- पटना एसटीएफ की मदद से भागलपुर पुलिस ने जमुई से दो को गिरफ्तार कर किया बड़ा खुलासा

PATNA : पटना एटीएस की मदद से भागलपुर पुलिस ने पाकिस्तान से जुड़े साइबर अपराधियों के गिरोह का बड़ा खुलासा किया है। कई दिनों से लगी पुलिस की संयुक्त टीम ने मंगलवार को दो अपराधियों को गिरफ्तार किया है। दोनों के पास से आइएसआइ से जुड़े साइबर ठगों के ब्0 मोबाइल व लैंडलाइन नंबर और एकाउंट बरामद किया गया है। इतना ही नहीं उनके पास से 90 हजार नगद और क्ब् एटीएम कार्ड के साथ कई ऐसे दस्तावेज मिले हैं जिसकी जांच में बड़ा खुलासा हो सकता है।

- इनका है आईएसआई से कनेक्शन

पुलिस ने जिन साइबर अपराधियों को गिरफ्तार किया है उसमें जमुई के झाझा बूढ़ी खार निवासी बलवंत कुमार और बलबीर कुमार शामिल हैं। आइएसआइ कनेक्शन वाले साइबर ठगों और उनके भारतीय कनेक्शन का खुलासा एसएसपी मनोज कुमार ने भी किया है। एसपी का कहना है कि दोनों का तार पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी से है जो देश के विभिन्न क्षेत्रों में अपने गुर्गो से राष्ट्र विरोधी गतिविधियां संचालित कर रहा है।

- पूर्व में भी दबोचे गए हैं साइबर ठग

इससे पूर्व पटना एटीएस के राज किशोर सिंह और चितरंजन मिश्रा की मदद से इसी वर्ष ख्फ् जनवरी को मोजाहिदपुर इलाके से ही छह साइबर ठगों को पकड़ा गया था। मंगलवार को एटीएस पटना और भागलपुर पुलिस टीम की संयुक्त कार्रवाई में मोजाहिदपुर थाना क्षेत्र के काजीचक स्थित एक्सिस बैंक की शाखा के पास से बलवंत कुमार और बलबीर कुमार को दोपहर में दबोच लिया गया। दोनों बाइक से खाते में 90 हजार रुपया जमा करने आए थे।

- पाकिस्तान से तैयार होता था प्लान

पाकिस्तान में बैठे साइबर के बड़े अपराधियों और आईएसआई के गुर्गे भारत में ठगी के लिए प्लान तैयार करते थे। वह वहां से प्लान तैयार कर लोगों को फोन कर लाटरी का झांसा देते थे। बिहार में बैठे उनके एजेंट भारतीय नंबरों की व्यवस्था करते थे। भारतीय नागरिकों को फोन कर लकी नंबर, लॉटरी, इनामी योजना का झांसा देने के बाद उन्हें जाल में फंसाया जाता था.उनके फंसते ही पाकिस्तानी साइबर ठगों द्वारा यहां के स्थानीय एजेंटों को सक्रिय कर उनके पास भेजा जाता था। बलवंत और बलवीर भी यही करते थे। लोगों से पैसे खाते में जमा करवाते थे।

- कश्मीर से लेकर राजस्थान में हैं खाते

जिन खातों में पैसा जमा कराया जाता था वह कश्मीर, राजस्थान, पंजाब बार्डर के होते है। पूछताछ में साइबर बदमाशों ने बताया कि वह खाता में पैसा जमा कराने के बाद उसे निकाल कर पाकिस्तानी एजेंटों को भेजते थे। बदले में स्थानीय एजेंटों को उस राशि का ख्0 फीसद कमीशन मिलता था।

बरामदगी

- 90 हजार नकद,

क्ब् एटीएम कार्ड,

- ब्0 पाकिस्तानी फोन नंबर व

भ्0 से अधिक बैंक अकाउंट नंबर