-2014 के बाद फिर से एक हजार से अधिक हुए डेंगू के मरीज

-अभी भी इक्का-दुक्का मरीज सामने आने से अलर्ट मोड पर स्वास्थ्य विभाग

PRAYAGRAJ: पांच साल बाद एक बार फिर डेंगू के मरीजों की संख्या एक हजार का आंकड़ा पार कर गई है। इतनी बड़ी संख्या में मरीज आने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने अपनी गलतियों से सीख लेने की कवायद शुरू कर दी है। बता दें कि अभी भी इक्का-दुक्का मरीजों के चिन्हित होने से अधिकारियों के कान खड़े हैं। शहर के कुछ इलाकों में अभी भी दवा का छिड़काव कराया जा रहा है।

1093 पहुंच गई संख्या

प्रयागराज में डेंगू के मरीजों की संख्या वर्तमान में 1093 बताई जा रही है। इससे पहले 2014 में मरीज एक हजार के पार हुए थे। उस साल भी बारिश जोरदार हुई थी और बाढ़ आई थी। इस बार भी अक्टूबर तक बारिश होना डेंगू के लिए प्लस प्वाइंट रहा। इसकी वजह से मच्छरों को अधिक पनपने का मौका मिला और उन्होंने जमकर रोग फैलाया। इसकी वजह से अभी तक मरीजों के आने का सिलसिला लगभग बना हुआ है। दो से तीन दिन में एक या दो मरीज चिन्हित हो रहे हैं।

अगले साल कैसे लगेगा ब्रेक

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की मानें तो पिछले साल अधिक मरीज सामने आए थे। इसलिए माना जा रहा था कि 2019 में डेंगू के मरीज कम संख्या में सामने आएंगे। जुलाई तक तो स्थिति सामान्य थी लेकिन अचानक डेंगू ने टाप गियर लगा दिया। इसके बाद सितंबर और अक्टूबर में हुई ताबड़तोड़ बारिश ने रही-सही कसर पूरी कर दी। अचानक डेंगू के मरीजों की बाढ़ आ गई और स्थिति संभालना मुश्किल हो गया। अब माना जा रहा है कि 2020 में मरीजों की संख्या कम होगी क्योंकि वायरस साल दर साल अप एंड डाउन की स्थिति में होता है। मतलब नेक्स्ट ईयर का डेंगू का वायरस कम पावरफुल होगा। इसका देखते हुए अभी से जिम्मेदार अधिकारियों को रणनीति तय करने के आदेश दिए गए हैं।

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हालांकि लोगों को चिंता करने की जरूरत नही है। डॉक्टर्स का कहना है कि एक से दो दिन में डेंगू के मरीजों की संख्या एकदम शून्य हो जाएगी। क्योंकि ठंड अपने चरम पर पहुंच रही है और इसके बाद मच्छर के लार्वा पनप नही पाएंगे। यही कारण है कि करेली, सलोरी, ढरहरिया सहित तमाम कछारी इलाकों में अभी भी कुछ टीमां को दवा का छिड़काव करने को लगाया गया है। जिससे डेंगू सहित मलेरिया पर भी लगाम लगाई जा सके।

चिंता की बात नही है। डेंगू का असर खत्म हो चुका है। धीरे-धीरे मरीजों का आना खत्म हो गया है। नेक्स्ट ईयर अब तीस फीसदी कम वायरस पावरफुल होंगे।

-डॉ। विमलकांत, एक्स नोडल आफिसर, स्वास्थ्य विभाग

Posted By: Inextlive