छ्वन्रूस्॥श्वष्ठक्कक्त्र : कदमा के शास्त्रीनगर ब्लॉक नंबर-4 निवासी बस एजेंट रंजन सिंह की हत्या जमीन विवाद में उसके ही रिश्तेदारों ने कर दी। जिस दिन रंजन गायब हुआ, उसी दिन, यानी 14 फरवरी को ही आरोपितों ने रात को रंजन की हत्या खरकई नदी तट (कदमा क्षेत्र) पर कर दी। हत्या करने के बाद साक्ष्य छुपाने को आरोपितों ने उसके शव को कार की डिक्की में रखा और आराम से मानगो के रास्ते पारडीह ले जाकर खाई में शव फेंक आए। रंजन के लापता होने के बाद जांच में जुटी पुलिस ने मामले का खुलासा कर दिया है और हत्या में शामिल शक्ति सिंह और आकाश उर्फ आकाश बच्चा को गिरफ्तार भी कर लिया है। हत्या के मुख्य आरोपित रोहित सिंह और मोहित सिंह अब तक फरार हैं। कार को भी पुलिस ने जब्त कर लिया है।

शराब पिलाया, चापड़ से मारा

गिरफ्तार शक्ति सिंह ने पुलिस को बताया कि रोहित-मोहित से रंजन सिंह का जमीन विवाद था। 14 फरवरी की रात रंजन सिंह को रोहित और मोहित सिंह यह कहते हुए साथ ले गए थे कि पुराने जमीन विवाद को खत्म कर दिए जाए। आगे से मेल-मिलाप से रहा जाए। यह कह सभी ब्लॉक संख्या चार नदी तट के पास स्थित क्लब में गए। वहां सभी ने जमकर शराब पी। इसी बीच मौका पाकर रोहित, मोहित सिंह और आकाश ने चापड़ से रंजन के सिर के पीछे हमला कर दिया। हमले से बेसुध रंजन की कनपट्टी में लोग तबतक धारदार हथियार से वार करते रहे, जबतक उसकी मौत नहीं हो गई।

कार की डिक्की में शव लाद लगाया ठिकाने

शक्ति सिंह ने बताया कि रंजन सिंह की हत्या के बाद रोहित सिंह, मोहित सिंह और आकाश ने उसे कार लाने को कहा। कार लाने से इन्कार करने पर उसकी भी हत्या कर देने की धमकी देने लगे। भय के कारण वह अपने घर गया। कार लेकर नदी तट की ओर पहुंचा। कार की डिक्की में शव रखकर वे मानगो पारडीह की ओर गए। पारडीह काली मंदिर के पहले पुलिया के पास खाई में लाश फेंककर सभी वापस कदमा आ गए। लौटने पर घटनास्थल पर गिरे खून की साफ-सफाई की। शराब पी फिर वहां से अपने-अपने घर चले गए।

जमीन को लेकर चल रहा था विवाद

रंजन सिंह के घर के पीछे जमीन का एक टुकड़ा हैं, जो रोहित और मोहित सिंह के घर के पीछे तक है। जमीन खरीदने को रंजन सिंह ने जमीन मालिक को एडवांस दिया था, लेकिन उस जमीन को रोहित सिंह ने खरीद लिया और रंजन सिंह का एडवांस भी वापस करवा दिया था। यहीं से दोनों के बीच दुश्मनी शुरु हो गई थी। रोहित सिंह मकान बनवा रहा था। जमीन से ही सटी एक गली है जिस पर दोनों कब्जा करना चाहते थे, इसको लेकर मारपीट भी हुई थी। मामला थाना तक पहुंचा था। हत्या के पीछे यही कारण भी बनी।

30 लोगों से पूछताछ के बाद पकड़े गए हत्यारे

रंजन सिंह के लापता होने की सूचना उसकी मां ने 15 फरवरी की रात कदमा थाने में दी थी। रंजन का मोबाइल बंद आ रहा था। स्कूटी का भी अता-पता नही चल पाया था। रंजन सिंह, रोहित सिंह और मोहित सिंह के मोबाइल का कॉल डिटेल 16 फरवरी की सुबह तक पुलिस ने निकाल लिया। कॉल डिटेल में 30 लोग संपर्क में थे। रोहित सिंह और मोहित सिंह से शक्ति सिंह और आकाश लगातार फोन पर संपर्क में थे। 30 लोगों को पुलिस ने उठाया इसमें शक्ति सिंह और आकाश भी थे।