-निषादों को आरक्षण के सवाल पर जेडीयू ने बीजेपी को घेरा

PATNA: बिहार में बीजेपी नेता सुशील मोदी सिम्पैथी गेनर बनना चाहते हैं। किसी भी आंदोलन को हाईजैक करने की कला सुशील मोदी को खूब आती है और यही काम बीजेपी और नेता भी करते हैं। ये कहा जेडी मुख्य प्रवक्ता और एमएलसी संजय सिंह ने। कहा कि बिहार में निषाद के हितों के लिए मुकेश सहनी आंदोलन कर रहे थे , उस आंदोलन में जब प्रशासन ने थोड़ी सख्ती बरती, तो सुशील मोदी सरकार पर लगे हमला करने। पटना की सड़कों पर घूम-घूम कर राज्य सरकार की आलोचना की। जब नीतीश सरकार ने निषाद भाईयों के मांगों को मान लिया तो अब उसमें उनको खोट नजर आने लगी। खोट बिहार सरकार की नीयत में नही है, खोट सुशील मोदी के नजरिया में है। यही वजह है कि सुशील मोदी को बिहार सरकार का कोई भी फैसला रास नही आ रहा है।

नीतिगत फैसला है

संजय सिंह ने कहा कि राज्य सरकार ने मल्लाह, निषाद और नोनिया जाति को अनुसूचित जन जाति में शामिल करने का नीतिगत फैसला लिया है। राज्य कैबिनेट ने इसे मंजूरी दी है। मल्लाह, निषाद और इनकी उपजातियां बिंद, बेलदार, चांई, तियर, खुलवट, सुरिहया, गोढी, वनपर ,केवट और नोनिया जाति को इनके आर्थिक, राजनीतिक, शैक्षणिक और रोजगार में पिछड़ेपन को देखते हुए बिहार की अनुसूचित जन जाति की सूची में शामिल करने की अनुशंसा केंद्र सरकार से की गई है। सुशील मोदी को इस फैसले को लेकर परेशानी होने लगी। जाहिर सी बात जिस तरह से सरकार ने ये फैसला लिया है अब ये गेंद केंद्र सरकार के पाले में है। अब सुशील मोदी निषाद भाइयों के इतने हितैषी हैं तो केंद्र से जल्द अनुशंसा को पारित करा दें।