-स्वास्थ्य विभाग के निदेशक प्रमुख ने कहा मशीनों की खरीद और रिक्त पदों को भरा जाएगा

PATNA CITY (8 Aug) : अगमकुआं स्थित बिहार की एकमात्र दवा जांच प्रयोगशाला को विश्व स्तर का बनाने को लेकर स्वास्थ्य विभाग के निदेशक प्रमुख डा। केपी सिन्हा ने निरीक्षण किया। वैसे यहां पदस्थापित विश्लेषक इसी माह रिटायर होने वाले हैं। ऐसे में नए की तलाश जरूरी है, वर्ना जांच कार्य एकबार फिर ठप हो जाएगा। फिलहाल दवां की जांच में जरूरी उपकरणों की खरीद के लिए ख्भ् लाख आवंटित करने की बात कही है।

उपकरणों की सूची पेश करें

डा। सिन्हा ने उपलब्ध उपकरणों तथा खरीदे जाने वाले उपकरणों की सूची बना सौंपने का निर्देश दिया। उन्होंने परचेज कमेटी की बैठक कर लैब को बंद होने से बचाने के लिए कई उपायों पर बातचीत की। इसमें प्रयोगशाला के प्रभारी पदाधिकारी डा। जेपी सिंह, इंदु शेखर यादव, विश्लेषक योगेन्द्र प्रसाद आदि ने लैब को विकसित करने से जुड़े मामलों पर मंथन किया। बीएमएसआइसीएल से कुछ मशीनें मांगी गई हैं। आवंटित की गई राशि से पोल¨रग मीटर, एचपीसीएल व अन्य उपकरण खरीदे जाएंगे। दवा जांच प्रयोगशाला में कार्यरत सरकारी विश्लेषक फ्क् को सेवानिवृत हो जाएंगे। लंबे समय के बाद सरकारी विश्लेषक की योग्यता रखने वाले मिले। सूत्र बताते हैं कि दूसरा विश्लेषक नहीं मिला, तो उन्हें कांट्रैक्टर पर रखा जा सकता है।

कभी भी खत्म हो सकती रसायन दवाइयों की जांच के अनुकूल लैब नहीं है। अनेक मशीनें खराब पड़ी हैं। यहां एक माह में औसतन ख्भ्0 से फ्00 नमूने जांच के लिए आ रहा है। रसायन उपलब्ध होने पर दवा जांच को बिहार से बाहर नहीं भेजा जाएगा। यहां साइंटिस्ट और तकनीशियन तक नहीं है। तकनीशियन के छह में दो ही कार्यरत हैं। कर्मी का अभाव है। अव्वल रात्रि प्रहरी भी नहीं है।

खाद्य एवं औषधि जांच प्रयोगशाला होगी विश्व स्तरीय

निदेशक प्रमुख डा। केपी सिन्हा ने कहा कि इस लैब को बेहतर स्रूप प्रदान किया जाएगा। खाने-पीने की चीजें तथा दवाइयां जांच के लिए बिहार से बाहर न जाए, इसकी कोशिश हो रही है। रिक्त पदों को भरने, जरूरी उपकरणों व रसायनों की खरीद, भवन में जरूरी बदलाव के साथ परिसर को ग्रीनरी बना जलजमाव की समस्या दूर की जाएगी।

Posted By: Inextlive