-देश की तीसरी कार्पोरेट ट्रेन के सफल संचालन के बाद अब नये रूट की बारी

-सीएम की पहल पर आइआरसीटीसी आगरा रूट पर प्राइवेट ट्रेन चलाने का बना रहा है प्लान

VARANASI

बनारस से इंदौर रूट पर तीसरी कार्पोरेट ट्रेन के संचालन से उत्साहित आइआरसीटीसी अब नये रूट पर ऐसी ही ट्रेन चलाने का प्लान बना रहा है। जिसमें कई रूट पर फोकस किया जा रहा है। बनारस से धार्मिक रूट पर ट्रेन चलाने के बाद अब आगरा तक तेजस को चलाने की तैयारी है। अक्टूबर 2019 में सीएम योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में तेजस को हरी झंडी दिखाते समय बनारस से आगरा तक तेजस चलाने का आइआरसीटीसी के ऑफिसर्स को प्रस्ताव दिया था। जिसे असफसरों ने गंभीरता से लिया है। कारण कि इस रूट पर एक तो सीधी ट्रेन नहीं है तो दूसरी ओर इस रूट पर टूरिस्ट्स की संख्या भी बहुत अधिक है।

150 की स्पीड ने भी दिया बल

कई ऐसे रूट हैं जिनपर अभी भी हाई स्पीड ट्रेन को दौड़ाना मुश्किल है। उनमें से ही एक है बनारस-इंदौर रूट। जिस पर सिर्फ कानपुर तक ही 110 से 130 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से ही ट्रेन चलाया जा सकता है। उसके आगे इस स्पीड को मेंटेन रखना मुश्किल है। जबकि बनारस से आगरा रूट पर यह दिक्कत नहीं है। इस रूट पर ट्रेन को 130 किमी प्रतिघंटा की स्पीड तक दौड़ाया जा सकता है। इसको देखते हुए आइआरसीटीसी इस रूट पर तेजस के संचालन पर गंभीरता से विचार कर रहा है। इसे लेकर विभाग के ऑफिसर्स की मीटिंग भी हो चुकी है। कैंट रेलवे स्टेशन से आगरा होकर जयपुर तक एक ट्रेन चलती है। यह ट्रेन अलग-अलग रूट से डेली चलायी जाती है। जिसके दो कोच के बराबर यानी 100 से 150 पैसेंजर्स आगरा जाते और यहां आते हैं। इसमें टूरिस्ट्स की संख्या आधे से अधिक होती है। एक्सप‌र्ट्स के मुताबिक इस संख्या में सीधी ट्रेन चलने से और ज्यादा पैसेंजर्स मिल जाएंगे।

होटल जैसी है फैसिलिटी

पैसेंजर्स को बेहतर यात्रा की सुविधा देने के लिए पिछले साल नई दिल्ली से लखनऊ के बीच तेजस ट्रेन चलायी गयी। इस ट्रेन में यात्रियों को सितारा होटल की तरह सुविधा मिलती है। कई ऐसी फैसिलिटीज हैं जो अन्य ट्रेंस में नहीं मिलती। हालांकि सामान्य ट्रेन से इसका किराया अधिक है। लेकिन इस रूट पर देशी विदेशी टूरिस्ट की संख्या को देखते हुए आइआरसीटीसी के अधिकारी बहुत उत्साहित हैं।

आम पैसेंजर्स को भी होगा फायदा

बनारस-आगरा रूट पर ट्रेन चलने से विदेशी पर्यटकों के साथ आम पैसेंजर्स को भी फायदा होगा। आइआरसीटीसी सोर्सेस के मुताबिक जल्द ही ट्रेन के संचालन के लिए निजी कंपनी तलाश ली जाएगी। अगर कोई कंपनी नहीं मिली तो आइआरसीटीसी ही इसका संचालन करेगी। ट्रेन की नीलामी के बाद ही इसका किराया और समय तय किया जाएगा।

तेजस एक्सप्रेस की सुविधाएं

-इस ट्रेन में तत्काल या प्रीमियम तत्काल कोटा नहीं है। इस ट्रेन में जनरल और फॉरेन टूरिस्ट कोटा है।

-ट्रेन में किसी तरह का रियायती टिकट नहीं है। पांच साल तक के बच्चे को टिकट से छूट है।

-ट्रेन एक घंटा से अधिक लेट होने पर आइआरसीटीसी 100 रुपये का मुआवजा देगी। वहीं अगर ट्रेन दो घंटे से अधिक लेट हो जाती है तो यात्री 250 रुपये के मुआवजे के लिए क्लेम कर सकता है।

- यात्रियों को यात्रा के दौरान खाना मिलेगा।

- ट्रेन के रवाना होने से चार घंटा पहले तक वेटिंग टिकट कैंसिल करने पर 25 रुपये काटा जाएगा। ऐसे मामलों में भारतीय रेलवे 65 रुपये का चार्ज लेता है।

- ट्रेन का चार्ट बनने पर अगर वेटिंग टिकट कंफर्म नहीं होता है तो ऐसे केस में बिना किसी कटौती के पूरा पैसा वापस कर दिया जाएगा।

- तेजस की हर सीट के पीछे एलसीडी स्क्रीन लगी है।

- विमान की तर्ज पर इस ट्रेन में अटेंडेंट को बुलाने के लिए कॉल बेल है।

- यह पहली ऐसी ट्रेन है जिसके दरवाजे मेट्रो की तरह स्लाइडिंग हैं और उसका कंट्रोल गार्ड के हाथ में है।

-ट्रेन के टायलेट में टचलेस नल लगे हैं और बायो वैक्यूम सिस्टम भी है।

- न तो ट्रेन चलने के बाद इसमें कोई पैसेंजर चढ़ पाता है और न ही रुकने से पहले कोई पैसेंजर इससे उतर पाता है।

- तेजस में वाईफाई की भी सुविधा है। ट्रेन में सीसी कैमरों के अलावा पैसेंजर इन्फार्मेशन सिस्टम लगा है।

- तेजस एक्सप्रेस में एलईडी लाइटिंग के अलावा डेस्टिनेशन बोर्ड भी डिजिटल लगाए गए हैं।