाने, लखनऊ जेल में मेरठ कोर्ट के आदेश के बावजूद जालसाज को छोड़ने और आजमगढ़ जेल में वाट्सएप का इस्तेमाल होने के मामले सामने आने के बाद भी संबंधित अधिकारियों के खिलाफ सख्त एक्शन नहीं लिया गया था। लखनऊ जेल से जालसाज शाजी अहमद सिद्दीकी को छोड़ने के बाद जेल अधीक्षक और जेलर को मेरठ कोर्ट में जाकर माफी भी मांगनी पड़ी थी। इसके बावजूद वे अपने पदों पर बरकरार है।

जेल में हुई छापेमारी
वहीं दूसरी ओर रविवार रात देवरिया के डीएम और एसपी ने जेल में छापेमारी कर अतीक की बैरक की तलाशी ली। डीएम अमित किशोर ने बताया कि अतीक की बैरक में खाने-पीने की काफी चीजें मिली जिन्हें जब्त कर लिया गया.जेल में लगे सीसीटीवी से छेड़छाड़ कर कुछ फुटेज डिलीट की गई है। इसमें जेल प्रशासन की संदिग्ध भूमिका के मद्देनजर डीएम ने पूरे प्रकरण की जांच के लिए एडीएम प्रशासन राकेश पटेल के नेतृत्व में एक टीम गठित की है।