BAREILLY: घटना के कुछ देर बाद थाने में तैनात एक होमगार्ड मार्केट से सामान लेने के लिए गुजरा तो उसने फौजी को तड़पता देखकर तुरंत एसओ को सूचना दी। एसओ मौके पर पहुंचे और फौजी को मिलिट्री हॉस्पिटल में एडमिट कराया गया, लेकिन जान नहीं बचाई जा सकी। यदि समय रहते सूचना मिलती तो शायद जन बच जाती। दोस्त की पत्‌नी से छेड़छाड़ का विरोध करने पर फौजी को गोली मारी गई। गोली मारने के आरोपी ने खुद ही थाने पहुंचकर सरेंडर कर दिया।

 

जाट रेजीमेंट में थे तैनात

अनिल कुमार, मूलरूप से लाथ, सोनीपत हरियाणा के रहने वाले थे। उनकी पत्‌नी सोनी, दो बच्चे अजय और विनय आजाद मोहल्ला सदर में किराये पर रहते हैं। अजय 6 और विनय 3 क्लास में पढ़ता है। अनिल जाट रेजीमेंट के एडमिट ऑफिस में पोस्टेड हैं। पहले अनिल सदर एरिया में दूसरी जगह किराये पर रहते थे। उनके साथ में बिरिया धाम खटीमा, उत्तराखंड निवासी फौजी भी रहते थे, लेकिन बाद में दोनों ने अलग-अलग कमरा ले लिया। दोनों अच्छे दोस्त भी हैं। दोस्त कुमायुं रेजीमेंट से भर्ती है और उनकी मौजूदा समय में बोमडिला अरुणाचल प्रदेश में पोस्टिंग है। दोनों के परिवार एक दूसरे के काफी करीबी हैं।

दोस्त की पत्‌नी से छेड़छाड़

अनिल के दोस्त के मुताबिक उनकी पत्‌नी को हाथी पार्क सदर निवासी राजेश चौधरी को परेशान करता था। 11 मार्च को राजेश ने बच्चों को ट्यूशन से छोड़कर लौटते वक्त पत्‌नी पर अश्लील कमेंट पास किया था और हाथ पकड़कर रोका था। उनकी पत्‌नी ने फोन पर सूचना दी थी तो उन्होंने अनिल को इस बारे में बताया था। अनिल ने राजेश की थप्पड़ मारकर पिटाई कर दी थी और उसे हिदायत दी थी। उसके बाद राजेश उनके घर पहुंचा था और उसने माफी मांग ली थी। हालांकि, बाद में राजेश का भाई धु्रव चौधरी उन्हें धमकाने पहुंचा था, लेकिन माफी मांगने पर पुलिस से शिकायत नहीं की थी।

 

 

छेड़छाड़ के आरोपी के भाई ने मारी गोली

21 मार्च को दोपहर ड्यूटी समाप्त करने के बाद अनिल उनके घर कुछ कागज देने पहुंचे थे। उसके बाद अपने घर के लिए साइकिल से लौट रहे थे। जैसे ही वह शंकर चौराहा पर पहुंचे कि तभी ध्रुव चौधरी ने अनिल की पीठ में गोली मार दी। गोली लगते ही अनिल नीचे सड़क पर गिर गए तो उसने दूसरी गोली चलाई जो मुंह से टच करते हुए निकल गई। उसके बाद पुलिस ने उन्हें हॉस्पिटल पहुंचाया लेकिन उनकी इलाज के दौरान मौत हो गई। इस मामले में मेजर दंडपाल के आदेश पर सूबेदार राजेश कुमार ने अज्ञात के खिलाफ गोली मारकर हत्या की एफआईआर दर्ज कराई है। पुलिस ने अनिल के दोस्त और पत्‌नी के बयान के आधार पर धु्रव चौधरी और राजेश का नाम केस में शामिल कर आरोपी बनाया है।

 

फौजी को सदर एरिया में गोली मारी गई, जिसमें फौजी की मौत हो गई। गोली दोस्त की पत्‌नी से छेड़छाड़ का विरोध करने पर मारी गई। आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है।

रोहित सिंह सजवाण, एसपी सिटी

 

बदमाश का डर या फिर पुलिस से बचने के लिए नहीं दी सूचन, सबको अपनी दुकान की थी चिंता, फौजी की नहीं

