- 15 अवैध कब्जों में थे 2 पक्के निर्माण

- शराब की दुकान वाले ने भी कब्जा की थी जमीन

बरेली

बीडीए ने सैटरडे को मिनी बाईपास स्थित मठ लक्ष्मीपुर में अवैध निर्मार्णो पर बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया. बीडीए की टीम ने यहां 15 अवैध निर्माण को ध्वस्त कर दिया. इसे लेकर लोगों ने जमकर विरोध भी किया, लेकिन पुलिस की मौजूदगी के चलते उनकी एक न चली और टीम अवैध निर्माण को ध्वस्त करके ही वापस लौटी. टीम ने जो निर्माण ढहाए उनमें दो पक्के निर्माण, एक शराब की दुकान का पक्का निर्माण, 6 भूसे वालों की बोगियां और 7 अन्य निर्माण थे.

कोर्ट में लंबित था केस

बीडीए के चीफ टाउन प्लानर आशीष ने बताया कि बीडीए ने वर्ष 2002 में 16 हजार स्क्वायर मीटर में जमीन को अपने कब्जे में लिया था. वर्ष 2003 में इस जमीन पर कॉमर्शियल प्लाटिंग की गई. करीब 13 लोगों ने प्लाट लिया था, लेकिन तब तक वहां रहने वाले लोगों ने सीलिंग कोर्ट में केस दायर कर दिया. जिसकी वजह से वहां पर कोई निर्माण नहीं हो सका. जब तक कोर्ट का फैसला आता तब लोगों ने वहां पक्के निर्माण भी कर लिए. कोर्ट ने बीडीए के पक्ष में फैसला सुनाया. जिसके बाद उन लोगों ने एडीजी कोर्ट में याचिका डाल दी.

बीडीए के पक्ष में आया फैसला

टाउन प्लानर ने बताया कि जब इस बारे में बीडीए वीसी दिव्या मित्तल से बात की गई तो उन्होने साफ तौर पर कह दिया कि सीलिंग कोर्ट का फैसला हमारे फेवर में आया है इसलिए हमें निर्माण को ध्वस्त कर अपना कब्जा वापस लेना चाहिए. जिसके बाद बीडीए की ओर से 13 मार्च को एसएसपी को एक लेटर लिखाकर पुलिस फोर्स की डिमांड की गई. सैटरडे को पुलिस फोर्स के साथ बीडीए की टीम ने मौके पर जाकर अवैध निर्माण ढहाकर अपनी जमीन पर कब्जा ले लिया. कार्रवाई के दौरान एक आश्रयहीन योजना के लाभार्थी मुकेश तिवारी को भूखण्ड संख्या-77 का कब्जा भी दिया गया.

50 प्लाट का और होगा ऑक्शन

चीफ टाउन प्लानर ने बताया कि 200 वर्ग मीटर के अवैध निर्माण तोड़ने के बाद अब 50 प्लाट का और ऑक्शन किया जाएगा. इस ऑक्शन के लिए बीडीए ने 18 अप्रैल की डेट तय की है. जमीन कब्जा मुक्त कराने के बाद उन 13 लोगों को प्लॉट दे दिए गए है, जिन्होंने प्लॉट खरीदे थे. आज की र्कारवाई में प्राधिकरण की टीम सचिव, अम्बरीश कुमार श्रीवास्तव, अधीक्षण अभियन्ता, सभी अधिशासी अभियन्ता, अवर अभियन्ता, एसीएम फ‌र्स्ट मदन कुमार आदि लोग मौजूद रहे.