इंदौर-पटना एक्सप्रेस हादसे में इन यात्रियों को मिलेगा बीमा का ला

इंदौर-पटना एक्सप्रेस में सफर करने वाले यात्रियों में कुल 410 लोगों ने ऑनलाइन टिकट बुक किया था। जिनमे 695 लोगों के नाम थे। इन यात्रियों में से सिर्फ 209 यात्रियों ने IRCTC द्वारा दिये जाने वाले 1 रुपये की बीमा योजना का चुनाव किया था। जिनमे 78 टिकटों पर सफर करने वाले 128 यात्रियों को ही इस बीमा योजना का लाभ मिल सकेगा। दुर्घटना में मरने वाले लोगों के परिजनों को 10 लाख रुपये मिलेंगे और घायलों को ग्रेडेड भुगतान किया जाएगा।

रेल दुर्घटना के शिकार ज्‍यादातर यात्रियों ने नहीं लिया था बीमा,ऐसे करा सकते हैं बीमा

बीमा की रकम मिलने के ये होंगे मापदंड

अगर किसी हादसे में यात्री की मौत हो जाती है या वह स्थायी विकलांग हो जाता है तो उसे बीमा राशि का 100 प्रतिशत यानी पूरे दस लाख रुपये दिए जायेंगे। स्थायी आंशिक विकलांगता पर बीमा कंपनी घायल को 7 लाख 50 हजार रुपये देगी। रेल दुर्घटना में मारे गए यात्री का शव उसके घर तक पहुंचाने के लिए बीमा कंपनी दस हजार रुपये देगी। ट्रेन में आतंकी हमला होने और किसी यात्री के दुर्घटनावश गिरने पर भी बीमा का लाभ मिलेगा। इस नई बीमा योजना में सामान्य दुर्घटना जैसे दंगे, लूट, डकैती भी इसी के दायरे में आएंगे।

ये यात्री शामिल होंगे बीमा कवर में

बीमा कवर सभी वर्गो के लिए एक समान ही होगा। इसके लिए विकल्प ई टिकट बुकिंग के समय चेकबॉक्स के माध्यम से उपलब्ध होगा। अगर यात्री बीमा को चुनता है तो टिकट की राशि मे प्रीमियम को जोड़ दिया जाता है। बीमा पॉलिसी की ई प्रति की रसीद प्राप्त करने के लिए यात्रियों को अपनी ईमेल आईडी भी देनी होगी।

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इन यात्रियों को नही मिल सकेगा बीमा का लाभ

भारतीय रेल ने यी बीमा सुविधा सिर्फ भारतीय यात्रियों के लिए ही तय की है। अगर रेल हादसे के दौरान किसी दूसरे देश के यात्री की मौत होती है तो वह उस बीमा सुविधा का लाभ नही ले पाएगा। बीमा योजना में पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए वैकल्पिक बीमा की सुविधा दी गई है। 5 वर्ष से कम आयु के बच्चों के बीमा कवरेज के लिए यात्री को ईटिकट बुक करने के दौरान ही बच्चे का पूर्ण ब्योरा देना होगा।

कैसे करें बीमा पाने के लिए आवेदन

यात्री के द्वारा बीमा का चुनाव करने के बाद आत्री और बीमा कंपनी के बीच दावा या दायित्व का मामला होता है। हादसे में मौत के मामले में कंपनी के द्वारा बीमा राशि का 100 प्रतिशत पेमेंट करेगी। दावों की सूचना तत्काल देनी होगी। हादसे के 4 माह बाद सूचना देने पर कोई कार्रवाई नही होगी। बीमा कंपनी के द्वारा दावे की प्रक्रिया दस्तावेज प्राप्त होने के 15 दिनो के अंदर ग्राहक या कानूनी वारिस को चेक भेजना अनिवार्य है। किसी भी दावे को खारिज करने से पहले आईआरसीटीसी के नोडल अधिकारी के साथ मामले पर विचार विमर्श करना बीमा कंपनी के लिए अनिवार्य है।

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