- नगर निगम का दावा 3695 आवारा पशु भेजे जा चुके कान्हा उपवन-गो सदन

- फिर भी आए दिन सांड़ के हमले में घायल हो रहे लोग

GORAKHPUR: कान्हा उपवन से लेकर गो सदन तक में आवारा पशुओं को सेटल करने के चाहे जितने दावे नगर निगम कर ले, हकीकत यही है कि आज भी शहर की सड़कों पर बेखौफ 'यमराज' घूम रहे हैं। नगर निगम का दावा है कि पिछले साल से अब तक कान्हा उपवन और महराजगंज के मधवलिया गो सदन में करीब 3695 पशुओं को भेजा जा चुका है। लेकिन आलम ये है कि आए दिन कोई ना कोई सांड़ों के हमले में घायल हो रहा है। ये हाल तब जब इस पर निगम लगभग 20 लाख से अधिक की रकम भी खर्च कर चुका है फिर भी शहर में सांड़ों का आतंक बना हुआ है।

सांड़ बने खतरा, रास्ता चलना तक मुश्किल

बीते दिनों में सांड़ के हमले में तमाम लोग घायल होकर अस्पताल पहुंच चुके हैं तो वहीं चार लोगों की मौत हो चुकी है। इतना ही नहीं लग्जरी गाडि़यां भी इनके हमले में क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। शहर में सांड़ों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है। हर गली-मोहल्ले, सड़क पर सांड़ घूम रहे हैं। रात के अंधेरे में लोग सांड़ों से टकराकर घायल भी हो रहे हैं।

बढ़ती जा रही तादाद, अधिकारी हैरान

शहर में सांड़ों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है जिससे नगर निगम के अधिकारी भी हैरान हैं। सांड़ कहा से आ रहे हैं इसकी जानकारी किसी को नहीं हो पा रही है। महेवा वार्ड में कान्हा उपवन बनने के बाद शहर के सांड़ों और बेसहारा अन्य पशुओं को पकड़कर वहीं रखा जाता है। नगर निगम ने अभियान तेज कर पशुओं को पकड़ना शुरू किया लेकिन एक तरफ अभियान चलता है और दूसरी तरफ पशुओं की संख्या बढ़ती जाती है। वहीं कान्हा उपवन हाउसफुल होने और मधवलिया में पशुओं को न भेजने के कारण प्रशासन ने गोला के गाजेगड़हा में पशुओं को भेजने का निर्णय लिया। कान्हा उपवन से अब तक 95 पशु गाजेगड़हा भेजे जा चुके हैं।

बीते दो साल में पांच की मौत

बीते दो साल में सांड़ के हमले में पांच लोगों की जान जा चुकी है, जबकि घायलों की संख्या सैकड़ों में है। इस तरह की घटनाएं लगातार होने के बावजूद नगर निगम सबक नहीं ले रहा है।

निगम का दावा, रोज पकड़े जाते हैं पशु

नगर निगम प्रशासन का दावा है कि बेसहारा पशुओं को पकड़ने के लिए डेली अभियान चलाया जाता है। औसतन 30 से 40 पशुओं को रोज पकड़ा जाता है। पशु मालिकों से जुर्माना भी वसूल किया जाता है लेकिन सड़कों पर घूम रहे बेहिसाब पशु निगम के दावों की हकीकत बयां कर रहे हैं।

अभी ठप है अभियान

वहीं, कान्हा उपवन में पशुओं को रखने की जगह न बचने के कारण नगर निगम प्रशासन कुछ दिनों से बेसहारा पशुओं को पकड़ने का अभियान नहीं चला रहा है। गोला के गाजेगड़हा में 200 पशुओं को भेजने के बाद अभियान चलाए जाने की संभावना है।

फैक्ट फिगर

महराजगंज के मधवलिया गो सदन में भेजे गए थे पशु - 2800

कान्हा उपवन से गोला के गाजेगड़हा भेजे गए पशु - 95

कान्हा उपवन में वर्तमान में पशुओं की संख्या लगभग - 800

एक बड़े पशु को पकड़ने में खर्च होती है रकम - 400 रुपए

एक छोटे पशु को पकड़ने मे खर्च होती है रकम - 200 रुपए

वर्जन

नगर निगम लगातार पशुओं को पकड़ रहा है। इसके बाद भी पशुओं की संख्या तेजी से बढ़ रही है। पशु कहां से आ रहे हैं पता नहीं चल पा रहा है। दोबारा अभियान चलाकर इन पशुओं को पकड़ा जाएगा। साथ ही डेयरियों को चिन्हित करने का काम किया जाएगा।

अंजनी कुमार सिंह, नगर आयुक्त