- हेल्थ डिपार्टमेंट के प्रिंसिपल सेक्रेटरी सहित कई डॉक्टर्स ने आई डोनेशन के लिए ली शपथ

- मई लास्ट वीक तक आईजीआईएमएस में शुरू हो जाएगा आई बैंक, कॉमन पटनाइट्स उठा सकते हैं फायदा

PATNA: मैं शपथ लेता हूं कि मैं अपनी आंख आईजीआईएमएस के आई बैंक को डोनेट कर रहा हूं। मेरे बाद कोई मेरी आंखों से सुनहरी दुनिया देख सके। और फिर मैं अपनी आंखों के जरिए एक बार फिर से नयी दुनिया में सफर करता रहूंगा। प्रिंसिपल हेल्थ सेक्रेटरी दीपक कुमार ने सबसे पहले अपना आई डोनेट किया। इसके बाद स्काडा बिजनेस सेंटर में मौजूद क्00 से अधिक डॉक्टर्स और नन टेक्नीकल स्टाफ ने भी डोनेशन फॉर्म भरा और शपथ लिया कि वे अपनी आंखें आईजीआईएमएस के आई बैंक को डोनेट करने जा रहे हैं। ख्0क्फ् में ऑर्गेन ट्रांसप्लांट एक्ट के आने के बाद आई के फील्ड में काफी काम चल रहा है। आईजीआईएमएस के आई डिपार्टमेंट के एचओडी डॉ। विभूति प्रसन्न सिन्हा ने बताया कि आई बैंक की तैयारी जोर-शोर से चल रही है। सिविल वर्क शुरू हो गया है और इंस्ट्रूमेंट के लिए बीएमएसआईसीएल को लिखित जानकारी दे दी गयी है।

आई बैंक हो जाएगा फंग्शनिंग

आईजीआईएमएस के आई डिपार्टमेंट के एचओडी डॉ। विभूति प्रसन्न सिन्हा ने कहा कि काम तेजी से चल रहा है। मई लास्ट तक आईजीआईएमएस में आई बैंक फंग्शनिंग हो जाएगा। इसके बाद कोई भी आकर शपथ पत्र भर सकता है और अपना आई डोनेट कर सकता है। आईजीआईएमएस ऐसे डोनर का पूरा डाटा बेस तैयार करके डोनर को लगातार फॉलो करता रहेगा, ताकि सही समय पर उसके कॉर्निया को निकालकर दूसरे पेशेंट में यूज किया जा सके।

गवर्नमेंट हॉस्पीटल में अब क्वालिटी पर बात

स्काडा बिजनेस सेंटर में आईजीआईएमएस की ओर से आयोजित आई बैंक पर सीएमई का आयोजन किया गया। प्रोग्राम के इनॉगरेशन के साथ ही प्रिंसिपल हेल्थ सेक्रेटरी दीपक कुमार ने कहा कि गवर्नमेंट हॉस्पीटल अब सेकेंड फेज से गुजर रहा है। यहां पर अब क्वालिटी सर्विस की बात होगी, क्योंकि लोगों का विश्वास अब गवर्नमेंट हॉस्पीटल की ओर बढ़ा है। वहीं, आई बैंक के हेड डॉक्टर निलेश मोहन ने बताया कि किस तरह एक्सीडेंटल से भी कॉर्नियल ब्लाइंडनेस आ जाता है। इस अवसर पर गंगा राम हॉस्पीटल के चेयरमैन डॉ। हरवंश लाल, एम्स के डॉ। राजेश सिन्हा, डॉ। राजन आनंद, डॉ। एसके शाही, डॉ। नागेंद्र प्रसाद, डॉ। शलभ सिन्हा सहित कई आई स्पेशलिस्ट मौजूद थे।

ब्लड कांपोनेंट की तरह कॉर्निया कांपोनेंट भी

अब तक आपने सुना या देखा हो कि एक यूनिट ब्लड को पांच भागों में बांट कर कई बीमारियों के लिए यूज किया जाता है। पर, आप यह नहीं जानते होंगे कि आंख की कॉर्निया को भी एक साथ कई भागों में सेपरेट किया जा सकता है। एम्स से आए आई स्पेशलिस्ट डॉ। राजेश सिन्हा ने बताया कि कांपोनेंट सर्जरी के जरिए एक कॉर्निया को दो से तीन भागों में बांट कर दो से तीन या अन्य पेशेंट को फायदा पहुंचाया जा सकता है।

Posted By: Inextlive