फर्स्ट डिवीजन का रेट 4500
-यूपी बोर्ड में फर्स्ट डिवीजन पास कराने के लिए शुरू हो गया फर्जीवाड़ा
-रिजल्ट के पहले ही मार्कशीट वॉट्सअप पर भेजने का भी वादा करते हैं जालसाज prakashmani.Tripathi@inext.co.in PRAYAGRAJ: यूपी बोर्ड में कॉपियों की चेकिंग हो चुकी है। रिजल्ट की डेट भी डिक्लेयर हो चुकी है। इसी बीच जालसाजों ने भी अपना गेम शुरू कर दिया है। यह जालसाज लोगों को यूपी बोर्ड एग्जाम में पास कराने का झांसा दे रहे हैं। वह भी ऐसे-वैसे डिवीजन से नहीं, बल्कि फर्स्ट डिवीजन से। इसके लिए बाकायदा रेट भी खोल दिया गया है। दैनिक जागरण-आई नेक्स्ट ने एक ऐसे ही झांसेबाज से बात की तो उसने 4500 रुपए में सभी विषयों में 60 परसेंट से ज्यादा नंबर दिलाने का दावा किया। पैसे ट्रांसफर करो, चंद मिनट में मिलेगी मार्कशीटदैनिक जागरण-आईनेक्स्ट रिपोर्टर ने जब फर्जीवाड़ा करने वाले युवक को कॉल किया। युवक ने 4500 रुपए एकाउंट में भेजने की बात कही। उसका दावा है कि इसके महज 10 मिनट के अंदर सभी विषयों में 60 परसेंट नंबर वाली मार्कशीट भेज दी जाएगी। जालसाज ने कहा कि वह रिजल्ट के पहले ही डमी मार्कशीट वॉट्सअप पर भेज देगा। रिजल्ट आने के बाद रियल से इसका मिलान करके तसल्ली की जा सकती है।
इस तरह से हुई बातचीतरिपोर्टर: हैलो भाई साहब नमस्कार। मैं अनुराग बोल रहा हूं, प्रयागराज से।
युवक: हां, बताइए। रिपोर्टर: मेरे एक परिचित ने आपका नंबर दिया है। यूपी बोर्ड रिजल्ट के बारे में बात करनी थी। युवक: किसने नंबर दिया? रिपोर्टर: मेरे परिचित हैं राजीव, मेजा प्रयागराज के रहने वाले। युवक: अच्छा आपका डिस्ट्रिक्ट कौन सा है, सीतापुर रिपोर्टर: सीतापुर नहीं। डिस्ट्रिक्ट प्रयागराज हुआ ना भइया.---इंटर कॉलेज युवक: अच्छा रिपोर्टर: फर्स्ट डिवीजन करवा देते। 12वीं में है साइंस साइड। युवक: 12वीं में साइंस साइड? मैं तो फिलहाल हाईस्कूल कर रहा हूं। इंटर में मेरे दोस्त करते हैं। मैं उनसे पूछकर बताता हूं। युवक: बच्चे का एडमिट कार्ड मेरे वॉट्सअप पर भेजना पड़ेगा। उसके बाद होगा। रिपोर्टर: ठीक है। मैं भेज देता हूं। इसी नंबर पर वॉट्सअप है ना? युवक: नहीं, वह नंबर दूसरा है। नंबर नोट कीजिए। रिपोर्टर:-जी बताइए। युवक: 952357****, इस पर बच्चे का एडमिट कार्ड भेज दीजिए, उसके बाद नंबर देखकर बताता हूं। रिपोर्टर: कितना खर्च लगेगा युवक: एडमिट कार्ड से नंबर देखने के बाद ही बता पाऊंगा। देखना पड़ेगा कि कितना नंबर कम है फर्स्ट डिवीजन में। उसके बाद ही खर्च बता पाऊंगा। आप पहले एडमिट कार्ड भेजिए। एडमिट कार्ड भेजने के बादरिपोर्टर: भाई साहब एडमिट कार्ड भेज दिया, कितना नंबर पाया है?
युवक : 10 मिनट रुकिए, फिर कॉल करता हूं। रिपोर्टर: 10 मिनट बाद, हैलो, हां भाई साहब क्या रहा? युवक: 219 नम्बर पाया है। फिजिक्स में फेल है पांच नम्बर से। 60 परसेंट हो जाएगा, लेकिन 4500 रुपए लगेंगे। रिपोर्टर: पीसीएम में 60 प्रतिशत करावा दीजिए। युवक: सभी में 60 प्रतिशत हो जाएगा। टोटल 350 नंबर मैं कर दूंगा। रिपोर्टर: 500 में 350 करीब 70 प्रतिशत हो जाएगा। युवक: हां, आराम से हो जाएगा। रिजल्ट निकलने के बाद भी यही दिखेगा। कोई दिक्कत नहीं होगी आगे। रिपोर्टर: ठीक है। अच्छा ये बताइए, पैसे में कुछ कंसेशन मिल सकता है। युवक: कितना चाहते हैं? रिपोर्टर: आप ही समझकर बता दीजिए, जो ठीक-ठाक हो। युवक: अच्छा फाइनल रेट बता रहे हैं 4000, इससे कम नहीं होगा। इसके बाद बोला, एडवांस भेजिए रिपोर्टर: अच्छा एक बात बताइए, आप नंबर वाला फोटो खींचकर हमें वॉट्सअप कर दीजिए। हमको विश्वास हो जाए, फिर मैं पैसा ट्रांसफर कर दूंगा। युवक: नहीं, ऐसा नहीं कर सकते हैं। मान लीजिए आप पुलिस के पास चले गए तो मेरी नौकरी चली जाएगी। रिपोर्टर: अरे आप मेरी मदद कर रहे हैं। मैं क्यों पुलिस के पास जाऊंगा? युवक: नहीं ऐसा नहीं हो पाएगा।रिपोर्टर : मेरी बात को गलत मत समझिए। लेकिन कई तरह के फ्रॉड भी मार्केट में हैं। अगर पैसा लेकर चले गए तो?
युवक: ऐसा नहीं होगा। अच्छा एक काम कीजिए। आप 2000 पहले भेज दीजिए। इसके बाद मैं आपको मार्कशीट की डमी वॉट्सअप कर दे रहा हूं। इसके बाद बाकी के 2000 रुपए भी भेज दीजिएगा। रिपोर्टर: आप अपना अकाउंट डिटेल भेजिए। युवक: मैं मैसेज करता हूं। (थोड़ी देर बाद मैसेज आया। इसमें संदीप कुमार, अकाउंट नंबर: 34669167627 आईएफएससी कोड: एसबीआईएन 00000006, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया लिखा था.) बोर्ड की तरफ से पहले ही निर्देश जारी किया गया था कि कोई भी किसी फ्रॉड के चक्कर में ना पड़े। कोई अगर पास कराने या नंबर बढ़वाने के लिए पैसा मांगता है तो उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराएं। किसी भी सूचना के लिए बोर्ड की अधिकृत वेबसाइट ही देखें। -नीना श्रीवास्तव, सचिव यूपी बोर्ड