रांची: रांची के प्राइवेट हॉस्पिटल सेंटेविटा में नवजात की मौत के बाद जमकर हंगामा हुआ। परिजनों ने हॉस्पिटल पर लापरवाही का आरोप लगाया है। मामले में कार्रवाई के लिए लोअर बाजार थाना में लिखित सनहा भी दिया गया है। सेंटेविटा हॉस्पिटल पर अरगोड़ा थाना क्षेत्र के ट्विन टावर की रहने वाली नेहा सिंह के परिजनों ने इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया है।

क्या है मामला

कहा है कि 19 फरवरी की रात को प्रसव के लिए नेहा सिंह सेंटेविटा अस्पताल में भर्ती हुई थी। 20 फरवरी को सिजेरियन डिलीवरी से नेहा ने एक लड़की को जन्म दिया। जन्म के बाद बच्ची चिकित्सकों की निगरानी थी। नेहा की बड़ी बहन आकांक्षा ने कहा कि बच्ची को अस्पताल के कर्मचारियों ने दूध पिलाया। जिससे बच्ची के फेफड़े में दूध चला गया और उसकी धड़कन बंद हो गई।

मौत के बाद भी वेंटिलेटर पर रखा

बताया कि सेंटेविटा अस्पताल की स्त्रीरोग विशेषज्ञ डॉ रश्मि राय ने नेहा सिंह का प्रसव कराया। बच्ची की सेहत खराब होने पर शिशु विभाग के चिकित्सक डॉ अजय कुमार ने जांच की। परिजनों ने कहा कि रविवार को सुबह 8 बजे ही बच्ची की मौत हो गई थी। बावजूद इसके बच्ची को वेंटिलेटर पर रखा गया।

पोस्टमार्टम के बाद होगी जांच

मामले में लोअर बाज़ार थाना प्रभारी सतीश कुमार ने बताया कि नवजात की मौत के बाद परिजनों ने सेंटेविटा अस्पताल पर लापरवाही का आरोप लगाया है। पोस्टमार्टम के बाद आगे जांच होगी। उन्होंने कहा कि गड़बड़ी मिलने पर अस्पताल प्रबंधन पर कार्रवाई की जाएगी।

क्या कहना है हॉस्पिटल का

इधर मामले में सेंटेविटा हॉस्पिटल की मीडिया प्रभारी गुड्डू जहां ने बताया कि बच्ची जन्म से ही कमजोर थी। उसे बचाने के लिए हॉस्पिटल के चिकित्सकों द्वारा हर संभव कोशिश की गई।