फौजी की गोली मारकर हत्या के बाद सबसे बड़ा सवाल खड़ा हो रहा है कि किसी एक ने भी पुलिस को सूचना क्यों नहीं दी। जिस जगह वारदात हुई है, वहां पर कई स्वीट शॉप, मेडिकल शॉप, फल शॉप और अन्य दुकाने हैं। इस जगह पर ऑटो भी खड़े होते हैं और हर समय भीड़ रहती है। जब वारदात हुई तो सब दुकान बंद करके भाग गए। कई घंटे बाद कुछ लोग बोले कि गोली मारने वाले ने तमंचा तानकर धमकाया था कि यदि पुलिस को बताया तो जान से मार देंगे, लेकिन फिर भी लोग चुपचाप घर के अंदर से तो सूचना दे ही सकते थे। यदि कोई दौड़कर थाने जाता तो एक से दो मिनट में पहुंच जाता, लेकिन ऐसा नहीं किया। ऐसे में साफ है कि लोगों ने पुलिस से बचने के लिए सूचना नहीं दी। जबकि सूचना देने वाले से पुलिस कभी पूछताछ नहीं करती है। ऐसे में लोग किसी अपने के साथ हादसा और वारदात होने पर सूचना की उम्मीद क्यों करते हैं।


अपना काम देखें या सड़क

सरेआम गोली मारने की इस तरह से दहशत फैली कि शंकर चौराहा के अलावा पूरे सदर एरिया की दुकानें डर के चलते बंद हो गई। जिस जगह अनिल किराये पर रहते थे वहां लोगों की भीड़ तो इकट्ठा हुई लेकिन वह लोग भी डरे हुए थे। सभी में दहशत साफ नजर आ रही थी। कुछ लोग पुलिस के पहुंचने पर घरों से निकले लेकिन सभी कहते रहे कि उन्हें नहीं पता क्या हुआ है। जिस शंकर स्वीट शॉप की दुकान के सामने वारदात हुई, वह और उसके सामने मेडिकल स्टोर शॉप शाम के वक्त ओपन हो गईं। जब दुकान पर बैठे लोगों से पूछा गया तो साफ कह दिया कि वह नहीं थे, उनके परिवार के लोग बैठे थे। जब सवाल किया कि पुलिस को जानकारी क्यों नहीं दी तो जवाब दिया कि वह अपना काम देखें कि सड़क पर क्या हो रहा यह देखें।

 

 

कोशिश की लेकिन नहीं बच सकी जान

फौजी को गोली मारने की सूचना एसओ विजयपाल को होमगार्ड ने दी। होमगार्ड एसओ के कहने पर शंकर चौराहा से कुछ सामान लेने गया था। जब वह चौराहे पर पहुंचा तो देखा कि फौजी सड़क पर पड़ा तड़प रहा है। वह तुरंत थाने पहुंचा और एसओ को बताया। एसओ ने तुरंत सरकारी गाड़ी निकाली और मौके के लिए निकले तो रास्ते में धु्रव चौधरी आ गया और गोली मारने की बात कही। एसओ ने उसे सिपाहियों के जरिए पकड़वाया और तुरंत चौराहा पर पहुंचे। फौजी को गाड़ी में लेकर मिलिट्री हॉस्पिटल पहुंचे। यहां डॉक्टर ने इलाज शुरू किया तो फौजी की हालत में कुछ सुधार हुआ, तो पुलिस को लगा कि फौजी की जान बच जाएगी। फौजी ने अपने साथ हुई वारदात के बारे में भी बताया लेकिन कुछ देर बाद उसकी मौत हो गई।


 

जाट रेजीमेंट सेंटर में रहेगा परिवार

फौजी की मौत के बाद से परिवार का रो-रोकर बुरा हाल हो रखा है। सूचना पर पत्‌नी हॉस्पिटल पहुंची थीं। सेना के अधिकारी अब पत्‌नी और बच्चे को जाट रेजीमेंट सेंटर के हॉस्टल में लेकर गए हैं। यहां तक कि अनिल के दोस्त व उनकी फैमिली को भी जाट रेजीमेंट सेंटर लेकर गए हैं, क्योंकि सेना को डर है कि उनके साथ भी कोई वारदात हो सकती है। सेना के अधिकारियों ने इनवेस्टीगेशन तक सेंटर के हॉस्टल में ही परिजनों के रहने के लिए कहा है। कैंट एरिया में लगातार वारदातें हो रही हैं, जिसकी वजह से भी लोग डरने लगे हैं। कुछ दिनों पहले ही इसी एरिया ऑटो में छात्रा के साथ छेड़छाड़ और अपहरण की वारदात हुई थी।

 

मैं गुंडा बनना चाहता हूं, मैंने मारी गोल, गोली मारने के बाद पुलिस थाने पहुंचा आरोपी

