* सबसे पहले तो यह है जान लें कि G-20 का मतलब GROUP-20 है।

* इसमें दुनिया के 19 शक्तिशाली देश और यूरोपियन देशों का समूह शामिल हैं।

* यह समूह दुनिया की करीब 85 प्रतिशत अर्थव्यवस्था को और 75 वैश्विक व्यापार को पूरी तरह से नियंत्रित करता है।

* इसका प्रतिनिधित्व यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष और यूरोपीय केंद्रीय बैंक द्वारा किया जाता है

क्‍या और कैसे काम करता है,जानें g20 की 20 बातें

* जी-20 स्म्मेलन पहली बार दिसंबर 1999 में बर्लिन में आयोजित हुआ था।

* इसकी स्थापना के पीछे मुख्य लक्ष्य आर्थिक एवं वित्तीय नीतिगत मुद्दों पर अधिक विस्तृत चर्चा किया जाना था।

* इसके अलावा सभी देशों को एक दूसरे के सहयोग और सलाह का मौका दिया जाना था।

* इस पहले सम्मेलन में वित्तमंत्रियों तथा केंद्रीय बैंकों के गवर्नरों ने बैठक की थी, लेकिन वक्त के साथ यह काफी बदल गया।

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* 2008 में वित्तीय संकट के बाद इस वैश्विक फोरम का नेतृत्व वित्त मंत्रियों से लेकर समूह देशों के शीर्ष नेताओं को सौंप दिया गया।

* जी-20 शिखर सम्मेलन में सभी देशों के शीर्ष नेता जैसे प्रधानमंत्री या राष्ट्रपति ही शिरकत करते हैं। मेहमान देशों को भी आमंत्रित किया जाता है।

* इस समूह में अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, ब्राज़ील, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, भारत, इंडोनेशिया, इटली, जापान, मेक्सिको, रूस, सऊदी अरब, दक्षिण कोरिया, टर्की, यूनाइटेड किंगडम, अमेरिका, चीन, दक्षिण अफ्रीका जैसे देश शामिल हैं।

* जी-20 में सबसे पहले कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन और संयुक्त राज्य अमेरिका सबसे पहले शामिल हुए थ्ो।

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* वहीं अमेरिका, कनाडा, ब्रिटेन, फ्रांस, ऑस्ट्रेलिया, जर्मनी, चीन, भारत, रूस जैसे देश हर साल G-20 सम्म्ोलन में काफी अच्छे से एक दूसरे से मिलते हैं। इतना ही नहीं ये देश दुनिया के आर्थिक हालातो पर गहराई से चर्चा भी करते हैं।

* वर्तमान समय में जी-20 मेजबान देश अपने पूर्ववर्ती तथा उत्तरवर्ती जी-20 मेजबान देशों (3 सदस्यीय जी-20 नेतृत्व समूह) के साथ काम करता है।

* हर वार्षिक शिखर सम्मेलन की तैयारी करने वाले वरिष्ठ अधिकारियों को 'शेरपा' कहा जाता है।

* इसके अलावा जी-20 के संचालन में गैरसरकारी समूह भी काफी सहयोग करते हैं। नेताओं के विमर्श में योगदान देने के लिए संबद्धता समूह भी अहम भूमिका निभा रहे हैं।

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* इन संबद्धता समूह में व्यापार समुदाय के लिए मजदूर संगठनों के लिए लेबर 20 (एल-20), विचार मंचों एवं शिक्षाविदों के लिए थिंक-20 (टी-20) हैं।

* इसके अलावा बिजनेस-20 (बी-20), नागरिक समाज के लिए सिविल 20 (सी-20), और युवाओं के लिए यूथ-20 (वाई-20) आदि शामिल हैं।

* जी-20 की तरह ही एक और मंच जी-8 भी है लेकिन इनमें काफी अंतर है। इसका न तो कोई मुख्यालय है और न ही कोई बजट है। 1970 के दशक में तेल संकट और आर्थिक मंदी के दौर में लंबे-चौड़े तामझाम से बचने और खुलकर बात करने के लिए यह मंच बनाया गया।

* 1975 में जी-6 नाम से फ्रांस में इसकी स्थापना हुई। उस समय  फ़्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन और अमरेका शामिल हुए थे। इसके बाद इसमें कनाडा रूस शामिल हुए तो यह जी-8 बन गया।

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