-सोमवार रात 12 बजे तक हुए यूपी रेरा में ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन

-मेरठ से अब तक महज 40 प्रोजेक्ट हुए हैं रजिस्टर्ड

-वेबसाइट में प्रॉब्लम, रीयल एस्टेट कारोबारियों में निराशा

मेरठ: आज से मेरठ के करीब 1500 रीयल एस्टेट प्रोजेक्ट का माई-बाप कौन होगा? यूपी रेरा के कानूनों पर गौर करें तो सोमवार मध्य रात्रि 12 बजे तक वेबसाइट पर रजिस्टर्ड प्रोजेक्ट ही वैलिड होंगे। अन रजिस्टर्ड प्रोजेक्ट को यूपी रेरा नकार देगा और ऐसे में न तो खरीद-फरोख्त नहीं हो सकेगी और न ही कंट्रक्शन और डेवलेपमेंट। दावा है कि गत 12-15 सालों में स्थापित करीब 1500 रीयल एस्टेट प्रोजेक्ट में से महज 50-60 प्रोजेक्ट ने ही कम्प्लीशन सर्टिफिकेट लिया है। रीयल एस्टेट कारोबारियों ने हालांकि यूपी रेरा की वेबसाइड न चलने की शिकायत भी की।

महज 100 प्रोजेक्ट रजिस्टर्ड

यूपी रेरा की वेबसाइट को बीते बुधवार सूबे के सीएम योगी आदित्यनाथ ने लांच किया था। वेबसाइड लांचिंग के पहले दिन से लड़खड़ा रही है तो वहीं सोमवार रात्रि 12 बजे तक वेबसाइट पर प्रोजेक्ट को रजिस्टर्ड कराने की अंतिम तिथि घोषित कर दी। आलम यह है कि अंतिम तिथि तक मेरठ के महज 100 रीयल एस्टेट प्रोजेक्ट को ऑनलाइन रजिस्टर कराया जा सका है। बता दें कि प्रावधान के तहत 500 एस्क्वॉयर मीटर एरिया से अधिक या 8 फ्लैट से अधिक वाले सभी प्रोजेक्ट्स का रजिस्ट्रेशन कम्पल्सरी है। प्रोजेक्ट से संबंधित सभी जानकारी वेबसाइड पर अपलोड करनी होगी।

देनी होगी विस्तृत जानकारी

यूपी रेरा की वेबसाइट पर प्रोजेक्ट का नाम, फुल एड्रेस, प्रोजेक्ट एरिया (एस्क्वॉयर मीटर में), प्रोजेक्ट की प्रकृति (रेजीडेंशियल, कॉमर्शियल आदि), जमीन की डिटेल, कॉन्ट्रेक्टर का नाम और एड्रेस, आर्किटेक्ट का नाम लाइसेंस नंबर, एड्रेस सहित, स्ट्रक्चरल इंजीनियरिंग का नाम व एड्रेस, प्रोजेक्ट कोआर्डीनेटर का नाम-मोबाइल नंबर, टोटल फ्लोर, कवर्ड व ओपन पार्किंग, अथारिटी से सेक्शन डेट, फायर फाइटिंग अरेंजमेंट, ड्रिंकिंग वाटर, फैसिलिटी, रेनेवल एनर्जी, इमरजेंसी इवैकुएशन सर्विस, एक्सेस डिटेल ऑफ साइट, पास हुए प्रोजेक्ट प्लान का परमिट नंबर, परमिट डेट, प्रोजेक्ट ड्यूरेशन मंथ, ओरिजिनल स्टार्ट डेट, मॉडीफाइड स्टार्ट डेट और प्रपोज्ड एंड डेट आदि का स्पष्ट ब्योरा देना होता है।

नहीं चल रही वेबसाइट

रीयल एस्टेट डेवलेपमेंट एसोसिएशन मेरठ (रेडम) के प्रेसीडेंट अशोक गर्ग ने बताया कि लांचिंग के बाद से ही यूपी रेरा की वेबसाइट प्रॉपर वर्क नहीं कर रही है। प्रोजेक्ट्स की इनफॉरमेशन को अपलोड करने में कारोबारियों को कड़ी मुश्किल का सामना करना पड़ रहा है। सरकार को रजिस्ट्रेशन की लास्ट डेट डिक्लेयर करने के पहले यह सिक्योर करना था कि सभी प्रोजेक्ट अपलोड हो गए हैं कि नहीं। ऑनलाइन पेमेंट नहीं हो पा रहा है, बैंक में जाकर रजिस्ट्रेशन फीस जमा करनी पड़ रही है।

नहीं बनी लोकल अथारिटी

एमडीए को यूपी रेरा को आसान और स्थानीय रीयल एस्टेट कारोबारी की पहुंच तक ले जाने के लिए लोकल अथारिटी का सलेक्शन करना था जो अभी तक नहीं किया गया। चीफ टाउन प्लानर की अध्यक्षता में इस कमेटी का गठन होना है। वहीं जानकारों का कहना है कि प्राधिकरण ने अपनी रेजीडेंशियल स्कीम का यूपी रेरा में रजिस्ट्रेशन नहीं कराया है।

---

यूपी रेरा की वेबसाइट में कई खामियां हैं। टेक्निकल कमियों को दूर कर गर्वमेंट इसे कारोबारियों के अनुकूल बनाए। रजिस्ट्रेशन के लिए लॉस्ट डेट को आगे बढ़ाने की आवश्यकता है।

-अशोक गर्ग, प्रेसीडेंट, रेडम

---

फिलहाल यूपी रेरा के संबंध में सेंट्रली प्रोसेस फॉलो हो रहे हैं। प्रोजेक्ट रजिस्ट्रेशन की डेट आगे की जानकारी नहीं है। शासन के निर्देशों का अनुपालन किया जाएगा।

राजकुमार, सचिव, एमडीए

Posted By: Inextlive