- मामला राजकीय आयुर्वेदिक कॉलेज, कदमकुआं का

PATNA :

राजकीय आयुर्वेदिक कॉलेज एवं हॉस्पिटल, कदमकुआं के लिए शुक्रवार काला दिन साबित हुआ। कोरोना में प्रोत्साहन राशि नहीं मिलने की समस्या को लेकर बीते दो दिनों से जारी पीजी स्टूडेंट्स के धरना की वजह से पूरा कॉलेज कैंपस बंधक हो गया। कैंपस के अंदर ही प्रिंसिपल और कई शिक्षक कैंपस में ही कैद होकर रह गए। क्योंकि आक्रोशित आयुष पीजी छात्रों ने कैंपस का गेट पर ताला जड़ दिया था। प्रिंसिपल डॉ दिनेश्वर प्रसाद के काफी समझाने के बाद भी वे नहीं माने। इसके बाद दोपहर में उन्होंने जिला प्रशासन से कॉलेज कैंपस को बंद रखकर यहां चिकित्सकीय और अकादमिक कार्यो का संचालन बाधित करने की सूचना दी। इस पत्र में उन्होंने समुचित कार्रवाई की भी मांग की। दिन भर कैंपस बंद रहा।

पुलिस ने धरने से हटाया

शाम लगभग 7.30 बजे सिटी एसपी पूरे दल-बल के साथ कैंपस पहुंचे । इसके बाद ही कैंपस का गेट खोला गया। सूत्रों ने बताया कि पीजी छात्र किसी राजनीति से प्रेरित हैं और प्रिंसिपल के खिलाफ मोर्चा खोलने की वजह से सभी धरने पर डटे रहे।

बिना इलाज लौटे लोग

प्रिंसिपल डॉ दिनेश्वर प्रसाद ने बताया कि कैंपस में सभी को बंधक बनाकर रखा गया। इससे पूरी व्यवस्था ही ठप हो गई। उन्होंने बताया कि पीजी छात्रों का कहना है कि उन्हें कोरोना में किए गए कार्य के लिए प्रोत्साहन राशि नहीं दी गई। जबकि इस मामले में स्वास्थ्य विभाग को संबंधित पत्र भेजा गया है। कॉलेज के स्तर पर कहीं से बाधा नहीं है।

कमेटी करेगी कार्रवाई

इस मामले को लेकर प्रिंसिपल ने बताया कि यह पहला मौका है जब पीजी छात्रों ने मनमानी करते हुए पूरे कैंपस के काम को ठप कर दिया। इसमें शामिल पीजी छात्रों पर समुचित कार्रवाई के लिए यहां के तीन पीजी हेड के नेतृत्व में एक कमेटी बनाई गई है। वह जो निर्णय देगी, उसके मुताबिक कार्रवाई की जाएगी।

Posted By: Inextlive