करदाताओं के लिए एक बहुत बड़ी खुशखबरी है। जनकारी ये है कि इनकम टैक्‍स विभाग की ओर से कुछ इस तरह का प्रस्‍ताव रखा गया है कि टैक्‍स पर दिए जाने वाला रिफंड सीधे कर दाताओं के बैंक अकाउंट में जमा कराया जाए। विभाग की ओर से इस प्रस्‍ताव पर भी विचार किया जा रहा है कि पचास हजार या इससे ज्‍यादा IT रिफंड को अब चेक के माध्‍यम से न भेजा जाए। बल्कि इसके अलावा उसके लिए बैंकिंग सेवाओं की मदद ली जाए।

क्या कहते हैं अधिकारी
सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्सेशन (CBDT) प्रमुख अनीता कपूर ने इस संबंध में जानकारी दी है। उन्होंने बताया कि इनकम टैक्स विभाग की ओर से इस योजना पर तेजी के साथ काम चल रहा है। इस सुविधा की शुरुआत करदाताओं की सहूलियत को ध्यान में रखकर की जा रही है। ताकि उनकी दिक्कतों को कम किया जा सके। अनीता कपूर का कहना है कि करदाताओं की खासकर रिफंड को लेकर हो रही दिक्कतो को कम करने या उनको खत्म करने के नजरिए से ऐसा किया जा रहा है।
हाल ही में मिलीं कई शिकायतें
इसके आगे उन्होंने कहा कि अभी हाल ही में इसको लेकर कई शिकायतें मिली थी। शिकायतों में था कि कुछ लोगों को रिफंड या तो मिला नहीं या फिर गलत रिफंड हो रहा था। इसको लेकर CBDT विभाग के अधिकारियों की बैंक व RBI के अधिकारियों के साथ मुलाकात की थी। बैठक में RBI अधिकारियों ने बताया कि ई-बैंकिंग के समय जब रिफंड सीधे करदाता के खाते में भेजा जाता है, तो वर्तमान नियमों के मुताबिक बैंक खाता संख्या धारक के नाम का मिलान नहीं करते। बैंक सिर्फ खाता संख्या पर ही ध्यान देता है। उसके बाद जिस खाते को लेकर चेक को जारी किया गया है, चेक उसी खाते में चली जाएगी।
ताकि न हो कोई गलती
अनीता कपूर कहती हैं कि कई ऐसे मामले भी सामने आए हैं कि लोग गलत खाता संख्या डाल देते हैं। ऐसे में जब खाता संख्या में चेक डाली जाती है तो उनके गलत खाता संख्या में चेक पहुंच जाती है और उसके बाद करदाता को परेशानी होती है। इसी को ध्यान में रखकर ये बदलाव किया जा रहा है। ऐसे में जब करदाता अपना खाता संख्या देगा तो उसका बैंक से सही से मिलान किया जाएगा ताकि इस बार कोई गलती न हो।

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Posted By: Ruchi D Sharma