रांची (ब्यूरो) । इंस्टी'यूट ऑफ लीगल स्टडीज, रांची विश्वविद्यालय, रांची के सभागार में राजीव गांधी नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी, पटियाला के कुलपति प्रोफ़ेसर डॉक्टर जयशंकर सिंह के द्वारा संविधान की क्रिया कलापों पर एक व्याख्यान प्रस्तुत किया गया। इस एक दिवसीय व्याख्यान में उन्के दूारा बीबीए, एलएलबी और एलएलएम के विद्यार्थियों को संबोधित किया। उन्होंने बताया कि किस तरह भारत का संविधान विश्व के संविधानों से बिलकुल भिन्न है। हम कई वषों तक अंग्रेजों की ग़ुलामी में जकड़े रहे तत्पश्चात हमें आज़ादी मिली और उस आज़ादी का एक बहुत ही सुंदर उपहार हमारा संविधान है। संविधान की विशिष्टताओं पर प्रकाश डालते हुए उन्के द्वारा बताया गया कि हमारे संविधान में मौलिक अधिकारों की चर्चा की गई है।

अधिकारों को सुरक्षित

ये वो मौलिक अधिकार हैं जिन्हें कभी बदला नहीं जा सकता। इन्हीं मौलिक अधिकारों के बदौलत हम एक स्वछंद नागरिक की तरह अपना जीवन यापन कर पाने में समर्थ हैं। नागरिकों के अधिकार को सुरक्षित रखने के लिए संविधान में तीन स्तम्भों की व्यवस्था की गई - व्यवस्थापिका, कार्यपालिका एवं न्यायपालिका। इस मौके पर आईएलएस के निदेशक डॉक्टर एसएन मिश्रा ने उनका आभार और धन्यवाद व्यक्त किए। सभागार में डॉक्टर मोहम्मद ज़ाकिर, निशिकांत प्रसाद, डॉक्टर शालिनी साबू, रिमझिम वैष्णवी, डॉक्टर अजय राज, डॉक्टर अंगिका जयसवाल, अजीत कुमार सिंह, उदय प्रताप सिंह, बिमल मनोहर, डॉक्टर हैपी भाटिया, डॉक्टर प्रिंस पांडे सहित संस्थान के कर्मी भी उपस्थित थे। रश्मि टोपनो ने धन्यवाद ज्ञापन की।