फौजी को मारने वाले धु्रव चौधरी की गुंडई तो देखिए, वह गोली मारने के बाद मौके से आसानी से भाग गया। यही नहीं उसके बाद तमंचा फेंकने के बाद वह खुद ही चिल्लाते हुए थाने पहुंच गया। घायल फौजी के पास जा रहे एसओ की गाड़ी के सामने आ गया और चिल्लाते हुए कहने लगा कि मैनें मारी है फौजी को गोली। मैं गुंडा बनना चाहता हूं। ताकि इलाके में मेरी दहशत रहे। कुछ देर थाने में रखने के बाद पुलिस उसे कोतवाली थाना ले गई। पुलिस की गिरफ्त में होने के बावजूद भी उसकी गुंडई साफ दिख रही थी। वह सीना तानकर चल रहा था। कोतवाली में पहुंचने के बाद भी उसकी गुंडई कम नहीं हुई थी। वारदात के बाद मोहल्ले के लोगों ने भी दबी जुबान में बताया कि धु्रव खुलेआम तमंचा लेकर घूमता रहता था। उससे सभी डरते थे। वह प्राइवेट फैक्ट्री में काम करता था लेकिन कुछ दिनों पहले ही वापस आया था। उसकी गुंडई से उसके घरवाले भी परेशान हैं।


साथी के साथ बाइक पर बैठकर भागा

शंकर चौराहा पर धु्रव चौधरी ने गोलियां मारीं लेकिन वह अकेला नहीं था, उसके साथ में भी कोई था। गोली मारने के बाद वह बाइक से उसी के साथ ठिरिया निजावत खां की ओर जाने वाली रोड की तरफ भागा। उसके बाद उसने नकटिया नदी के पास तमंचा फेंक दिया। उसके बाद वह वहां से वापस आया और उसके बाद थाने में जाकर सरेंडर कर दिया। हालांकि पुलिस ने वारदात में उसके भाई राजेश चौधरी का नाम शामिल कर लिया है, क्योंकि राजेश चौधरी की वजह से ही वारदात को अंजाम दिया गया है। पुलिस अब आसपास की दुकानों या घरों में देखेगी कि कहीं कोई सीसीटीवी कैमरा तो नहीं लगा है। जिससे पता चल जाएगा कि धु्रव किसके साथ आया था।

 

6 महीने से कर रहा था छेड़छाड़, समझाया, माफी मांगी लेकिन फिर भी मार दी गोली

फौजी के फौजी दोस्त की पत्‌नी को धु्रव चौधरी का कथित पत्रकार भाई राजेश चौधरी 6 महीने से परेशान करता था। 11 मार्च को जब फौजी की पत्‌नी ट्यूशन से बच्चों को छोड़कर आ रही थी तो उसने अश्लील कमेंट पास किया था। जीभ निकालकर अश्लील हरकत की थी और हाथ पकड़ लिया था। फौजी की पत्‌नी ने पहले बदनामी के चलते कुछ नहीं बताया था लेकिन जब राजेश ने हद कर दी तो उन्होंने अपने पति को फोन पर सूचना दी। पति ने तुरंत अपने दोस्त को अनिल को बताया। अनिल ने गुस्से में राजेश की पिटाई कर दी। उसके बाद राजेश उसके घर पहुंचा और उसने माफी मांग ली। 14 मार्च को अनिल के दोस्त भी छुट्टी लेकर घर वापस आ गए।

 

20 मार्च को धमकाने पहुंचा था घर

अनिल के दोस्त ने बताया कि उन्होंने भी घर आने पर राजेश को समझाने के लिए अपने घर बुलाया। राजेश ने माफी भी मांग ली तो उन्हें लगा कि अब मामला निपट गया है। उसके बाद अचानक राजेश का भाई धु्रव आया और उसने धमकाने की कोशिश की। सभी लोगों के पहुंचने पर उसने माफी मांग ली। 20 मार्च को दोपहर पौने 3 बजे धु्रव उनके घर पहुंचा और विक्की के बारे में पूछा। उसने उनकी पत्‌नी के बारे में गलत बात की तो उन्होंने उसे घर के अंदर बुला लिया। उन्होंने अनिल को भी अपने घर बुला लिया। जब उसे उसके भाई राजेश की हरकतों के बारे में बताया गया तो उसने माफी मांगी और रोने लगा। रोते वक्त उसकी सीने में दर्द हुआ तो घरवालों ने उसका सीना सहलाकर पानी भी पिलाया। वह बाथरूम में फ्रेश होने गया और माफी मांग ली लेकिन उसने एक दिन बाद ही अचानक अनिल पर हमला बोल दिया और अनिल की जान चली गई।

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