- परिजनों ने मेडिकल पुलिस पर लगाया आरोपियों से सांठ-गांठ का आरोप

-थाने में पुलिस के साथ जमकर हुई कहासुनी, हुआ हंगामा

Meerut। मेडिकल थाना क्षेत्र से चार दिन पूर्व अगवा किए गए बैंक मैनेजर के परिजनों के सब्र का बांध मंगलवार को आखिरकार टूट गया। थाना पुलिस पर आरोपियों से साठगांठ का आरोप लगाते हुए दर्जनों परिजनों और क्षेत्रवासियों ने मेडिकल थाने का घेराव करते हुए जमकर हंगामा किया। घंटों चले हंगामे के बाद आखिरकार पुलिस ने आरोपियों की गिरफ्तारी का आश्वासन दिया, जिसके बाद परिजन शांत हुए।

तीन लोग नामजद

दरअसल, खरखौदा के काजीपुर निवासी प्रताप सिंह कचहरी पुल स्थित कॉपरेटिव बैंक में मैनेजर हैं। परिजनों के अनुसार उन्होंने मेडिकल थाना क्षेत्र के गढ़ रोड पर फैक्ट्री चलाने वाले राजकुमार को नौ लाख की रकम उधार दी थी। इसी रकम के तकादे के लिए प्रताप सिंह शनिवार को राजकुमार की फैक्ट्री पर गए थे। इसके बाद से उनका कोई सुराग नहीं मिला। इस मामले में प्रताप सिंह के परिजनों ने राजकुमार, नरेश त्यागी और दो अन्य व्यक्तियों पर प्रताप को अगवा किए जाने का आरोप लगाते हुए मेडिकल थाने में तहरीर दी थी।

महमानवाजी में जुटी पुलिस

आरोप है कि पुलिस ने पूछताछ के लिए राजकुमार और नरेश को हिरासत में लिया, लेकिन चार दिन से पुलिस थाने में उनकी मेहमान नवाजी में जुटी है। इस मामले में पुलिस पर आरोपियों से सेटिंग का आरोप लगाते हुए आज प्रताप सिंह के परिजनों और काजीपुर के दर्जनों निवासियों ने मेडिकल थाना घेर लिया। उन्होंने थाने पर जमकर हंगामा किया।

पुलिस पर पैसे लेने का आरोप

परिजनों ने आरोप लगाया कि पुलिस ने आरोपी नरेश और राजकुमार से मोटी रकम वसूल ली है और अब उन्हें क्लीन चिट देने की तैयारी में जुटी है। हंगामा कर रहे परिजनों के साथ मौजूद महिलाएं थाने पर बिलख-बिलख कर रोई। इस दौरान थाने में मौजूद पुलिसकर्मियों ने भीड़ को थाने में भीतर जाने से रोकने का प्रयास किया।

आलाधिकारी पहुंचे मौके पर

भीड़ को पुलिस पर हावी होता देख मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों के हाथ-पांव फूल गए। वायरलेस सैट पर सूचना फ्लैश होते ही महिला थाना, सिविल लाइन पुलिस और सीओ सिविल लाइन मौके पर पहुंच गए। सीओ ने हंगामे पर उतारू लोगों को आश्वासन दिया कि प्रताप को शीघ्र बरामद कर लिया जाएगा। काफी देर चले हंगामे के बाद आखिरकार किसी प्रकार लोगों को शांत किया गया।

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