रांची (ब्यूरो) । आरयू की ओर से आर्यभट्ट सभागार में शिक्षक दिवस गुरु वंदन पर्व के रूप में मनाया गया$ गुरुओं के सम्मान में आयोजित गुरुवंदन पर्व में रांची विश्वविद्यालय को ऊंचाइयों तक पहुंचाने वाले पूर्व गुरुओं को कुलपति आरयू प्रो डॉ अजीत कुमार सिन्हा ने सम्मानित किया$ कार्यक्रम आरयू के वीसी आरयू डॉ सिन्हा ने डॉ एस राधाकृष्णन की जीवनी के बारे में बताते हुये कहा कि वैसे तो हमारी सबसे पहली गुरु मां होती है उसके बाद हमारे जीवन को संवारने का काम गुरू करते हैं$ उन्होंने कहा कि गुरु वह सडक़ हैं जो स्वयं वहीं रहते हैं पर सबों को मंजिल तक पहुंचाते हैं।
स्टूडेंट की जरूरतें अलग
उन्होंने कहा कि शिक्षकों के गोद में ही निर्माण और विध्वंस दोनों खेलते हैं$ उन्होंने सभागार में आये सभी गुरुओं का आभार जताया और कहा कि आज के छात्रों की आवश्यकता अलग है, झारखंड के दूर दराज से आये छात्रों के सामने बहुत सारी चुनौतियां हैं$ आज हम शिक्षकों की जिम्मेदारी बढ़ गयी है, हमारी जिम्मेदारी छात्रों की पढ़ाई खत्म होने से समाप्त नहीं हो जाती$ हमें गुरुकुल शिक्षा पद्धति को विकसित करना है$ आज के छात्र ही कल सभी महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां संभालेंगे$
वीसी ने किया सम्मानित
हमारा कर्तव्य बनता है कि भविष्य के इन जिम्मेदार छात्रों को संवारें$
इस अवसर पर विशिष्ट अतिथियों में डॉ.रमेश पांडेय ने (पूर्व कुलपति आरयू) प्रो.डॉ केके नाग (पूर्व वीसी आरयू), डॉ रमेश शरण (पूर्व प्राध्यापक आरयू एवं पूर्व कुलपति विनोवा भावे) डॉ केसी प्रसाद, डॉ जीडी मिश्र, डॉ एए खान (पूर्व कुलपति आरयू) प्रो अंजनी कुमार श्रीवास्तव, प्रो.फिरोज अहमद, प्रो एसपी सिंह, प्रो। एसएन सिंह, प्रो.तपन कुमार शांडिल्य, प्रो। टीएन साहू को कुलपति आरयू ने शॉल ओढाकर सम्मानित किया।
इस अवसर पर कुलसचिव आरयू डॉ मुकुंद मेहता, परीक्षा नियंत्रक डॉ आशीष कुमार झा, सीसीडीसी डॉ पीके झा, डीएसडब्लयू डॉ। सुदेश साहु, एफओ डॉ एलकेएएन शाहदेव, एफओ डॉ। गोस्वामी सहित अन्य मौजूद थे।