RANCHI: रांची नगर निगम सिटी में मच्छरों से छुटकारा दिलाने के लिए करोड़ों रुपए खर्च कर रहा है। इसके बावजूद सिटी में मच्छर कम नहीं हो रहे हैं। अब तो नगर निगम की फॉगिंग गाडि़यां महीने में केवल दो दिन ही वार्ड में भेजने की योजना बनाई गई है। इससे यह साफ हो गया है कि अगर मच्छरों से छुटकारा पाना तो इसके लिए खुद ही इंतजाम करना होगा। वहीं इसे लेकर कई पार्षद भी एकजुट हो गए हैं। ऐसे में उन्होंने निगम के अधिकारियों से सवाल किया है कि क्या इस तरह मच्छरों पर काबू पाया जा सकेगा?

कुछ वार्डो में एक दिन ही

रांची नगर निगम क्षेत्र में 53 वार्ड हैं। इन वार्डो में फॉगिंग के लिए नगर निगम ने तीन कोल्ड फॉगिंग मशीनों की खरीदारी की थी। ऐसे में तीन मशीनों के हिसाब से रोस्टर तैयार किया गया है, जिसमें वार्डो में हर महीने दो दिन का शेड्यूल बनाया गया। जबकि कुछ वार्डो में तो एक ही दिन का रोस्टर है।

हर माह रोस्टर बनाकर आईवॉश

सिटी के 53 वार्डो में फॉगिंग के लिए रोस्टर नगर निगम के अधिकारी तैयार करते हैं। हर महीने दिखावे के लिए रोस्टर तो तैयार कर दिया जाता है। लेकिन कई ऐसे इलाके हैं जहां महीनों से फॉगिंग के लिए गाड़ी नहीं पहुंची है। ऐसे में सवाल यह उठता है कि आखिर फॉगिंग के लिए गाडि़यां जाती कहां हैं?

एक करोड़ पांच लाख में पानी वाली मशीन

नगर निगम को फॉगिंग पर हर महीने लाखों रुपए केवल डीजल पर खर्च हो जाते थे। इससे बचने के लिए नगर निगम ने पानी से फॉगिंग वाली मशीन खरीदी। जिसमें एक करोड़ पांच लाख रुपए की तीन मशीनें मंगाई गईं। इसके बाद भी रेगुलर फॉगिंग नहीं कराया जाना समझ से परे है।

पार्षदों ने उठाए सवाल

रांची नगर निगम ने जो रोस्टर तैयार किया है वो कहीं से भी सही नहीं है। महीना में दो दिन वार्ड में फॉगिंग के लिए गाड़ी आएगी तो मच्छर शायद ही मरेंगे। निगम को इस पर दोबारा से विचार करते हुए रोस्टर बनाने की जरूरत है।

अरुण झा, पार्षद, वार्ड-26

नगर निगम ने कुछ वार्डो के लिए नगर निगम ने ऐसा रोस्टर तैयार किया है कि गाड़ी एक ही दिन महीने में आएगी। अधिकारियों ने इन वार्डो के साथ ऐसा व्यवहार क्यों किया।

झरी लिंडा, पार्षद, वार्ड-35

हर महीना अलग-अलग दिन का रोस्टर बनाया जाता है। लेकिन यह बात तो सोचने वाली है कि दो दिन महीने में गाड़ी आएगी तो कैसे चलेगा। निगम के अधिकारी इतना पैसा खर्च करते हैं फिर भी मच्छर नहीं मर रहे।

अर्जुन यादव, पार्षद, वार्ड-10