-6 दिनों के बाद जिम से बाहर निकले सरवाइवल मैन

-शुरू में ही टाइगर से सामना, हर रोज टाइगर की दहाड़े

-लेस स्ट्राउड को एक दर्जन जीने की तकनीक की यूज

DEHRADUN : व‌र्ल्डफेम सरवाइवल मैन जिम कार्बेट के नजदीक पाउलगढ़ कंजर्वेशन एरिया साइड में अकेले छह दिन बिताने के बाद वापस बाहर आ गया है। सरवाइवल मैन लेस स्ट्राउड ने तीन दिनों में शूटिंग की और शुरुआत के दिन ही लेस स्ट्राउड का सामना टाइगर से हुआ। अब जब लेस स्ट्राउड सुरक्षित कंजर्वेशन एरिया से बाहर निकल आए हैं। उन्होंने कहा कि इन छह दिनों के दौरान उन्होंने जिंदगी से बचने के एक दर्जन से अधिक तकनीक का प्रयोग करना पड़ा। मंडे को सरवाइवल मैन दिल्ली से लॉस एंजलिस रवाना होंगे।

ख्0 से शुरू हो पाई शूटिंग

फेमस सरवाइवल मैन यानी लेस स्ट्राउड पिछले छह दिनों से उत्तराखंड दौरे पर थे। उन्होंने बीते क्7 अप्रैल से जिम कार्बेट के पाउलगढ़ कंजर्वेशन एरिया साइड में एंट्री की थी। तब लेकर संडे तक वे अकेले कंजर्वेशन एरिया में रहे। डीएफओ रामनगर के नसीम के अनुसार सरवाइवल मैन ने ख्0 से अपने कैमरे के एरिया की शूटिंग की, जिसके लिए पहले से ही लेस स्ट्राउड को चीफ वाइल्ड लाइफ कंजर्वेशन की तरफ से परमिशन दी गई थी।

एक दर्जन तकनीक यूज की

लेस स्ट्राउड ने जिस वक्त जिम कार्बेट के नजदीक पाउलगढ़ कंजर्वेशन एरिया में क्7 मार्च से एंट्री की। उस वक्त ही लेस का सामना टाइगर से हुआ। वहां भी वह सलामत रहे। इसके बाद लेस स्ट्राउड को लगातार कंजर्वेशन एरिया में टाइगर की दहाड़ सुनाई देती रही, लेकिन इस बीच लेस को एरिया में तमाम परेशानियों व मुसीबतों से जूझना पड़ा। लेस ने कहा कि मैं जिंदा हूं, बाघ ने हमला नहीं किया। इस दौरान लेस ने यह भी कहा कि उन्होंने जिम में बचने के लिए करीब एक दर्जन तकनीक का प्रयोग किया, जो सबसे डेंजर कहे जा सकते हैं।

वायरलेस फोन व गाइड की नजर में

डीएफओ के नसीम बताते हैं कि लेस स्ट्राउड के पास एक वायरलेस सैटेलाइट फोन उपलब्ध कराए जाने के साथ कुछ दूरी पर कुछ गाइड मुस्तैद थे। बताया गया कि लेस स्ट्राउड को जंगल में मौजूद कंदमूल खाने की भी परमिशन दी गई थी। लेकिन बताया जा रहा है कि शूटिंग के दौरान लैंडस्केप शूटिंग के लिए ड्रोन की भी हेल्प ली गई।

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पहले सिक्किम जाना था स्ट्राउड को

एनआईएम के सूत्र बताते हैं कि सरवाइवल मैन की शूटिंग पहले नेपाल, उसके बाद सिक्किम और फिर डोडीताल उत्तरकाशी होनी थी, लेकिन लेस स्ट्राउड को जिम कार्बेट का सुझाव दिया गया। बताया जा रहा है कि लेस ने कार्बेट के लिए निम व फॉरेस्ट डिपार्टमेंट से भी परमिशन ली।

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आगामी पांच महीनों में दिखेगा

बताया जा रहा है कि लेस का यह प्रोग्राम आगामी पांच महीनों में कई देशों में दिखाया जाएगा। जानकार मानते हैं कि जिम कार्बेट पार्क को विश्व में एक नई पहचान मिलेगी। जिसमें कनाडा, अमेरिका सहित यूरोप के कई देशों में दिखाया जा सकेगा। लेस स्ट्राउड के नाम अलास्का और कई दुर्गम स्थानों में सात दिनों तक बिना खाने व पीने के सरवाइव करने का रिकॉर्ड है।