4 साल अभी लगते हैं बीटेक में

2 साल का है एमटेक कोर्स

6 साल लगते हैं बीटेक और एमटेक में

5 साल का होगा इंट्रीग्रेटेड कोर्स

1 साल बचेगा स्टूडेंट्स का

- एकेटीयू नए सेशन में एमटेक की सभी ब्रांच में शुरू करेगा इंट्रीग्रेटेड कोर्स

- छह साल के बजाए पांच साल में पूरा होगा एमटेक इंट्रीग्रेटेड कोर्स

LUCKNOW : डॉ। एपीज अब्दुल कालम टेक्निकल यूनिवर्सिटी (एकेटीयू) अब नए सेशन में पीजी लेवल पर इंट्रीग्रेटेड कोर्स शुरू करने जा रहा है। इसके लिए यूनिवर्सिटी की ओर से प्रस्ताव तैयार किया गया है। इस प्रस्ताव को सेंट्रल एडमिशन कमेटी (कैब) की बैठक में रखा गया है। जिसे अब यूनिवर्सिटी की कार्यपरिषद में रखा जाएगा। यूनिवर्सिटी इस सेशन से एमटेक के सभी कोर्सेस में इंट्रीग्रेटेड कोर्स का संचालन करेगा। इसके लिए एसईई के माध्यम से ही एडमिशन लिया जाएगा। यह पहला मौका होगा जब यूनिवर्सिटी लेवल पर इंट्रीग्रेटेड कोर्सेस की शुरुआत की जा रही है। माना जा रहा है कि सीटें भरने के लिए यूनिवर्सिटी की ओर से यह पहल की जा रही है।

पांच साल का होगा कोर्स

यूनिवर्सिटी पीजी लेवल पर मास्टर ऑफ टेक्निोलॉजी एमटेक के तहत संचालित होने वाले सभी कोर्सेस में इंट्रीग्रेटेड कोर्स शुरू करेगा। यूनिवर्सिटी की ओर से जो प्रस्ताव तैयार किया गया है, उसमें इंट्रीग्रेटेड कोर्स की अवधि को पांच साल रखी गई है। जो स्टूडेंट्स इस कोर्स में एडमिशन लेंगे और सफलतापूर्वक इसे पूरा करेंगे उन्हें बीटेक और एमटेक दोनों की इंट्रीग्रेटेड डिग्री दी जाएगी। अभी तक यूनिवर्सिटी के नियम के अनुसार चार साल का बीटेक कोर्स और दो साल एमटेक कोर्स चलाया जाता है। दोनों कोर्स को करने में छह साल का समय लगता है। पर इंट्रीग्रेटेड कोर्स में एडमिशन लेने पर स्टूडेंट्स के यह दोनों कोर्स पांच साल में पूरे हो जाएंगे। इससे स्टूडेंट्स को एक साल का समय बचेगा।

बीच में नहीं छोड़ सकते कोर्स

यूनिवर्सिटी इंट्रीग्रेटेड कोर्स में एडमिशन लेने वाले स्टूडेंट्स पर एक नियम भी लागू करेगा। पांच साल के इस कोर्स में एडमिशन लेने वालों को कोर्स पूरा करना होगा। बीच में कोर्स छोड़ने पर कोई डिग्री नहीं दी जाएगी। ज्यादातर इंट्रीग्रेटेड कोर्स में स्टूडेंट्स को यूजी और पीजी दोनों की डिग्री दी जाती है। पर अगर कोई स्टूडेंट बीच में ही कोर्स छोड़ देता है तो उसे यूजी की डिग्री प्रदान की जाती है। पर एकेटीयू प्रशासन एमटेक इंट्रीग्रेटेड कोर्स में स्टूडेंट्स को यह सुविधा नहीं देगा।

सीटें भरने की कोशिश

गौरतलब है कि बीते कई सालों से एकेटीयू में पीजी कोर्सेस की स्थिति अच्छी नहीं है। कई बार तो निर्धारित सीटों की तुलना में आवेदन भी ठीक-ठाक नहीं आते हैं। ऐसे में कई कोर्स की सीटें खाली रह जाती हैं। पीजी में एमटेक की सीटों को भरने के लिए यह कोर्स शुरू किया जा रहा है। एमबीए और एमसीए में इंट्रीग्रेटेड कोर्स शुरू करने का प्रस्ताव लाया जा सकता है।

कॉलेजों करेंगे आवेदन

एकेटीयू ने सभी कॉलेजों को इंट्रीग्रेटेड कोर्स शुरू करने की छूट दी है। कॉलेजों को इन्हें शुरू करने से पहले यूनिवर्सिटी में आवेदन करना होगा। यूनिवर्सिटी कोशिश करेगी कि पहले उन कॉलेजों को मान्यता दी जाए, जहां एमटेक के कार्स चल रहे हैं। यूनिवर्सिटी इन कॉलेजों को नोटिस भेजकर प्रस्ताव मांगेगी।

कोट

पीजी में एमटेक लेवल पर इंट्रीग्रेटेड कोर्स शुरू होना है। यह कोर्स पांच साल का होगा। जिसे कोई भी स्टूडेंट्स बीच में नहीं छोड़ सकता हैं। यह कोर्स सभी संबद्ध कॉलेजों में करने का प्रस्ताव है।

आशीष मिश्रा, एकेटीयू, प्रवक्ता

Posted By: Inextlive