घोटाले में पीएनबी समेत 4 बैंकों के नाम आए सामने

11500 करोड़ रुपये के इस महाघोटाले में 4 बैंकों के नाम सामने आ रहे हैं। दरअसल पंजाब नेशनल बैंक के कुछ कर्मियों ने मिलीभगत करके अपने कुछ खाताधारकों के लिए एलओयू यानी लेटर ऑफ अंडरटेकिंग जारी किए। इन्हीं एलओयू को संज्ञान में रखकर इलाहाबाद बैंक, एक्सिस बैंक और यूनियन बैंक ने खाताधारकों को रकम उधार दिए। अब खाताधारकों ने रकम चुकाने से मना कर दिया है तो इन बैंकों ने एलओयू जारी करने वाले बैंक पर दावा कर दिया है। नियम के अनुसार डूबी रकम एलओयू जारी करने वाले बैंक को चुकानी होती है। अब पीएनबी कह रहा है कि उनके कुछ अधिकारियों ने मिलीभगत करके नियमों को ताक पर रखकर धोखाधड़ी की गई है। पीएनबी ने अपने एक एजीएम सहित कई कर्मचारियों को निलंबित कर दिया है। जांच चल रही है कि इससे किसे कितना लाभ हुआ है। फिलहाल बैंक ने करीब 11500 करोड़ रुपये के संदिग्ध ट्रांजेक्शन की जानकारी बाजार नियामक सेबी को दी है। सीबीआई और ईडी मामले की जांच कर रही है।

महाघोटाले में 4 व्यक्तियों का नाम प्रमुख रूप से सामने

इस महाघोटाले में 4 लोगों के नाम प्रमुख रूप से सामने आ रहे हैं। इसमें मशहूर हीरा कारोबारी नीरव मोदी, उनके भाई निशाल, उनकी पत्नी एमी और उनके कारोबारी सहयोगी मेहुल चीनूभाई चौकसी शामिल हैं। बैंक ने इनके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई है। शुरुआती जांच में इनके खिलाफ धोखाधड़ी और मनीलांड्रिंग का केस दर्ज कर छानबीन हो रही है। फिलहाल इनमें से कोई भी व्यक्ति जांच टीम की पकड़ में नहीं है। कारोबारी नीरव कहां हैं इसकी भी कोई जानकारी नहीं है। हालांकि सूत्रों के हवाले कुछ मीडिया में खबर है कि नीरव ने विदेश से संबंधित बैंक से संपर्क किया है। बताया जा रहा है कि नीरव ने पैसे चुकाने के लिए छह महीने का वक्त मांगा है। फिलहाल इस मुद्दे पर बैंक का कहना है कि नीरव ने रकम वापस करने का मसौदा पेश किया है जिसपर बैंक विचार कर रहा है। अभी कुछ भी फाइनल नहीं है। बैंक का कहना है कि यह सब 2011 से चल रहा था। कुछ दिन पहले ही यह मामला सामने आया है जिसकी जांच चल रही है।

11500 करोड़ रुपये के घोटाले में 4 कंपनियों के नाम

बैंकिंग सेक्टर को हिला कर रख देने वाले इस घोटाले में अब तक जिन कंपनियों के नाम सामने आए हैं उनमें गीतांजलि, नक्षत्र, गिन्नी और नीरव मोदी के नाम लिए जा रहे हैं। नीरव मोदी ब्रांड की कंपनी खुद नीरव मोदी का ही है जबकि गीतांजलि के मालिक मेहुल चीनूभाई चौकसी हैं। मेहुल गीतांजलि ग्रुप के सीएमडी हैं। ईडी और सीबीआई ने इन कंपनियों के मालिकों के 10 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी की है। बैंक का कहना है कि छापेमारी करके उनकी संपत्ति जब्त की जा रही है। इन लोगों से पूरा पैसा वसूला जाएगा। इन्हें किसी भी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा। पूरा मामला कंट्रोल में है और नियमों के तहत उचित कार्रवाई की जा रही है। इस घोटाले में शामिल बैंक कर्मचारियों के खिलाफ भी सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी। पीएनबी के एमडी सुनील मेहता ने कहा कि फर्जीवाड़े के रकम की वसूली का काम शुरू हो चुका है। यह मामला पिछले महीने ही बैंक के संज्ञान में आया है। यह मामला 2011 से ही चल रहा है।

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